टॉयलेट में लगे शीशे के सामने ज्यादा समय बिता रहे बच्चे, प्रिंसिपल ने हटवाने का दिया आदेश
ब्रिटेन के एक स्कूल ने अजीबोगरीब फैसला लिया है. जिसने सभी को हैरत में डाल दिया. दरअसल स्कूल मैनेजमेंट के हिसाब से बच्चे स्कूल टॉयलेट में अधिक शीशे का इस्तेमाल करते थे. इस कारण उन्होंने टॉयलेट से उन्हें हटाने का फैसला लिया. अब इसपर बच्चों के पेरेंट्स और स्कूल के बीच बहस छिड़ी है.;
ब्रिटेन के एक स्कूल के अजीबोगरीब फैसले ने सभी को हैरान कर दिया है. दरअसल स्कूल ने टॉयलेट में लगे सभी शीशों को हटा दिया है. इसके पीछे का कारण छात्र शीशे के सामने ज्यादा समय बिताने लगे थे. लिंकनशायर स्थित विलियम फर्र कॉम्प्रिहेंसिव स्कूल के हेडमास्टर ग्रांट एडगर ने ये फैसला लिया है. मीडिया रिपोर्ट के अनुसार स्कूल प्रिंसिपल का ये फैसला इसलिए लिया गया क्योंकी अक्सर अपने दोस्तों के साथ टॉयलेट में अधिक समय बिताने लगे थे.
रिसेप्शन से मांग कर सकते हैं
हालांकि उन्होंने अपनी बात रखते हुए कहा कि छात्र अभी भी मेडिकल परपस के लिए स्कूल रिसेप्शन से शीशा देखने की मांग कर सकते हैं. वहीं स्कूल के इस फैसले पर बच्चों के परिजनों ने आवाज उठाई और इसे बहुत अजीब फैसला बताया है. इसी कड़ी में एक पेरेंट्स ने कहा कि उन्हें अपनी बेटी की चिंता है वो कॉन्टैक्ट लेंस और ब्रेसेज वियर करती है. ऐसे में अगर उसे लेंस निकालने की जरूरत पड़े तो उसमें काफी दिक्कत हो सकती है.
क्यों लिया गया फैसला?
स्कूल की अगर सुनी जाए तो उनका कहना है कि ये फैसला पंचुएलिटी को देखते हुए लिया गया है. उन्होंने कहा कि कई छात्र क्लास में लेट पहुंचते थे. यहां तक की कुछ बच्चों की क्लास भी मिस हो जाती थी. इन सबके पीछे के कारणों पर जब ध्यान दिया गया तो टॉयलेट में लगे शीशा इसका मेन कारण बताया गया. देखा गया कि इससे पंचुएलिटी इशू सामने आ रहे हैं. इसलिए स्कूल ने शीशे वहां से हटाने का फैसला लिया है. स्कूल का कहना है कि ये फैसला कुछ छात्रों को टॉयलेट इस्तेमाल करने में अनकंफर्टेबल भी महसूस करवा सकता है.
फोन पर लगाया गया बैन
इसी तरह ब्रिटेन में फिलहाल 11 प्रतिशत ऐसे स्कूल हैं जहां स्मार्टफोन के इस्तेमाल पर भी बैन लगा दिए गए हैं. ईटन कॉलेज ने एक पॉलिसी लागू की है. जिसके तहत 9 वीं कक्षा तक पढ़ने वाले छात्रों को सिर्फ कॉल्स और टेक्स्ट करने के लिए फोन दिए जाएंगे. इसमें भी वो इनका इस्तेमाल सिर्फ स्कूल के बाहर ही कर पाएंगे.