यूक्रेन को ट्रंप का 'रक्षाकवच': जानिए कितना असरदार है अमेरिका का पैट्रियट मिसाइल सिस्टम

अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने यूक्रेन को पैट्रियट एयर डिफेंस मिसाइल सिस्टम भेजने का ऐलान किया है, ताकि रूस के हवाई हमलों से रक्षा की जा सके. ट्रंप ने कहा कि यूरोपीय संघ इसकी पूरी कीमत चुकाएगा. पैट्रियट सिस्टम अमेरिका की सबसे उन्नत मिसाइल सुरक्षा प्रणालियों में से एक है, जो बैलिस्टिक मिसाइलों, ड्रोन और लड़ाकू विमानों को नष्ट करने में सक्षम है.;

( Image Source:  X/UkrReview )
Edited By :  प्रवीण सिंह
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अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने यूक्रेन को पैट्रियट एयर डिफेंस मिसाइल सिस्टम भेजने की घोषणा की है. उन्होंने कहा कि रूसी राष्ट्रपति पुतिन "शांतिपूर्वक बात करते हैं लेकिन रात में बम बरसाते हैं", और इसी वजह से यूक्रेन को ये सिस्टम 'ज़रूरी' हैं. ट्रंप ने यह भी स्पष्ट किया कि इन हथियारों की लागत यूरोपीय संघ चुकाएगा और अमेरिका को पूरा भुगतान मिलेगा.

यूक्रेन पर हाल ही में रूस ने अभूतपूर्व हवाई हमले किए हैं, जिसमें एक रात में 728 ड्रोन तक दागे गए. जून में हुई नागरिक हताहतों की संख्या बीते तीन वर्षों में सबसे अधिक रही. ऐसे में अमेरिका का यह कदम यूक्रेन की हवाई सुरक्षा को मजबूत कर सकता है. पैट्रियट सिस्टम दुनिया के सबसे आधुनिक डिफेंस सिस्टम्स में से एक है, जिसकी लागत 1 अरब डॉलर से अधिक होती है.

इस सिस्टम की सबसे बड़ी ताकत इसकी लंबी रेंज, हाई-टेक रडार और बैलिस्टिक मिसाइल तक को नष्ट कर सकने की क्षमता है. यह सिस्टम अमेरिका, इजरायल, जापान, सऊदी अरब जैसे देशों के पास भी है. जानिए इसकी पूरी कार्यप्रणाली, इतिहास, लागत और यूक्रेन को कैसे फायदा पहुंचा सकता है यह हथियार.

क्यों ज़रूरी है ये सिस्टम?

यूक्रेन पर हाल के हफ्तों में रूसी मिसाइल और ड्रोन हमलों में तेज़ी आई है. अकेले पिछले हफ्ते ही एक रात में 728 ड्रोन हमले हुए. यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमिर ज़ेलेंस्की ने चेतावनी दी है कि रूस इन हमलों की संख्या 1,000 तक बढ़ाना चाहता है. जून 2025 में हुई नागरिक हताहतों की संख्या तीन सालों में सबसे अधिक रही - 232 लोग मारे गए और 1300 से अधिक घायल हुए.

 

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पैट्रियट सिस्टम क्या है?

Patriot का पूरा नाम है Phased Array Tracking Radar for Intercept on Target. यह एक थियेटर-वाइड सतह से हवा में मार करने वाला मिसाइल डिफेंस सिस्टम है जिसे Raytheon Technologies द्वारा विकसित किया गया है. यह सिस्टम 1991 के Gulf War में पहली बार युद्ध में तैनात हुआ था. तब इसने सऊदी अरब, कुवैत और इज़राइल की रक्षा की थी. 2003 में इराक पर अमेरिकी हमले के दौरान इसका दोबारा उपयोग हुआ.

कैसा होता है पैट्रियट सिस्टम?

एक पैट्रियट मिसाइल बैटरी में निम्नलिखित प्रमुख घटक होते हैं:

  • पावर जनरेटर
  • रडार यूनिट (150 किमी से अधिक रेंज)
  • कमांड स्टेशन
  • लॉन्च स्टेशन्स (M901)
  • PAC-2 या PAC-3 इंटरसेप्टर मिसाइलें

कैसे काम करता है?

