खर्राटे से हो जाएं सावधान! दिल को पहुंचाता है नुकसान, इस पर क्या कहते हैं दिल्ली AIIMS के डॉक्टर?
दिल्ली एम्स में रविवार को एम्स के पल्मोनरी, क्रिटिकल केयर और स्लीप मेडिसिन के एस्पर्ट की ओर से एक वर्कशॉप का आयोजन किया गया. इसमें दिल्ली ही नहीं बल्कि दूसरे राज्यों से भी आए एक्सपर्ट ने हिस्सा लिया. इस दौरान ऑब्सट्रेक्टिव स्लीप एपनिया के बढ़ रहे केस पर चर्चा की गई.

Delhi AIIMS: कहते हैं अच्छी स्वास्थ्य के लिए इंसान की नींद पूरी होना बेहद जरूरी है. हर किसी को कम से कम 8 घंटे की नींद तो लेनी ही चाहिए. इससे आपका माइंड फ्रेश रहता है और दिन पर आप अपने काम को बेहतर तरीके से कर पाते हैं, लेकिन आज की लाइफस्टाइल और नौकरी के चक्कर में 5 घंटे की सोना में बड़ी बात है. नींद में लोगों को खर्राटे लेने की आदत भी होती है. अगर आप भी ऐसा करते हैं तो सावधान हो जाएं. इस संबंध में एक चौंकाने वाली जानकारी सामने आई है.
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, दिल्ली एम्स में रविवार को एम्स के पल्मोनरी, क्रिटिकल केयर और स्लीप मेडिसिन के एस्पर्ट की ओर से एक वर्कशॉप का आयोजन किया गया. इसमें दिल्ली ही नहीं बल्कि दूसरे राज्यों से भी आए एक्सपर्ट ने हिस्सा लिया. इस दौरान ऑब्सट्रेक्टिव स्लीप एपनिया के बढ़ रहे केस पर चर्चा की गई. वर्कशॉप में एक्सपर्ट ने बताया कि ओएसए के लक्षण जैसे दिन में जरूरत से ज्यादा नींद आना, तेज खर्राटे लेना और नींद में रुकावट पर जानकारी दी गई.
खर्राटे लेने से हो सकती है बीमारी
ऑफिस में या घर में काम करते समय अक्सर लोगों को बार-बार नींद आता है और वह झपकी लेने लगते हैं. फिर हफ्ते में दो रात से अधिक नींद के दौरान खर्राटा लेते हैं तो संभलने की जरूरी है. क्योंकि यह समस्या सामान्य नहीं है, इससे आपकी सेहत पर प्रभाव पड़ सकता है. ज्चादा खर्राटे लेने से आप ऑब्ट्रक्टिव स्लीप एपनिया (ओएसए) का शिकार हो सकते हैं. यह सारे लक्षण इसी बीमारी के हैं. ओएसए की वजह से हार्ट, शुगर समेत कई बीमारी हो सकती है. ऐसे में डॉक्टरों ने सलाह दी है कि लगातार खर्राटे की शिकायत है तो डॉक्टरों से तत्काल मिलें. क्योंकि खराब लाइफस्टाइल की वजह से ऑब्सट्रिक्व स्लीप एपनिया की बीमारी तेजी से बढ़ रही है.
क्या है ओएसए के लक्षण?
वर्कशॉप में एक्सपर्ट ने बताया कि ओएसए के लक्षण जैसे दिन में जरूरत से ज्यादा नींद आना, तेज खर्राटे लेना और नींद लेने में कमी है. इससे बचने के लिए आपको लाइफस्टाइल में बदलाव करने की जरूरत है. एक्सपर्ट ने सर्जिकल विकल्प, और CPAP मशीन के इस्तेमाल पर जोर दिया गया. डॉ आनंद मोहन ने बताया कि ने ओएसए को नजरअंदाज करने से दिल की बीमारी और डायबिटीज जैसी गंभीर बीमारियों का खतरा बढ़ सकता है. इसमें मोटापा हाई रिस्क फैक्टर है.
डॉ सौरभ के मुताबिक, इस बीमारी का बेहतर इलाज सीपीएपी मशीन के जरिए बेहतर इलाज संभव है. यह नींद के दौरान सांस के प्रेशर को बढ़ता है, जिससे सांस की दिक्कत नहीं होती है. उन्होंने बताया कि यह बीमारी खराब लाइफस्टाइल की वजह से बढ़ रही है. ऐसे में खर्राटे को नजरअंदाज करना भारी पड़ सकता है. इसलिए लक्षण दिखने पर स्लीप टेस्ट जरूर कराना चाहिए.