संसद में उठेगा ऑपरेशन सिंदूर का मुद्दा, INDIA गठबंधन ने मोदी सरकार को घेरने की बनाई रणनीति; बैठक में क्या-क्या हुआ?

संसद के मानसून सत्र से पहले इंडिया गठबंधन की बैठक में विपक्ष ने पहलगाम हमले, ऑपरेशन सिंदूर और ट्रंप के दावों पर सरकार से जवाब मांगने की रणनीति तय की. राहुल गांधी ने विपक्ष की एकता पर जोर दिया तो खड़गे ने मुद्दों की प्राथमिकता तय करने की बात कही. विपक्ष अब सरकार से हर सवाल का सीधा जवाब चाहता है.;

Edited By :  नवनीत कुमार
Updated On : 20 July 2025 6:48 AM IST

संसद के मानसून सत्र से ठीक पहले इंडिया गठबंधन की एक अहम वर्चुअल बैठक का आयोजन हुआ. इस बैठक की अध्यक्षता कांग्रेस नेता सोनिया गांधी ने की, जिसमें 24 राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों ने भाग लिया. यह बैठक 2024 लोकसभा चुनाव के बाद पहली बड़ी कोशिश थी विपक्ष को दोबारा संगठित करने की. सोनिया गांधी ने भले ही ज़्यादा नहीं बोला, लेकिन राहुल गांधी ने विपक्ष को एकजुट रहकर सरकार से तीखे सवाल पूछने की अपील की.

बैठक में यह सहमति बनी कि संसद सत्र के दौरान सरकार को तीन मुख्य मुद्दों पहलगाम हमला, ऑपरेशन सिंदूर और डोनाल्ड ट्रंप के सीज़फायर वाले दावों पर जवाबदेह ठहराया जाएगा. विपक्ष इन मसलों पर सेना के शौर्य को नमन करते हुए, सरकार की खुफिया नाकामी और विदेश नीति में फिसलन पर खुली बहस की मांग करेगा.

राहुल गांधी के बयान से नाराजगी

बैठक में उद्धव ठाकरे, मल्लिकार्जुन खड़गे, डी राजा, अभिषेक बनर्जी समेत कई प्रमुख नेताओं ने अपनी बात रखी. डी राजा ने राहुल गांधी की उस टिप्पणी पर अप्रत्यक्ष नाराज़गी जताई, जिसमें उन्होंने केरल में सीपीएम और आरएसएस की तुलना कर दी थी. उनका कहना था कि ऐसे बयान से विपक्षी कैडर में भ्रम पैदा होता है.

विपक्ष हों एकजुट

राहुल गांधी ने ज़ोर दिया कि सभी पार्टियां संसद में एकजुट दिखें और मुद्दों की प्राथमिकता पहले ही तय कर लें. उन्होंने कहा कि विपक्ष के बिखराव का सीधा लाभ सत्ताधारी पक्ष उठाता है. खड़गे ने बैठक में तय मुद्दों को संसद के दोनों सदनों में संगठित तरीके से उठाने की बात कही.

बैठक में उठे अहम बिंदु

  • पहलगाम आतंकी हमले में खुफिया एजेंसियों की विफलता
  • ऑपरेशन सिंदूर और सीमा पर सुरक्षा चिंताएं
  • ट्रंप द्वारा सीज़फायर पर भारत के पक्ष में बयान और उसकी प्रामाणिकता
  • केंद्र सरकार की विदेश नीति को लेकर सवाल
  • डिलिमिटेशन और सामाजिक न्याय से जुड़े मसले
  • विपक्षी नेताओं पर सरकारी एजेंसियों के दबाव
  • पेगासस और ईडी के जरिये डराने की रणनीति
  • चुनाव आयोग द्वारा चलाए जा रहे SIR कार्यक्रम की वैधता पर सवाल

AAP नहीं हुई शामिल

टीएमसी इस बार बैठक में शामिल हुई, लेकिन आम आदमी पार्टी अनुपस्थित रही. हालांकि, उनकी गैरमौजूदगी पर बैठक में कोई चर्चा नहीं हुई. टीएमसी नेता अभिषेक बनर्जी ने विपक्षी नेताओं को ईडी और चुनाव आयोग के ज़रिए डराने के प्रयासों की आलोचना की. साथ ही उन्होंने पेगासस जासूसी कांड को भी दोबारा बहस में लाने की मांग रखी.

'देश बचाओ, बीजेपी हटाओ' के नारे के साथ नया मोर्चा

बैठक का आयोजन इसी नारे के साथ हुआ और सरकार के खिलाफ रणनीति को धार दी गई. विपक्ष अब इस मानसून सत्र में हर मुद्दे पर केंद्र को घेरेगा. प्रमोद तिवारी ने प्रेस वार्ता में कहा कि प्रधानमंत्री को इस बार संसद में उपलब्ध रहकर सभी सवालों का सीधा जवाब देना चाहिए. साथ ही कहा गया कि SIR के खिलाफ प्रोटेस्ट किया जाएगा.

सरकार की है 8 विधेयकों की तैयारी

इस सत्र में मोदी सरकार 8 नए विधेयक ला रही है, जिनमें टैक्स कानूनों में सुधार, खनन नीतियों का संशोधन और राष्ट्रीय खेल प्रशासन कानून शामिल हैं. विपक्ष इन विधेयकों की बारीकी से समीक्षा कर अपने सवाल और संशोधन संसद में पेश करने की रणनीति बना रहा है.

Similar News