पैट्रियट सिस्टम ग्राउंड-आधारित रडार के ज़रिए टारगेट को ट्रैक करता है. मिसाइल का Track-Via-Missile (TVM) गाइडेंस सिस्टम यह सुनिश्चित करता है कि मिसाइल अपने टारगेट को पूरी सटीकता से भेदे. इसकी रेंज लगभग 70 किमी और ऊंचाई 24 किमी तक होती है. एक मिसाइल का अधिकतम फ्लाइट टाइम 3.5 मिनट और न्यूनतम 9 सेकंड होता है. PAC-3 मिसाइल hit-to-kill तकनीक का उपयोग करती है जिससे यह बैलिस्टिक मिसाइलों को भी मार गिराने में सक्षम है.

समय-समय पर हुए अपग्रेड

  • PAC-1 (1980s): टैक्टिकल बैलिस्टिक मिसाइल को मारने में सक्षम
  • PAC-2 (1988): ब्लास्ट-फ्रैगमेंटेशन वारहेड
  • PAC-2 GEM (1993): रिमोट लॉन्च क्षमताओं के साथ
  • PAC-3 (1997): ऑनबोर्ड रडार और ट्रैकिंग सिस्टम के साथ अत्याधुनिक तकनीक

लागत कितनी है?

एक पूरी बैटरी की लागत $1 अरब (लगभग ₹8,300 करोड़) से अधिक होती है. इसमें सिस्टम की कीमत $400 मिलियन और मिसाइलों की कीमत $690 मिलियन तक होती है.

 

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कौन-कौन देश करते हैं इस्तेमाल?

यह सिस्टम अमेरिका के अलावा इन देशों में सक्रिय है: जर्मनी, जापान, इज़राइल, सऊदी अरब, दक्षिण कोरिया, पोलैंड, नीदरलैंड, कुवैत, कतर, स्वीडन, स्पेन, ताइवान

यूक्रेन को कैसे मदद मिलेगी?

रूस के क्रूज़ मिसाइल और कामीकाजे ड्रोन हमलों के खिलाफ यह सिस्टम एक मजबूत रक्षात्मक दीवार साबित हो सकता है. यह सैन्य और नागरिक ठिकानों को सुरक्षित रखने में मदद करेगा. हालांकि, विशेषज्ञों का मानना है कि यह युद्ध की दिशा नहीं बदलेगा क्योंकि यह एक defensive weapon है. लेकिन जहां तक जान-माल की सुरक्षा की बात है, यह सिस्टम युद्ध क्षेत्र में बड़ी राहत ला सकता है.

खर्च बनाम बचाव: क्या है दिक्कत?

यह सिस्टम बेहद महंगा है. रूस के सस्ते ड्रोन (जिनकी कीमत चंद हज़ार डॉलर होती है) के मुकाबले इसमें एक मिसाइल की कीमत ही करोड़ों में होती है. ऐसे में हर ड्रोन पर पैट्रियट मिसाइल खर्च करना आर्थिक रूप से नुकसानदायक हो सकता है.

क्या बोले ट्रंप?

“हम उन्हें पैट्रियट्स देंगे, क्योंकि उन्हें इसकी सख्त ज़रूरत है,” ट्रंप ने कहा. “यूरोपीय संघ हमें 100 प्रतिशत भुगतान करेगा. हम यही चाहते हैं. ट्रंप ने यह भी बताया कि NATO के माध्यम से यह सिस्टम भेजा जाएगा. यह रणनीति रूस को सीधी अमेरिकी संलिप्तता से बचाकर, सामूहिक पश्चिमी समर्थन का संदेश देने वाली होगी.

पैट्रियट मिसाइल सिस्टम यूक्रेन के लिए एक महत्वपूर्ण 'ढाल' हो सकता है. यह रूस की मिसाइल और ड्रोन ताकत को नियंत्रित करने में मदद करेगा. हालांकि इसकी लागत, सीमित रेंज और रक्षा प्रकृति को देखते हुए, यह युद्ध को पूरी तरह नहीं बदल सकता. फिर भी यह एक रणनीतिक निर्णय.

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