RWA’s को दिल्ली सरकार देगी सिक्योरिटी... अरविंद केजरीवाल ने दिल्ली चुनाव से पहले किया बड़ा एलान
Delhi Assembly Election 2025: दिल्ली में सुरक्षा के मुद्दे को उछालकर इसे वोट बैंक बनाने की तैयारी में लगी आप ने RWA’s के लिए बड़ा एलान किया है, जिसमें आप सुप्रीमों केजरीवाल ने वादा किया कि अगर पार्टी सत्ता में वापसी करती है, तो RWA’s को सिक्योरिटी दी जाएगी.

Delhi Assembly Election 2025: दिल्ली में विधानसभा चुनाव 5 फरवरी 2024 को होने वाले हैं. इससे पहले आप सुप्रीमों अरविंद केजरीवाल ने एलान किया है कि दिल्ली की कॉलोनियों और गली-मोहल्ले की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए दिल्ली की सभी रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन (RWA’s) को सरकार सुरक्षा देगी. इसके साथ ही उन्होंने बीजेपी पर सुरक्षा को लेकर निशाना साधा और कहा कि केंद्र सरकार दिल्ली को सुरक्षित रखने में असफल रही है.
अरविंद केजरीवाल ने कहा, 'दिल्ली को बीजेपी ने क्राइम कैपिटल बना दिया है. यहां लूटपाट और गैंगवार हो रहे हैं. बीजेपी को दिल्ली वालों से कोई लेना-देना नहीं है, लेकिन हमें तो दिल्ली की चिंता है. इसलिए हमने लोगों को भरोसा दिया है कि दिल्ली में जितने RWA’s हैं, उनके इलाकों में हम सिक्योरिटी गार्ड तैनात करने के लिए दिल्ली सरकार पैसे देगी. इससे लोग अपने - अपने इलाकों के अंदर बेसिक सुरक्षा के लिए सिक्योरिटी गार्ड रख सकते हैं. इसके लिए अलग - अलग इलाकों में मानदंड तय किए जाएंगे और उसके अनुसार पैसे दिए जाएंगे.
हर घर होगा सुरक्षित -केजरीवाल
केजरीवाल ने आगे कहा, 'हमने पूरी दिल्ली में CCTV कैमरे लगाए. इसके जरिए हम क्रिमनल्स को तुरंत पकड़ लेते हैं और इसका फायदा भी दिल्ली में देखने को मिला है. ऐसे ही RWA’s को सिक्योरिटी गार्ड देकर हम दिल्ली की सुरक्षा को सुनिश्चित करना चाहते हैं. इससे लोग अपने घरों में सुरक्षित महसूस करेंगे और दिल्ली वालों की सुरक्षा ही मेरी पहली जिम्मेदारी है.'
क्या होता है रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन (RWA’s)?
रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन (RWA’s) एक गैर सरकारी संगठन (NGO) है, जो शहर के आवासीय सोसायटी या कॉलोनी के हित में काम करती है. RWA का काम रोजाना की समस्याओं को हल करना, इवेंट्स का आयोजन करना, सोसाइटी की सुविधाओं को मैनेज करना और वहां रहने वालों के अधिकारों की रक्षा करना है. RWA’s को सोसायटी रजिस्ट्रेशन एक्ट 1860 के तहत रजिस्टर किया गया है. इसे लेकर भारत के अलग - अलग राज्यों में नियम अलग - अलग होते हैं.