मॉर्निंग वॉक पर 'Pet Dog' साथ ले जाने पर बैन, इस देश में लागू हुआ अजीबोगरीब नियम, जानें क्या है धार्मिक कनेक्शन
Iran News: ईरान में हमेशा से पेट डॉग को लेकर विवाद देखने को मिलता है. ऐसा कोई कानून भी नहीं है फिर भी रूल्स बनाए जाते हैं. अब इलाम शहर में सार्वजिन जगहों पर कुत्तों को घुमाने पर बैन लगा दिया गया है. सुरक्षा सुनिश्चित करने और सार्वजनिक स्वास्थ्य की रक्षा के उद्देश्य से लागू किए गए हैं.

Iran News: ईरान अपने नागरिकों पर लगातार नए-नए नियमों को लागू कर दिया है. अब ईरानी सरकार ने सार्वजनिक जगह पर अपने पेट डॉग को घुमाने पर प्रतिबंध लगा दिया है. अक्सर लोग मॉर्निंग वॉक पर जाते समय अपने डॉगी को भी ले जाते थे, लेकिन अब वह ऐसा नहीं कर पाएंगे.
AFP समाचार एजेंसी के अनुसार, रविवार (8 जून) को पश्चिमी इलाम शहर में इस नए नियम को लागू किया गया. इससे पहले 2019 में तेहरान में भी ऐसा ही आदेश जारी किया गया था. नए फैसले के बाद ईरान में अब तक 17 शहरों में इस तरह के प्रतिबंध लगाए जा चुके हैं, जिनमें इस्फहान और केरमेन शहर भी शामिल हैं.
कुत्तों को घुमाने पर रोक
ईरान में हमेशा से पेट डॉग को लेकर विवाद देखने को मिलता है. ऐसा कोई कानून भी नहीं है फिर भी रूल्स बनाए जाते हैं. क्योंकि धार्मिक विद्वान कुत्ते पालने को अशुद्ध मानते हैं. वहीं कुछ अधिकारी इसे पश्चिमी सांस्कृतिक प्रभाव समझते हैं. स्थानीय अधिकारियों ने समय-समय पर सार्वजनिक स्थानों पर कुत्तों को घुमाने या वाहनों में ले जाने पर प्रतिबंध लगाए हैं.
ईरान में कड़े नियम
बता दें कि साल 2010 में ईरान के संस्कृति और इस्लामी मार्गदर्शन मंत्रालय ने मीडिया को पालतू जानवरों या उनसे संबंधित उत्पादों के विज्ञापन प्रकाशित करने से प्रतिबंधित किया था. इसके बाद संसद में कुत्तों को घुमाने वालों पर जुर्माना लगाया और कोड़े मारने का प्रस्ताव भी आया था.
सरकार का बयान
इस नए नियम के बारे में इलाम शहर के एक अधिकारी ने कहा, नियम न मानने वाले के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी. एक दिन पहले राज्य समाचार पत्र ईरान ने कहा कि नए नियम सार्वजनिक व्यवस्था बनाए रखने, सुरक्षा सुनिश्चित करने और सार्वजनिक स्वास्थ्य की रक्षा के उद्देश्य से लागू किए गए हैं.
क्यों होता रहा पेट डॉग विरोध?
ईरान के सर्वोच्च नेता अयातुल्ला अली ख़ामेनेई ने साल 2017 में कहा था कि पालतू कुत्तों को रखना शिकार और सुरक्षा के अलावा अन्य कारणों से गलत माना जाता है. अगर यह गैर-मुस्लिमों की नकल करता है या उनके संस्कृति को बढ़ावा देता है, तो इसे गलत ही माना जाता है. नियम का उद्देश्य देश में पालतू जानवरों की बढ़ती संख्या को नियंत्रित करना है.