Begin typing your search...

ऑपरेशन सिंदूर में ढेर हुए पाक सेना के 'लाडले' आतंकी, टॉप लश्‍कर कमांडर से लेकर मसूद अजहर के साले तक, जानें सभी की डिटेल्‍स

भारतीय सेना के ऑपरेशन सिंदूर ने पाकिस्तान के पांच दुर्दांत आतंकियों मुदस्सिर कादियान, हाफिज जमील, यूसुफ अजहर, खालिद और हसन खान को निशाना बनाकर ढेर कर दिया. ये आतंकी लश्कर और जैश जैसे संगठनों से जुड़े थे और भारत में हमलों की साजिश रचते थे. इस निर्णायक जवाब से पाकिस्तान प्रायोजित आतंकवाद को गहरा झटका लगा है.

ऑपरेशन सिंदूर में ढेर हुए पाक सेना के लाडले आतंकी, टॉप लश्‍कर कमांडर से लेकर मसूद अजहर के साले तक, जानें सभी की डिटेल्‍स
X
नवनीत कुमार
By: नवनीत कुमार

Updated on: 10 May 2025 2:27 PM IST

‘ऑपरेशन सिंदूर’ के तहत भारतीय सेना ने पाकिस्तान के पांच दुर्दांत आतंकियों को निशाना बनाकर ढेर कर दिय. मारे गए मुदस्सिर कादियान, हाफिज मोहम्मद जमील, मोहम्मद यूसुफ अजहर, खालिद उर्फ अबू अकाशा और मोहम्मद हसन खान आतंकियों में शामिल है. ये सभी लश्कर-ए-तैयबा और जैश-ए-मोहम्मद जैसे संगठनों से जुड़े थे और हाफिज सईद व मसूद अजहर के निर्देश पर भारत में आतंकी हमलों को अंजाम देते थे.

यह निर्णायक ऑपरेशन जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल 2025 को हुए आतंकी हमले के प्रतिशोध में किया गया, जिसमें 26 निर्दोष नागरिकों की जान गई थी. भारतीय सेना की सटीक और आक्रामक कार्रवाई ने पाकिस्तान प्रायोजित आतंकवाद को करारा जवाब दिया, जिससे सीमापार आतंकी ढांचे में भारी हड़कंप मच गया है.

मुदस्सिर कादियान

सबसे कुख्यात नाम मुदस्सर कादियान खास उर्फ अबू जिंदाल का है, जो लश्कर-ए-तैयबा के मुरिदके स्थित 'मरकज तैयबा' का प्रमुख था. उसकी मौत के बाद पाकिस्तान सेना ने उसे सलामी दी और सेना प्रमुख व पंजाब की मुख्यमंत्री मरियम नवाज़ की ओर से पुष्पचक्र चढ़ाया गया. उसका जनाज़ा एक सरकारी स्कूल में हुआ, जिसमें वैश्विक आतंकवादी घोषित हाफिज अब्दुल रऊफ ने नमाज़ अदा करवाई. यहां तक कि पाक सेना के एक लेफ्टिनेंट जनरल और पंजाब पुलिस के आईजी भी उसमें शामिल हुए. हाल ही में अपनी चौथी शादी के चलते चर्चा में था.

हाफिज मोहम्मद जमील

दूसरा आतंकी हाफिज मोहम्मद जमील था, जो जैश-ए-मोहम्मद का सक्रिय सदस्य और मौलाना मसूद अजहर का सगा साला था. वह बहावलपुर स्थित 'मरकज सुभानअल्लाह' का प्रमुख था और युवाओं को कट्टरपंथी बनाने और जैश के लिए चंदा जुटाने में जुटा रहता था. पाकिस्तान के आतंकी नेटवर्क में उसका बहुत मजबूत पकड़ था और वह खुलेआम अपनी गतिविधियों को अंजाम देता था. उसका काम युवाओं को ब्रेनवॉश कर आतंक के रास्ते भेजना था. उसकी मौत के बाद पाकिस्तान के कई ISI अफसरों के चेहरे उतर गए हैं.

मोहम्मद यूसुफ अजहर

तीसरे आतंकी का नाम मोहम्मद यूसुफ अजहर था, जिसे 'उस्ताद जी', 'मो. सलीम' या 'घोसी साहब' के नाम से भी जाना जाता था. वह मसूद अजहर का साला था और 1999 की IC-814 हाइजैकिंग में मुख्य आरोपी था, भारतीय हमले में मारा गया. वह JeM के लड़ाकों को हथियार चलाना सिखाता था. वह जैश-ए-मोहम्मद के हथियार प्रशिक्षण का प्रभारी था. और कश्मीर में कई ब्लास्ट्स का मास्टरमाइंड रहा.

खालिद उर्फ अबू अकाशा

चौथा आतंकी खालिद उर्फ अबू अकाशा था, जो लश्कर-ए-तैयबा का अनुभवी सदस्य था और जम्मू-कश्मीर में कई आतंकी हमलों में शामिल था. वह अफगानिस्तान से हथियारों की तस्करी भी करता था. उसकी मौत के बाद उसका अंतिम संस्कार फैसलाबाद में किया गया, जिसमें पाक सेना के वरिष्ठ अधिकारियों और फैसलाबाद के डिप्टी कमिश्नर तक ने शिरकत की.

मोहम्मद हसन खान

पांचवां आतंकी मोहम्मद हसन खान था, जो जैश-ए-मोहम्मद के ऑपरेशनल कमांडर मुफ़्ती असगर खान कश्मीरी का बेटा था. हसन पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (PoK) से भारत में आतंकी हमलों का समन्वय करता था. वह जम्मू-कश्मीर में कई साजिशों को अंजाम देने में शामिल था और जैश की अगली पीढ़ी के नेतृत्वकर्ता के रूप में उभर रहा था. उसकी मौत भारत के लिए एक बड़ी रणनीतिक सफलता मानी जा रही है.

पाकिस्तानऑपरेशन सिंदूर
अगला लेख