चुनाव आयोग का ECI Net ऐप कैसे आएगा वोटर्स के काम? बिहार बन रहा पहला टेस्ट ग्राउंड

बिहार विधानसभा चुनाव 2025 से पहले चुनाव आयोग ने ‘ECI Net’ नामक डिजिटल प्लेटफॉर्म लॉन्च किया है, जिसे मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार ने “मदर ऑफ ऑल ऐप्स” कहा. यह एकीकृत प्रणाली 40 से अधिक मौजूदा ऐप्स और वेबसाइट्स को जोड़ती है, जिनसे मतदाता रजिस्ट्रेशन, वोटर टर्नआउट, शिकायत निवारण और वेबकास्टिंग जैसी सेवाएं एक ही प्लेटफॉर्म पर मिलेंगी. यह पहल चुनावी पारदर्शिता और त्वरित डेटा अपडेट सुनिश्चित करेगी.;

( Image Source:  Sora AI )
Edited By :  प्रवीण सिंह
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बिहार विधानसभा चुनाव 2025 से पहले भारत के चुनाव आयोग (ECI) ने देश के चुनावी इतिहास में एक तकनीकी क्रांति की शुरुआत की है. मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार ने सोमवार को ‘ECI Net’ नामक एक नए डिजिटल प्लेटफॉर्म का शुभारंभ किया, जिसे उन्होंने “मदर ऑफ ऑल ऐप्स” बताया. यह एकीकृत पोर्टल अब तक चुनाव आयोग द्वारा विकसित करीब 40 ऐप्स और वेबसाइट्स को एक ही मंच पर लाएगा, जिससे मतदाताओं से लेकर बूथ लेवल ऑफिसर (BLO) और जिला चुनाव अधिकारी (DEO) तक सभी के लिए चुनावी प्रक्रियाएं आसान और पारदर्शी होंगी.

इस प्लेटफॉर्म के माध्यम से रीयल-टाइम वोटर टर्नआउट, शिकायत निवारण, वोटर सूची अपडेट, और चुनावी रिपोर्टिंग जैसी सेवाएं तुरंत उपलब्ध होंगी. बिहार इस महत्वाकांक्षी परियोजना का पायलट राज्य बना है, जिससे देशभर के चुनावों में डिजिटल बदलाव की राह खुलेगी.

क्या है ECI Net ऐप?

ECI Net (Election Commission Integrated Network) एक वन-स्टॉप डिजिटल प्लेटफॉर्म है, जो चुनाव आयोग के अब तक के सभी डिजिटल टूल्स को एक जगह लाता है. चुनाव आयोग के अनुसार, अब तक करीब 40 अलग-अलग ऐप्स और पोर्टल्स बनाए गए थे - जैसे Voter Helpline, Suvidha 2.0, cVigil, Saksham, Know Your Candidate (KYC) और Voter Turnout App. अब ये सभी सेवाएं एक ही प्लेटफॉर्म - ECI Net App - पर उपलब्ध होंगी.

ज्ञानेश कुमार के शब्दों में, “हर मतदाता या अधिकारी 40 अलग-अलग ऐप डाउनलोड नहीं कर सकता. इसलिए हमने उन्हें एक ही डिजिटल छतरी के नीचे लाने का फैसला किया - ECI Net, जो वास्तव में ‘मदर ऑफ ऑल ऐप्स’ है. इसका पहला पायलट प्रोजेक्ट बिहार विधानसभा चुनाव 2025 में लागू होगा.”

बिहार बनेगा पहला टेस्ट ग्राउंड

बिहार को इस प्रोजेक्ट का पायलट राज्य चुना गया है. राज्य की 243 सीटों में से 121 सीटों पर पहले चरण में (6 नवंबर) और शेष 122 सीटों पर दूसरे चरण में (11 नवंबर) मतदान होगा, जबकि वोटों की गिनती 14 नवंबर को की जाएगी. इन चुनावों में ECI Net का पूरा प्रयोग होगा - मतदान से लेकर गिनती तक हर डेटा इसी ऐप पर लाइव अपडेट किया जाएगा.

रियल-टाइम वोटर टर्नआउट: अब हर 2 घंटे में अपडेट

अब तक मतदान प्रतिशत के आंकड़े अक्सर घंटों बाद सामने आते थे. लेकिन ECI Net से यह समस्या खत्म होगी. अब प्रेसाइडिंग ऑफिसर्स हर दो घंटे में मतदान की स्थिति (Voter Turnout Data) इस ऐप के जरिए अपलोड करेंगे. इससे वोटिंग प्रतिशत की जानकारी रियल-टाइम में सार्वजनिक होगी और मीडिया, राजनीतिक दलों और आम नागरिकों को पारदर्शी डेटा उपलब्ध रहेगा.

