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टाट बिछाकर, गद्दा ओढ़कर पुलिस से बचने वाला सपा नेता कैश खान कौन? Video में देखिए कैसे आया पुलिस की गिरफ्त में

कन्नौज में समाजवादी पार्टी के पूर्व कोषाध्यक्ष और अखिलेश यादव के करीबी नेता कैश खान को पुलिस ने नाटकीय अंदाज में गिरफ्तार किया. जिला बदर किए जाने के बावजूद वह टांड़ पर गद्दा ओढ़कर छिपा हुआ मिला. पुलिस ने गुप्त सूचना पर छापेमारी की और गद्दा हटाकर उसे दबोच लिया. कैश खान के खिलाफ कई आपराधिक मुकदमे दर्ज हैं और उस पर जमीन कब्जाने के आरोप भी लग चुके हैं। गिरफ्तारी का वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो गया है.

टाट बिछाकर, गद्दा ओढ़कर पुलिस से बचने वाला सपा नेता कैश खान कौन? Video में देखिए कैसे आया पुलिस की गिरफ्त में
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( Image Source:  Social Media )
सागर द्विवेदी
By: सागर द्विवेदी

Published on: 5 Sept 2025 12:04 PM

उत्तर प्रदेश के कन्नौज में समाजवादी पार्टी (सपा) के एक वरिष्ठ नेता और पूर्व जिला कोषाध्यक्ष कैश खां को पुलिस ने फिल्मी अंदाज में गिरफ्तार किया. जिला बदर घोषित किए जाने के बावजूद वह अपने मोहल्ले में ही छिपकर रह रहा था. पुलिस को मुखबिर से मिली जानकारी के बाद दबिश दी गई और काफी तलाश के बाद वह घर के टांड़ (छत के मचान) पर गद्दा ओढ़कर छिपा हुआ मिला. पुलिसवालों ने गद्दा हटाया तो सपा नेता लेटा हुआ था. सोशल मीडिया में यह वीडियो आते ही चर्चा में बन गया है.

दरअसल, डीएम आशुतोष मोहन अग्निहोत्री ने 28 जुलाई को कैश खां को छह महीने के लिए जिला बदर घोषित किया था. बावजूद इसके, वह चुपचाप अपने मोहल्ले वालापीर में ही रह रहा था. बुधवार को पुलिस की दबिश के दौरान उसकी पोल खुल गई और उसे गिरफ्तार कर लिया गया. इस घटना के बाद राजनीति और प्रशासनिक गलियारों में हलचल मच गई है.

पुलिस की दबिश और चौंकाने वाली गिरफ्तारी

सूचना मिलने पर कोतवाली प्रभारी जितेंद्र प्रताप सिंह के नेतृत्व में पुलिस टीम ने करीब 11 बजे छापेमारी की. पूरे घर की तलाशी लेने के बावजूद कैश खां का कोई सुराग नहीं मिला. तभी एक पुलिसकर्मी की नजर टांड़ पर रखे गद्दे पर पड़ी. शक होने पर उसने कुर्सी मंगवाई और गद्दा हटाया. जैसे ही गद्दा उठा, पुलिस हैरान रह गई. नीचे कैश खां खुद को ओढ़े लेटा हुआ था. कैश खां पर पहले से ही सात आपराधिक मुकदमे दर्ज हैं. इन मामलों को देखते हुए डीएम ने उन्हें गुंडा एक्ट के तहत 28 जुलाई को छह महीने के लिए जिला बदर किया था. आदेश के मुताबिक, उन्हें कन्नौज जिले की सीमा से बाहर रहना था, लेकिन उन्होंने प्रशासनिक आदेश की खुलेआम अनदेखी की.

विवादों से जुड़ा रहा नाम

कैश खां का नाम पहले भी विवादों में रहा है. उन पर एक प्राचीन मंदिर और मस्जिद की जमीन पर कब्जा करने के आरोप लग चुके हैं. 6 जनवरी को उनके मैरिज हॉल पर भी बुलडोजर चला था. प्रशासन का दावा था कि यह निर्माण अवैध कब्जे पर किया गया था और दबंगई व अफसरों की मिलीभगत से सड़कों पर भी कब्जा जमाया गया था. कैश खां को अखिलेश यादव का करीबी माना जाता है. 25 जुलाई को खुद अखिलेश यादव उनके घर पहुंचे थे और लगभग 15 मिनट तक वहीं रुके थे. इसके अलावा, उनकी अखिलेश और डिंपल यादव के साथ कई तस्वीरें भी सोशल मीडिया पर मौजूद हैं। यही वजह है कि उनकी गिरफ्तारी को लेकर राजनीतिक हलकों में भी गर्माहट बढ़ गई है.

कौन है कैश खां?

कन्नौज का नाम जब भी समाजवादी राजनीति और विवादों में गूंजता है, तो उसमें कैश खां का नाम अक्सर सामने आता है. अखिलेश यादव के करीबी और सपा के पूर्व जिला कोषाध्यक्ष रह चुके कैश खां का राजनीतिक सफर जितना चर्चित रहा है, उतना ही विवादों से भी घिरा रहा है. आइए विस्तार से जानते हैं...

कैश खां लंबे समय तक समाजवादी पार्टी से जुड़े रहे और कन्नौज में संगठन के अहम पद पर भी रहे. वह सपा के जिला कोषाध्यक्ष के पद पर कार्य कर चुके हैं। राजनीतिक और निजी तौर पर उनका रिश्ता सीधे अखिलेश यादव और डिंपल यादव से जुड़ा माना जाता है. यही कारण है कि उनकी छवि सिर्फ स्थानीय नहीं, बल्कि प्रदेश स्तर तक पहचानी जाती है. कैश खां का नाम लगातार विवादों और आपराधिक मामलों में जुड़ता रहा है. उनके खिलाफ 7 आपराधिक मुकदमे दर्ज हैं. इन मामलों में जमीन पर कब्जा, गुंडागर्दी और दबंगई जैसे गंभीर आरोप शामिल हैं. इसी कारण 28 जुलाई को डीएम ने उन्हें गुंडा एक्ट के तहत छह महीने के लिए जिला बदर कर दिया था.

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