Jharkhand by-poll में JMM का बदला पूरा! हेमंत सोरेन ने कैसे बदल दिया पूरा खेल? BJP को मिली करारी हार
झारखंड उपचुनाव में JMM ने भाजपा को हराकर पिछली हार का बदला ले लिया है. रामदास सोरेन के निधन के बाद घाटशिला सीट खाली हो गई थी. जिसपर ये उपचुनाव हुआ. जिसमें JMM के सोमेश सोरेन और भाजपा के बाबू लाल सोरेन आमने-सामने थे.
Jharkhand By Election Results: झारखंड में हुए उपचुनाव में झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM) ने जीत हासिल करके भाजपा से बदला लेने का काम किया है. भले ही ये उपचुनाव था लेकिन झारखंड के सीएम हेमंत सोरेन ने इसके लिए खूब मेहनत और रैलियां की थी, जिसका रिजल्ट भी देखने को मिला है. घाटशिला उपचुनाव में JMM उम्मीदवार सोमेश चंद्र सोरेन ने भाजपा के बाबू लाल सोरेन को 38,000 से ज्यादा वोटों से हराया.
JMM विधायक और राज्य के पूर्व शिक्षामंत्री रामदास सोरेन का 15 अगस्त को निधन हो गया था. जिसके चलते इस सीट पर ये उपचुनाव होना था. वहीं उपचुनाव में झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM) ने रामदास सोरेन के बेटे सोमेश सोरेन को चुना था. जिन्होंने अब उपचुनाव में शानदार जीत भी हासिल की है.
पिछले साल रामदास सोरेन को मिली थी हार
पिछले साल रामदास सोरेन को भाजपा के बाबू लाल सोरेन के हाथों करीब 22 हजार से ज्यादा वोटों से हार का सामना करना पड़ा था. लेकिन इस बार उपचुनाव में रामदास सोरेन के बेटे सोमेश सोरेन ने भाजपा के बाबू लाल सोरेन को हराकर पिछली हार का बदला ले लिया है.
बता दें, आदिवासी क्षेत्र में सोमेश सोरेन और बाबू लाल सोरेन की ये चुनावी जंग काफी प्रतीकात्मक बन गई, क्योंकि ये दोनों ही उम्मीदवार संथाल समुदाय से आते हैं. ये घाटशिला सीट आदिवासी उम्मीदवारों के लिए आरक्षित है. इस सीट पर लगभग 45 फीसदी मतदाता आदिवासी है.
हेमंत सोरेन ने बदल दिया पूरा खेल!
झारखंड के सीएम हेमंत सोरेन ने इस उपचुनाव में प्रचार के लिए पूरा मंत्रिमंडल तैनात कर दिया था. इसके अलावा खुद हेमंत सोरेन और उनकी पत्नी कल्पना सोरेन ने कई रोड शो और रैलियां की. अपनी रैलियों में हेमंत सोरेन और उनकी पत्नी ने मैया सम्मान योजना जिससे लगभग 29,000 महिलाओं को लाभ मिलता है और 50 वर्ष से अधिक आयु की लगभग 15,000 महिलाओं के लिए पेंशन योजना जैसी कल्याणकारी पहलों पर प्रकाश डाला. सीएम की रैलियों का असर उपचुनाव के रिजल्ट में देखने को मिल गया है.





