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बुलाती है पर जाने का नहीं! धनबाद में नकली कॉल गर्ल बन 500 लड़कों को लूटा

धनबाद में हनीट्रैप के जरिए लड़कों लूटा गया है. शहर में यह मामला तेजी से तूल पकड़ रहा है. शिकार हुए लोगों ने पुलिस से मदद की गुहार लगाई है. साइबर ठगों ने अब तक 500 लड़कों को अपना शिकार बनाया है. एक मोबाइल नंबर पर वॉट्सऐप कॉल करने पर कॉर्ल गर्ल भेजने का झूठ बोला. फिर ठग लड़कियों की तस्वीर भेज देते थे और रुपये पहले से ले लेते थे.

बुलाती है पर जाने का नहीं! धनबाद में नकली कॉल गर्ल बन 500 लड़कों को लूटा
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( Image Source:  Meta AI )
निशा श्रीवास्तव
Edited By: निशा श्रीवास्तव

Updated on: 26 Nov 2025 3:44 PM IST

Dhanbad News: देश भर में साइबर फ्रॉड के मामले तेजी से बढ़ते जा रहे हैं. फेक पेमेंट, नकली पुलिस बनकर स्कैमर्स भोले-भाले लोगों को अपने जाल में फंसा रहे हैं. अब ठगी के नए तरीके का खुलासा हुआ है. झारखंड के धनबाद में बड़ी संख्या में लड़कों से ठगी की गई. लड़कों को नकली कॉल के नाम पर लूट लिया गया.

मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, धनबाद में हनीट्रैप के जरिए लड़कों लूटा गया है. शहर में यह मामला तेजी से तूल पकड़ रहा है. शिकार हुए लोगों ने पुलिस से मदद की गुहार लगाई है. साइबर ठगों ने अब तक 500 लड़कों को अपना शिकार बनाया है.

नकली कॉल बनकर फंसाया

रिपोर्ट में बताया गया कि साइबर ठग ने खुद को कॉल गर्ल बताकर लोगों को फंसाया है. एक मोबाइल नंबर पर वॉट्सऐप कॉल करने पर कॉर्ल गर्ल भेजने का झूठ बोला. फिर ठग लड़कियों की तस्वीर भेज देते थे और रुपये पहले से ले लेते थे. स्कैमर्स लोगों को बताते थे कि लड़की बताए गए होटल में मिलेगी इसलिए पैसे ऑनलाइन ट्रांसफर कर दो, लेकिन बाद में पता चलता था कि उनके साथ फ्रॉड हुआ है. बता दें कि धनबाद में युवा तेजी से हनीट्रैप के जाल में फंस रहे हैं.

फोटो के लिए मांगते हैं 500 रुपये

साइबर ठग वॉट्सऐप कॉल करने के बाद 500 रुपये मांगते थे. रुपये भेजने के लिए उन्हें एक क्यूआर कोड दिया जाता है. फिर लड़कियों की फोटो भेजी जाती है और लड़की पसंद आने पर 3000 से 7000 रुपये तक घंटे के हिसाब से मांगें जाते हैं. जांच में यह भी पता चला कि लड़कों को यकीन दिलाने के लिए स्कैमर्स लड़कियों से बातचीत भी करा देते थे. इसके बाद मीठी-मीठी बातों में आकर लोग पैसे ट्रांसफर करने को तैयार हो जाते हैं.

मनचाही लोकेशन पर होता है होटल

स्कैमर्स कॉल भेजने के लिए पहले लोकेशन मांगते हैं. लोकेशन भेजने के बाद लोगों के घर के पास के हॉटल की लिस्ट दी जाती है. फिर लोगों की पसंद के होटल में बुकिंग का दावा किया जाता है. भरोसा दिलाने के लिए होटल का कमरा तक बता दिया जाता था, लेकिन वहां पहुंच कर उल्टा ही होता था. जाल में फंसे लोग जब होटल पहुंचते तो उनसे रुपये मांगे जाते हैं, फिर उन्हें एहसास होता है कि उनके साथ फ्रॉड हुआ है.

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