Begin typing your search...

असम के इस गांव में हाथियों का तांडव! खाने की तलाश में रौंद दिए कई मकान

असम के ग्वालपाड़ा जिले के धनुभंगा गांव में जंगली हाथी के आतंक से आम जनता को काफी समस्या हो रही है. दरअसल जंगल से खाने की तलाश में हाथी गांव की ओर बढ़ते हुए आतंक मचा रहे हैं. यहां तक की लोगों के घरों के बाहर खड़ी गाड़ी, बाइक के साथ तोड़फोड़ कर रहे हैं. बताया गया कि हाल ही में हाथी की चपेट में आने से एक व्यक्ति की मौत हो गई थी.

असम के इस गांव में हाथियों का तांडव! खाने की तलाश में रौंद दिए कई मकान
X
( Image Source:  META AI )
सार्थक अरोड़ा
Edited By: सार्थक अरोड़ा

Updated on: 7 Nov 2025 7:04 PM IST

असम के ग्वालपाड़ा जिले के धनुभंगा गांव में अचानक जंगली हाथी घुस आया. बताया गया कि इस हाथी के आतंक से आम लोगों में काफी डर का माहौल है. जगंल से गांव की ओर बढ़े इस हाथी ने काफी नुकसान कर दिया है. यह घटना उस समय की है जब रात में करीब 11 बजकर 30 मिनट पर खाने की तलाश में हाथी गांव में पहुंच गया. खाना न मिलने के कारण वह घर में घुसा, तोड़फोड़ की यहां तक की बाहर खड़े वाहन कार और बाइकों को भी तोड़ दिया. अब इस आतंकी स्थिति को देखकर लोग काफी डरे हुए हैं.

आतंक के कारण गई शख्स की जान

वहां मौजूद लोगों के लिए ये हादसा काफी भयानक था. लोगों का कहना है कि रातको जब जंगल से हाथी खाने की तलाश में आया तो उसने घरों के बाहर आकर तोड़फोड़ शुरू कर दी. यहां तक की करीब दो-तीन दिन पहले एक व्यक्ति की मौत भी हो गई थी. लोगों का कहना है कि शाम को अपने खाने की तलाश में हाथी निकल पड़ते हैं और भटकते-भटकते गांव की ओर आ जाते हैं.

लोगों ने जताई चिंता

इसी दौरान एक अन्य निवासी ने भी हाथी के इस आतंक पर चिंता जताई और कहा कि ऐसे मामले लगातार बढ़ते जा रहे हैं. उन्होंने कहा कि खाने-पीने की तलाश में हाथी गांव आते हैं. फिर इसी तरह से उत्पात मचाते हैं. ऐसे में बात करें कि आखिर ऐसा हो क्यों रहा है तो जंगल की कटाई सबसे बड़ा कारण है. लोग बिना सोचे जंगल की कटाई कर रहे हैं और अपना घर बना रहे हैं. इस कारण अपने खाने की तलाश में जानवरों को इनसानों के घरों में आना पड़ता है. एक्सपर्ट्स का ऐसा कहना है कि असम में यह एक गंभीर स्थिति है. क्योंकी असम में इनसान और हाथियों की आबाजदी बड़ी है. जानकारी के अनुसार धनुभंगा और आसपास के गांव के लोग हाथियों के हमले के खतरे के कारण सावधान हैं. अब उम्मीद की जा रही है कि जल्द ही आम जनता और हाथियों की सुरक्षा के लिए कोई समाधान निकाला जाएगा.

असम न्‍यूज
अगला लेख