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पीएम मोदी के कार्यक्रम से स्टालिन ने बनाई दूरी, भड़की बीजेपी- यह अपमान है माफी मांगो

भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने रविवार को तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एम.के. स्टालिन पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कार्यक्रम में शामिल न होने को लेकर निशाना साधा. पीएम मोदी रामेश्वरम में नए पंबन ब्रिज समेत ₹8,000 करोड़ से अधिक की परियोजनाओं का उद्घाटन करने पहुंचे थे, लेकिन स्टालिन इस दौरान ऊटी में एक सरकारी अस्पताल का उद्घाटन कर रहे थे.

पीएम मोदी के कार्यक्रम से स्टालिन ने बनाई दूरी, भड़की बीजेपी- यह अपमान है माफी मांगो
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सागर द्विवेदी
By: सागर द्विवेदी

Updated on: 7 April 2025 12:09 AM IST

भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने रविवार को तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एम.के. स्टालिन पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कार्यक्रम में शामिल न होने को लेकर निशाना साधा. पीएम मोदी रामेश्वरम में नए पंबन ब्रिज समेत ₹8,000 करोड़ से अधिक की परियोजनाओं का उद्घाटन करने पहुंचे थे, लेकिन स्टालिन इस दौरान ऊटी में एक सरकारी अस्पताल का उद्घाटन कर रहे थे. स्टालिन ने कहा कि उन्होंने पहले ही प्रधानमंत्री को अपनी अनुपस्थिति की जानकारी दे दी थी और अपनी जगह मंत्री थंगम थेनारासु और राजा कन्नपन को प्रतिनिधि के तौर पर भेजा.

हालांकि, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष अन्नामलाई ने सीएम स्टालिन के इस फैसले की कड़ी आलोचना की. उन्होंने कहा, 'प्रधानमंत्री श्रीलंका से सीधे दिल्ली न जाकर तमिलनाडु आए हैं ताकि राज्य की जनता के लिए परियोजनाएं समर्पित की जा सकें. ऐसे में मुख्यमंत्री का कर्तव्य बनता था कि वे पीएम का स्वागत करें. अन्नामलाई ने स्टालिन पर तंज कसते हुए कहा, 'वह रामेश्वरम की गर्मी नहीं झेल सके, इसलिए ऊटी चले गए. उन्होंने जानबूझकर प्रधानमंत्री का अपमान किया है.

BJP ने क्यों कहा स्टालिन माफी मांगे?

उन्होंने आगे कहा कि मुख्यमंत्री ने केवल राजनीतिक कारणों से यह कदम उठाया है और उन्हें तमिलनाडु की जनता से माफी मांगनी चाहिए. 'सीएम ने अपनी जिम्मेदारी निभाने में विफलता दिखाई है और प्रधानमंत्री के सम्मान में कमी की है,' अन्नामलाई ने कहा कि भाजपा ने इस पूरे घटनाक्रम की कड़ी निंदा करते हुए स्टालिन से राजनीति छोड़कर कर्तव्य निभाने की अपील की.

PM मोदी ने स्टालिन पर कसा था ये तंज

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा,'सरकार लगातार यह सुनिश्चित करने के लिए काम कर रही है कि तमिल भाषा और तमिल विरासत दुनिया के हर कोने तक पहुंचे. कभी-कभी, मुझे आश्चर्य होता है जब मुझे तमिलनाडु के कुछ नेताओं से पत्र मिलते हैं, उनमें से किसी पर भी तमिल भाषा में हस्ताक्षर नहीं होते हैं. अगर हमें तमिल पर गर्व है, तो मैं सभी से अनुरोध करूंगा कि कम से कम अपने नाम पर तमिल में हस्ताक्षर करें. आज भाजपा का स्थापना दिवस भी है...आज, देश भर के लोग भाजपा सरकारों के सुशासन को देख रहे हैं.'

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