बॉयफ्रेंड-गर्लफ्रेंड बनाना बंद करो... संत प्रेमानंद महाराज का नया Video Viral, बोले- गलत आचरण वालों को उपदेश बुरा लगता है

वीडियो के अंत में उन्होंने भगवान की माया का ज़िक्र करते हुए कहा, 'अगर कोई सच्चे मन से संतों, सद्गुरुओं और शास्त्रों की बातों पर ध्यान दे, तो फिर माया नाम की चीज़ का कोई असर नहीं होता. लेकिन यही माया, जो वास्तव में होती ही नहीं, सबसे ज़्यादा प्रभाव डालती है.;

( Image Source:  X : @ykrishna28 )
Edited By :  रूपाली राय
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हाल ही में प्रसिद्ध संत प्रेमानंद महाराज का एक बयान सामने आने के बाद सोशल मीडिया और जनमानस में काफी विवाद खड़ा हो गया है.  उन्होंने महिलाओं को लेकर जो बातें कहीं, उन्हें कई लोगों ने आपत्तिजनक और अपमानजनक माना है. कई सामाजिक संगठनों और आम लोगों ने उनके उस बयान की कड़ी आलोचना की है और इसे महिलाओं के सम्मान के खिलाफ बताया है.

लेकिन अभी यह विवाद थमा भी नहीं था कि संत प्रेमानंद महाराज का एक और वीडियो वायरल हो गया है, जिसमें उन्होंने अपने पहले दिए गए उपदेशों पर सफाई दी है. इस नए बयान में वह यह कहते नजर आ रहे हैं कि जो लोग गंदे आचरण में लिप्त होते हैं, उन्हें अगर कोई सच्चाई और अच्छाई की बात समझाने की कोशिश करता है तो उन्हें वह बातें बुरी लगती हैं. 

बॉयफ्रेंड-गर्लफ्रेंड बनाना बंद करो

वीडियो में संत प्रेमानंद महाराज एक उदाहरण देते हुए कहते हैं कि नाली के कीड़े को अगर अमृत कुंड में डालो, तो उसे वो अच्छा नहीं लगेगा.  उसी तरह, जो लोग गलत आदतों में पड़े हुए हैं, वो अगर किसी संत या धर्मग्रंथ की सही बात सुनेंगे तो उन्हें वह बात बुरी ही लगेगी क्योंकि वो खुद को बदलना नहीं चाहते. इसके साथ ही वीडियो में वह युवाओं को कड़ी सलाह देते हुए कहते हैं कि बॉयफ्रेंड-गर्लफ्रेंड बनाना बंद करो, किसी भी तरह का नशा मत करो और अपने माता-पिता की आज्ञा में रहो. यही सच्चा धर्म है, यही जीवन का सही रास्ता है. प्रेमानंद महाराज का मानना है कि आज के युवा सुख की तलाश में गलत रास्ते पकड़ लेते हैं, जैसे नशा, व्यभिचार (अनैतिक संबंध) और भटकाव की ज़िंदगी.

शास्त्रों से तुम्हारा कोई नाता नहीं 

वह कहते हैं कि ये सब दिखने में भले ही अच्छा लगे, लेकिन यही आदतें बाद में डिप्रेशन, जेल, और यहां तक कि आत्महत्या तक ले जाती हैं. अगर तुम बुरा मानते हो, तो संतजन उपदेश नहीं देंगे. उन्होंने यह भी कहा कि अगर हमारी बातों को तुम बुरा मानते हो, तो फिर संत और शास्त्रों से तुम्हारा कोई नाता नहीं रह जाएगा. जो अभी नए-नए युवा हैं, जो जीवन की शुरुआत कर रहे हैं, उन्हें ये समझना होगा कि सुख और शांति कहीं बाहर नहीं, बल्कि सदाचरण, धर्म, और आत्मिक शांति में है. 

माया बहुत चालाक है

वीडियो के अंत में उन्होंने भगवान की माया का ज़िक्र करते हुए कहा, 'अगर कोई सच्चे मन से संतों, सद्गुरुओं और शास्त्रों की बातों पर ध्यान दे, तो फिर माया नाम की चीज़ का कोई असर नहीं होता. लेकिन यही माया, जो वास्तव में होती ही नहीं, सबसे ज़्यादा प्रभाव डालती है. यही भगवान की बनाई लीला है. हालांकि इस नए वीडियो में उन्होंने अपने पहले बयान को एक तरह से औचित्य देने की कोशिश की है, लेकिन सोशल मीडिया पर प्रतिक्रियाएं अब भी मिश्रित हैं. कुछ लोग उनके विचारों को संस्कारों और धार्मिक मूल्यों की बात मान रहे हैं, तो कई लोग इसे युवाओं और महिलाओं की आज़ादी पर हमला बता रहे हैं. 

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