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महामंडलेश्वर पद से हटी Mamta Kulkarni, आचार्य लक्ष्मी नारायण त्रिपाठी भी हुई निष्कासित

पूर्व बॉलीवुड एक्ट्रेस ममता कुलकर्णी को महामंडलेश्वर बनाए जाने के बाद किन्नर अखाड़ा बड़े विवाद के केंद्र में था. कथित तौर पर इस नियुक्ति पर अखाड़े के कई लोगों ने आपत्ति जताई थी. सिर्फ इतना ही नहीं त्रिपाठी ने यह भी दावा किया था कि अजय दास को किन्नर अखाड़े से निष्कासित कर दिया गया है.

महामंडलेश्वर पद से हटी Mamta Kulkarni, आचार्य लक्ष्मी नारायण त्रिपाठी भी हुई निष्कासित
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( Image Source:  Instagram )
रूपाली राय
Edited By: रूपाली राय

Updated on: 31 Jan 2025 2:22 PM IST

पूर्व बॉलीवुड एक्ट्रेस ममता कुलकर्णी (Mamta Kulkarni) को महामंडलेश्वर के रूप में शामिल किए जाने के कुछ दिनों बाद उन्हें शुक्रवार को किन्नर अखाड़े से निष्कासित कर दिया गया. किन्नर अखाड़े के संस्थापक अजय दास ने कुलकर्णी को पहले स्थान पर शामिल करने के लिए आचार्य महामंडलेश्वर लक्ष्मी नारायण त्रिपाठी को भी अखाड़े से निष्कासित कर दिया.

पूर्व बॉलीवुड एक्ट्रेस ममता कुलकर्णी को महामंडलेश्वर बनाए जाने के बाद किन्नर अखाड़ा बड़े विवाद के केंद्र में था. कथित तौर पर इस नियुक्ति पर अखाड़े के कई लोगों ने आपत्ति जताई थी. खबरों के मुताबिक, किन्नर अखाड़े के संस्थापक अजय दास का आचार्य महामंडलेश्वर लक्ष्मी नारायण त्रिपाठी के साथ मतभेद हो गया था और उन्होंने चेतावनी दी थी कि वे त्रिपाठी को पद से हटा देंगे.

खड़ा हुआ नया विवाद

जवाब में, लक्ष्मी नारायण ने यह दावा करते हुए एक नया विवाद खड़ा कर दिया कि दास ऐसा करने के अधिकार की स्थिति में नहीं थे. इससे पहले News18 से बात करते हुए महामंडलेश्वर लक्ष्मी नारायण त्रिपाठी ने कहा कि किन्नर अखाड़े के भीतर सभी फैसले पूरी पारदर्शिता के साथ किए जाएंगे. त्रिपाठी ने कहा था कि किन्नर अखाड़ा विवाद को संबोधित करने के लिए शुक्रवार दोपहर को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस करेगा, जिसके दौरान एक महत्वपूर्ण घोषणा की जाएगी. प्रेस कॉन्फ्रेंस करेगा.'

दास भी हुए निष्कासित

सिर्फ इतना ही नहीं त्रिपाठी ने यह भी दावा किया था कि अजय दास को किन्नर अखाड़े से निष्कासित कर दिया गया है. दास परिवार और बच्चों के साथ रहते हैं किन्नर अखाड़े में अब उनके लिए कोई जगह नहीं है. किन्नर अखाड़े के भीतर महामंडलेश्वर पद की संभावित समीक्षा को लेकर सवाल उठे हैं, जिसमें नए नेता की नियुक्ति की संभावना भी शामिल है. इसके अलावा, रिपोर्टों से अखाड़े के भीतर गुटबाजी के संकेत मिल रहे है.

एक स्त्री कैसे बन सकती है

बता दें कि 24 जनवरी ममता को किन्नर अखाड़े की महामंडलेश्वर घोषित किया गया. इस पद के साथ उनके नाम भी बदलाव किया गया वह ममता कुलकर्णी से ममता नंद गिरी से जानी जाएगी. लेकिन उनका महामंडलेश्वर किन्नर अखाड़े के कुछ सतों को हजम नहीं हुआ और उन्होने उनके महामंडलेश्वर बनने पर सवाल उठाए। दरअसल ट्रांसजेंडर कथावाचक जगतगुरु हिमांगी सखी मां ने पूर्व बॉलीवुड एक्ट्रेस ममता कुलकर्णी को महाकुंभ के दौरान किन्नर अखाड़े का महामंडलेश्वर नियुक्त किए जाने पर अपनी बात रखी थी. उन्होंने कहा था कि ऐसे व्यक्ति को महामंडलेश्वर की उपाधि देकर आप सनातन धर्म को किस तरह का गुरु दे रहे हैं? यह नैतिकता का सवाल है. जो व्यक्ति गुरु कहलाने के लायक नहीं है, उसे गुरु बनाया जा रहा है. किन्नर अखाड़ा सिर्फ किन्नरों के लिए है फिर भला एक स्त्री इस अखाड़े की महामंडलेश्वर कैसे बन सकती है?. अगर ऐसे ही कोई महामंडलेश्वर बन जाए तो इस अखाड़े का नाम किन्नर अखाड़ा क्यों रखा गया है.'

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