कौन-कौन सी सेवाएं जुड़ेंगी इस ‘मदर ऐप’ से

चुनाव आयोग ने ECI Net में 40 प्रमुख ऐप्स और वेबसाइट्स को जोड़ा है. इनमें शामिल हैं:

  • Voter Helpline Portal & App – वोटर जानकारी, शिकायतें और BLO संपर्क
  • cVigil App – चुनाव आचार संहिता उल्लंघन की रिपोर्टिंग
  • Suvidha 2.0 & ENCORE – उम्मीदवारों के नामांकन और पार्टी मैनेजमेंट के लिए
  • KYC (Know Your Candidate) – प्रत्याशी की जानकारी और हलफनामे देखने के लिए
  • Saksham & ESMS Apps – चुनाव कर्मियों की निगरानी और रिपोर्टिंग
  • Results Website & Election Trends TV – लाइव नतीजे और ट्रेंड्स
  • ERONET 2.0 & Electoral Search – मतदाता सूची और रजिस्ट्रेशन

इस एक ऐप से अब मतदाता, अधिकारी, राजनीतिक दल और मीडिया सभी को एक ही प्लेटफॉर्म पर जानकारी मिल सकेगी.

कैसे करेगा यह सिस्टम काम?

यह ऐप 90,712 बूथ लेवल ऑफिसर्स (BLOs), 243 निर्वाचन पंजीकरण अधिकारी (EROs) और 38 जिला निर्वाचन अधिकारी (DEOs) को एक ही डिजिटल नेटवर्क से जोड़ता है. हर मतदाता अपने EPIC नंबर (Voter ID No.) डालकर अपने BLO से सीधे संपर्क कर सकता है या 1950 हेल्पलाइन पर कॉल कर सकता है. उदाहरण के लिए, पटना के मतदाता +91-612-1950 पर कॉल करके जानकारी पा सकते हैं. मतदाता ऐप के ज़रिए अपने मतदान केंद्र की जानकारी, नाम में सुधार की स्थिति, और शिकायत दर्ज कर सकते हैं. साथ ही वे अपने BLO के साथ कॉल बुकिंग या चैट भी कर सकेंगे.

डेटा सुरक्षा और पारदर्शिता

ECI Net को एडवांस्ड एन्क्रिप्शन सिस्टम और एक्सेस कंट्रोल प्रोटोकॉल्स से सुरक्षित बनाया गया है. चुनाव आयोग ने मई 2025 में जारी बयान में कहा था कि यह ऐप Representation of People Act, 1950 व 1951, और Conduct of Election Rules, 1961 के तहत पूर्णतः कानूनी और सुरक्षित है. इस ऐप के ज़रिए डेटा शेयरिंग पूरी तरह ऑथेंटिकेटेड सर्वर चैनल्स पर होगी, जिससे किसी तरह की छेड़छाड़ की संभावना नहीं रहेगी.

वोटर लिस्ट सुधार और सुप्रीम कोर्ट से जुड़ाव

मुख्य चुनाव आयुक्त ने बताया कि हाल ही में समाप्त Special Intensive Revision (SIR) के बाद यह ऐप वोटर लिस्ट की शुद्धता सुनिश्चित करेगा. उन्होंने कहा, “यह चुनाव भारत को शुद्ध मतदाता सूची (Purification of Voter Rolls) की दिशा में आगे ले जाएगा.” साथ ही उन्होंने बताया कि वोटिंग वेबकास्टिंग अब सुप्रीम कोर्ट और हाईकोर्ट्स को भी साझा की जाएगी, ताकि पारदर्शिता और न्यायिक निगरानी बनी रहे. हालांकि मतदाता की गोपनीयता बनी रहेगी, क्योंकि यह संविधान द्वारा संरक्षित अधिकार है.

जनता के लिए आसान, अधिकारियों के लिए असरदार

ECI Net का उद्देश्य केवल मतदाताओं की सुविधा नहीं, बल्कि चुनाव प्रक्रिया को प्रशासनिक रूप से कुशल (Efficient) बनाना भी है. यह सिस्टम निम्न कार्य करेगा:

  • मतदान प्रतिशत का लाइव रिकॉर्ड रखना
  • पोलिंग बूथों की स्थिति ट्रैक करना
  • गिनती के समय की रीयल-टाइम रिपोर्टिंग
  • आचार संहिता के उल्लंघन की शिकायतों का डिजिटल निपटारा
  • उम्मीदवारों की जानकारी और नामांकन प्रक्रिया का ऑनलाइन एकीकरण

डिजिटल लोकतंत्र की नई दिशा

चुनाव आयोग का यह ऐप भारत को डिजिटल डेमोक्रेसी (Digital Democracy) के नए युग में प्रवेश कराता है. बिहार चुनाव इसका पहला अध्याय होगा, जहां हर वोट की निगरानी, हर मतदान केंद्र की रिपोर्ट और हर उम्मीदवार की जानकारी - सब एक ही स्क्रीन पर उपलब्ध होगी. CEC ज्ञानेश कुमार ने कहा, “ECI Net न केवल मतदान को आसान बनाएगा, बल्कि लोगों का भरोसा भी मजबूत करेगा. पारदर्शिता लोकतंत्र की आत्मा है और यह ऐप उसी आत्मा को डिजिटल रूप देता है.”

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