BLA के लिए मुश्किल! पाक के दो आतंकी संगठन इस्लामिक स्टेट खुरासान और लश्कर भाई-भाई, गिफ्ट में दी पिस्टल
Pakistan News: हाल ही में एक तस्वीर सामने आई है जिसमें इस्लामिक स्टेट खुरासान प्रांत (ISKP) के बलूचिस्तान कोऑर्डिनेटर मीर शफीक मेंगल लश्कर-ए-तैयबा (LeT) के कमांडर राना मोहम्मद अशफाक को एक पिस्तौल भेंट करते हुए नजर आ रहे हैं. दोनों संगठन को आईएसआई सपोर्ट करता है.;
Pakistan News: पाकिस्तान हमेशा से आतंकवादियों को सपोर्ट करता आया है. युवाओं का ब्रेनवॉश करके आतंक की दुनिया में धकेल दिया जाता है. पहलगाम हमले के पीछे भी पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी यानी ISI और लश्कर का नाम सामने आया. हालांकि पाक सरकार को खुद को इनसे दूर बताती है, लेकिन एक बार फिर उसका काला सच सामने आ गया है.
हाल ही में ISI संरक्षण में दो आतंकी संगठनों इस्लामिक स्टेट खुरासान प्रांत (ISKP) और लश्कर-ए-तैयबा (LeT) मजबूत होने का खुलासा हुआ है. यह गठबंधन बलूचिस्तान और अफगानिस्तान में अपना आतंक फैलाने की कोशिश कर रहे हैं. हद तो तब हुई जब आतंकवादियों को गिफ्ट में पिस्तौल दी जा रही हैं.
आतंकवाद फैलाने का नया प्लान
ISKP और LeT केंद्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर में आतंकवाद को दोबारा खड़ा करने की साजिश रच रहे हैं, जिसमें सेना भी शामिल होने की बात सामने आई है. ऑपरेशन सिंदूर के बाद पाकिस्तान ने जैश-ए-मोहम्मद (JeM), हिजबुल मुजाहिदीन (HM) और लश्कर जैसे आतंकी संगठनों को खैबर पख्तूनख्वा (KPK) प्रांत में शिफ्ट किया है.
सूत्रों का कहना है कि ISI अब ISKP को नए मकसदों के लिए इस्तेमाल कर रही है. ISKP को पाकिस्तानी सेना बलूच राष्ट्रवादियों और इस्लामाबाद के अधीन न रहने वाले तालिबान गुटों को निशाना बनाने के लिए इस्तेमाल कर रही है.
पाक के नापाक इरादे
पाकिस्तान अपने नए प्रॉक्सी नेटवर्क के तहत ISKP और लश्कर जैसे संगठनों को एकजुट कर क्षेत्र में हिंसा को फिर से भड़काने की कोशिश कर रहा है. यह गठजोड़ ISI की रणनीतिक योजना का हिस्सा है, जिसका उद्देश्य भारत के खिलाफ आतंकवाद को बढ़ावा देना है. भारत को इस नई स्थिति का सामना करने के लिए अपनी सुरक्षा रणनीतियों को मजबूत करना होगा.
गिफ्ट में दी पिस्तौल
हाल ही में एक तस्वीर सामने आई है जिसमें इस्लामिक स्टेट खुरासान प्रांत (ISKP) के बलूचिस्तान कोऑर्डिनेटर मीर शफीक मेंगल लश्कर-ए-तैयबा (LeT) के कमांडर राना मोहम्मद अशफाक को एक पिस्तौल गिफ्ट करते देखा गया. यह फोटो दोनों संगठनों के बीच बढ़ते गठजोड़ को स्पष्ट रूप से दिखाती है. जम्मू-कश्मीर में आतंकवाद को फिर से एक्टिव करने की साजिश भी चल रही है. यह भारतीयों की सुरक्षा के लिए भी चिंता का विषय है. जून में लश्कर के प्रमुख राना मोहम्मद अशफाक बलूचिस्तान पहुंचा और पश्तो सभा बुलाई. इस सभा में बलूच अलगाववादियों के खिलाफ जिहाद का आह्वान किया गया.