जिसने कभी नहीं पकड़ा बल्ला, वही बना MPCA का अध्यक्ष, जानें कौन हैं महाआर्यमन सिंधिया?
Jyotiraditya Scindia Son Mahanaaryaman Scindia: केंद्रीय मंत्री और बीजेपी सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिया के बेटे महाआर्यमन सिंधिया मध्य प्रदेश क्रिकेट एसोसिएशन (MPCA) के सबसे कम उम्र में अध्यक्ष चुने गए हैं. राजनीति और खेल की दुनिया से जुड़े महाआर्यमन इससे पहले ग्वालियर डिवीजन क्रिकेट एसोसिएशन (GDCA) में उपाध्यक्ष पद पर रह चुके हैं.
भारतीय क्रिकेट प्रशासन की दुनिया में अक्सर पुराने और अनुभवी चेहरे ही हावी रहते हैं, लेकिन इस बार एक युवा चेहरा सुर्खियों में है. महाआर्यमन सिंधिया जो केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया के बेटे हैं, ने रिकॉर्ड बनाते हुए एमपीसीए (Madhya Pradesh Cricket Association) की कमान संभाल ली है. वह एमपीसीए का कमान संभालने वाले सबसे कम उम्र के युवा हैं. महाआर्यमन क्रिकेट के प्रति अपने विजन और मैनेजमेंट स्किल्स के लिए पहले भी चर्चा में रहे हैं.
कौन हैं महाआर्यमन सिंधिया?
महाआर्यमन 29 वर्ष की आयु में मध्य प्रदेश क्रिकेट एसोसिएशन (MPCA) के सबसे युवा अध्यक्ष बना गए हैं. इस पद के लिए चुनाव में उनके खिलाफ कोई प्रतिद्वंदी नहीं था. एमपीसीए अध्यक्ष पद की जिम्मेदारी निभाने वाले वो सिंधिया परिवार के तीसरे शख्स हैं. पहले उनके दादा माधवराव सिंधिया और फिर उनके पिता ज्योतिरादित्य सिंधिया भी ये जिम्मेदारी निभा चुके हैं.
निर्विरोध चुने गए अध्यक्ष
MPCA की वार्षिक आम सभा (एजीएम) में चुनाव हुए और संपूर्ण कार्यकारिणी अध्यक्ष, उपाध्यक्ष, सचिव, संयुक्त सचिव, कोषाध्यक्ष और अन्य सदस्यों को सर्वसम्मति से चुना गया.
महिला क्रिकेट को मजबूती देना पहली प्राथमिकता
एमपीसीए का अघ्यख चुने जाने के बाद महाआर्यमन सिंधिया ने तत्काल अपनी प्रतिक्रिया में कहा कि उन्होंने इंदौर के खजराना गणेश मंदिर में दर्शन किए और कहा कि यह उनके लिए एक भावनात्मक क्षण है, क्योंकि उनके पिता और दादा ने भी इसी संगठन की सेवा की है. वे ग्रामीण क्षेत्रों और महिलाओं के बीच क्रिकेट को बढ़ावा देने के इच्छुक हैं.
जीडीसीए के उपाध्यक्ष रह चुके हैं महाआर्यमन
महाआर्यमन सिंधिया एमपीसीए से पहले 2022 में ग्वालियर क्रिकेट डिवीजन एसोसिएशन (GDCA) में उपाध्यक्ष का पद संभाल चुके हैं. साथ ही उन्हें एमपीसीए का आजीवन सदस्य भी बनाया गया था. साल 2024 में उन्होंने मध्य प्रदेश टी-20 लीग (MPL) की शुरुआत की और उसकी अध्यक्षता भी की.
सबसे पहले बप्पा का लिया आशीर्वाद
एनबीटी की रिपोर्ट के मुताबिक महाआर्यमन ने बप्पा से आशीर्वाद लिया और माथे पर तिलक लगाकर यह महत्वपूर्ण निर्णय परिवार की परंपरा के अनुसार लिया गया. महाआर्यमन सिंधिया का एमपीसीए का अध्यक्ष चुने जाने के बाद से सोशल मीडिया पर यह चर्चा में हैं कि जिसने कभी बल्ला नहीं पकड़ा उसी को बना दिया गया एमपीसीए का अध्यक्ष.





