कौन थे BJP नेता सुरेंद्र केवट? पटना में दो बाइक सवारों ने आधी रात को गोली मारकर की हत्या, हमले ने उठाए सुरक्षा पर सवाल
BJP Leader Surendra Kevat: सुरेंद्र केवट विष्णुदेव केवट के बेटे थे. शनिवार की देर रात सुरेंद्र की गोली मारकर हत्या की गई. वह खेत में मोटर को बंद करने गए और जैसे ही बाइक पर बैठ रहे थे, हमला कर दिया गया. इस घटना ने राज्य की सुरक्षा व्यवस्था पर भी सवाल उठाए हैं.

BJP Leader Surendra Kevat: बिहार के पुनपुन प्रखंड में पीपरा थाना क्षेत्र स्थित गांव में एक भाजपा नेता की बेरहमी से हत्या कर दी गई. शनिवार (12 जुलाई) की देर रात सुरेंद्र केवट की गोली मारकर हत्या की गई. बाइक सवार दो अज्ञात युवकों बदमाशों ने उन पर हमला किया. उन्होंने नेता को 4 गोली मारी. इससे पहले पटना में गोपाल खेमका में एक बीजेपी नेता को मार दिया गया था.
जानकारी के अनुसार, सुरेंद्र केवट (52) बीजेपी किसान मोर्चा के पुनपुन प्रखंड के पूर्व अध्यक्ष रह थे. गोली लगने के बाद आसपास मौजूद लोग उन्हें पटना एम्स लेकर पहुंचे, जहां इलाज के दौरान उन्होंने दम तोड़ दिया. मामले की जानकारी होते ही फुलवारीशरीफ विधानसभा क्षेत्र के विधायक गोपाल रविदास और पूर्व मंत्री श्याम रजक अस्पताल पहुंचे.
कौन थे सुरेंद्र केवट?
सुरेंद्र केवट विष्णुदेव केवट के बेटे थे. वह अपने परिवार के साथ शेखपुरा गांव में रहते थे. वह पुनपुन प्रखंड बीजेपी नेता के साथ ग्रामीण पशु चिकित्सक भी थे. सुरेंद्र खेती-किसानी भी किया करते और बेहद साधारण जीवन जीते थे. राजनीति में उनकी काफी अच्छी पकड़ थी. शनिवार को आधी रात को खाना खाकर बाइक से अपने गांव जा रहे थे. गांव से बाहर बिहटा-सरमेरा स्टेट हाईवे-78 पर ही उन पर गोली चलाई गई. वह खेत में मोटर को बंद करने गए और जैसे ही बाइक पर बैठ रहे थे, हमला कर दिया गया.
पुलिस ने शुरू की हमलावरों की तलाश
पुलिस ने इस मामले में अज्ञात बदमाशों के खिलाफ शिकायत दर्ज कर ली है. पुलिस घटनास्थल के पास लगे सीसीटीवी कैमरों के खंगाल रही है. फुटेज की मदद से आरोपियों की पहचान की जाएगी. इस घटना ने राज्य की सुरक्षा व्यवस्था पर भी सवाल उठाए हैं. कैसे खुलेआम एक नेता पर गोली चला दी जाती है. पुलिस ने आश्वासन दिया है कि हम जल्दी की आरोपियों को गिरफ्तार कर लेंगे.
क्या है हत्या की वजह?
स्थानीय लोगों का कहना है कि हमें गोली चलने की आवाज सुनाई दी. हम भागे-भागे गए और देखा कि भाजपा नेता खून से लथपथ जमीन पर पड़े हैं. फिर ने अस्पताल लेकर गए. पुलिस को जानकारी दी और पीपरा पुलिस मौके पर पहुंची. अभी यह सामने नहीं आया है कि सरेंद्र केवट की हत्या आपसी रंजिश थी या कोई चुनावी दुश्मनी. फिलहाल पुलिस मामले की जांच कर रही है.