कैंसर के मरीज, करीब 20 दिन से सिर्फ पी रहे पानी; किसानों के लिए आवाज उठाने वाले कौन हैं जगजीत सिंह डल्लेवाल?
किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल किसानों की मांगों को लेकर के पिछले 21 दिनों से भूख हड़ताल पर बैठे हुए हैं. संसद में डल्लेवाल अनशन के मुद्दे पर विपक्ष ने चर्चा की. वारिंग ने कहा, "डल्लेवाल की हालत इस समय बहुत नाजुक है क्योंकि उन्होंने 21 दिनों से कुछ भी नहीं खाया है. उनकी हालत ऐसी है कि कभी भी कुछ भी हो सकता है.

Who Is Jagjit Singh Dallewal: किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल किसानों की मांगों को लेकर के पिछले 21 दिनों से भूख हड़ताल पर बैठे हुए हैं. डल्लेवाल खनौरी बॉर्डर पर धरना दे रहे हैं. उनकी हालत लगातार बिगड़ी जा रही है, लेकिन डल्लेवाल अनशन तोड़ने का नाम नहीं ले रहे.
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, जगजीत सिंह डल्लेवाल की तबियत बिगड़ी जा रही है. विपक्षी पार्टियां उनका हाल जानने के लिए खनौरी बॉर्डर पहुंच रही हैं. वहीं विपक्ष ने केंद्र की भाजपा सरकार पर हमला बोला है. इस मुद्दे को संसद में भी उठाया गया. इनमें पंजाब कांग्रेस अध्यक्ष और सांसद अमरिंदर राजा वारिंग, आप सांसद मलविंदर सिंह कंग और कई अन्य राजनीतिक नेता शामिल थे.
संसद में उठाया गया भूख हड़ताल का मुद्दा
संसद में डल्लेवाल अनशन के मुद्दे पर विपक्ष ने चर्चा की. वारिंग ने कहा, "डल्लेवाल की हालत इस समय बहुत नाजुक है क्योंकि उन्होंने 21 दिनों से कुछ भी नहीं खाया है. उनकी हालत ऐसी है कि कभी भी कुछ भी हो सकता है. वह अपने लिए नहीं बल्कि किसानों और जनता के लिए लड़ रहे हैं, अगर उन्हें कुछ हुआ तो यह राज्य का नुकसान होगा इसलिए उन्हें सुनना चाहिए. उन्होंने कहा कि वह लोगों के लिए लड़ रहे हैं."
उन्होंने केंद्र सरकार को चेतावनी दी और कहा, "अगर उन्हें (डल्लेवाल को) कुछ हुआ तो राज्य के लोग और देश के किसान नहीं रुकेंगे क्योंकि चीजें हाथ से निकल सकती हैं. उन्होंने कहा, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान को यहां आना चाहिए और किसानों से बात करनी चाहिए."
कौन हैं जगजीत सिंह डल्लेवाल?
जगजीत सिंह डल्लेवाल सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे के अनुयायी रहे हैं क्योंकि किसानों के हक के लिए उन्होंने कई बार भूख हड़ताल की है. वह साल 2018 में पहली बार चर्चा में आए थे. उन्होंने किसानों के मुद्दों पर पंजाब के मालवा क्षेत्र में काफी सक्रियता के साथ काम किया. वह किसानों के आत्महत्या से काफी दुखी थे. इस बार भी किसानों के हितों के लिए खनौरी बॉर्डर पर अनशन कर रहे हैं. वह 17 एकड़ जमीन के मालिक हैं. उन्होंने 4.5 एकड़ जमीन अपने बेटे ने गुरुपिंदर डल्लेवाल के नाम कर दी. बाकी की जमीन उन्होंने 10.5 एकड़ खेती योग्य जमीन अपने पोते जिगरजोत सिंह को सौंप दी.
खुद का बनाया किसान संगठन
डल्लेवाल फरीदकोट जिले के एक गांव के निवासी हैं. वह लंबे समय से किसानों के लिए आवाज उठा रहे हैं. उन्होंने किसानों के आत्महत्या करने पर उन्हें मुआवजा देने की मांग की थी. डल्लेवाल ने पंजाब में 2022 के विधानसभा चुनाव लड़ने के लिए एक अलग संगठन बनाने के लिए एसकेएम नेता बलबीर सिंह राजेवाल की आलोचना की थी. फिर बाद में अन्य किसान नेताओं के साथ मिलकर एसकेएम (गैर-राजनीतिक) का गठन किया.