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एफसीआरए जांच में आम आदमी पार्टी पर शिकंजा, दुर्गेश पाठक के परिसरों पर CBI की छापेमारी

एफसीआरए (विदेशी योगदान विनियमन अधिनियम) उल्लंघन मामले में केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) ने आम आदमी पार्टी के नेता दुर्गेश पाठक के दिल्ली स्थित परिसरों पर छापेमारी की. सूत्रों के अनुसार, यह कार्रवाई एक दर्ज मामले के तहत की गई है. पार्टी ने इसे राजनीतिक प्रतिशोध बताया है, जबकि जांच एजेंसी विदेशी फंडिंग से जुड़ी अनियमितताओं की छानबीन कर रही है.

एफसीआरए जांच में आम आदमी पार्टी पर शिकंजा, दुर्गेश पाठक के परिसरों पर CBI की छापेमारी
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नवनीत कुमार
Edited By: नवनीत कुमार

Updated on: 17 April 2025 11:04 AM IST

देश की राजनीति में हलचल पैदा करते हुए, केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) ने गुरुवार को आम आदमी पार्टी (AAP) के वरिष्ठ नेता दुर्गेश पाठक के परिसरों पर छापेमारी की। यह कार्रवाई विदेशी योगदान विनियमन अधिनियम (FCRA) से जुड़े एक मामले में की गई, जिसे सीबीआई ने पहले से ही पंजीकृत कर रखा था.

सीबीआई की यह छापेमारी ऐसे समय में हुई है जब आम आदमी पार्टी पहले से ही दिल्ली शराब नीति और कथित फंडिंग मामलों में घिरी हुई है. हालांकि पार्टी ने इस छापेमारी को “राजनीतिक प्रतिशोध” करार दिया है. वहीं सूत्रों के अनुसार एफसीआरए उल्लंघन की जांच के तहत एजेंसी को कुछ अहम दस्तावेजों और लेन-देन के प्रमाणों की तलाश थी.

दुर्गेश पाठक की भूमिका पर सवाल

दुर्गेश पाठक आम आदमी पार्टी के रणनीतिकार माने जाते हैं और चुनावी प्रबंधन में उनकी भूमिका हमेशा अहम रही है. हाल के वर्षों में पार्टी के विस्तार में उनकी भूमिका को लेकर वे पार्टी के शीर्ष नेताओं में शुमार हो चुके हैं. ऐसे में उन पर हुई यह कार्रवाई केवल कानूनी नहीं, बल्कि राजनीतिक संदेश के तौर पर भी देखी जा रही है.

गुजरात चुनाव को लेकर घबरा गई बीजेपी

दिल्ली की पूर्व मुख्यमंत्री और आम आदमी पार्टी की वरिष्ठ नेता आतिशी ने BJP पर निशाना साधते हुए कहा कि जैसे ही आप ने गुजरात चुनाव की तैयारियां शुरू कीं, भाजपा घबरा गई और तुरंत CBI को पार्टी नेता दुर्गेश पाठक के घर भेज दिया गया. उन्होंने कहा कि भाजपा जानती है कि गुजरात में वही उसे कड़ी चुनौती दे सकते हैं, और यह छापेमारी उनकी हताशा का संकेत है. आतिशी ने साफ कहा कि आम आदमी पार्टी किसी भी दबाव से डरने वाली नहीं है.

सोची-समझी साजिश है रेड

इसी संदर्भ में पूर्व उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा कि गुजरात चुनाव 2027 की जिम्मेदारी मिलते ही दुर्गेश पाठक पर सीबीआई की रेड होना कोई संयोग नहीं, बल्कि भाजपा की सोची-समझी साजिश है. उन्होंने आरोप लगाया कि यह कार्रवाई भाजपा के भीतर गहराते डर को दर्शाती है, क्योंकि उन्हें इस बात का एहसास हो गया है कि अब केवल आम आदमी पार्टी ही उन्हें गुजरात में सीधी चुनौती दे सकती है.

बीजेपी ने शुरू किया 'गंदा खेल'

आप सांसद संजय सिंह ने भी केंद्र सरकार पर जमकर हमला बोला और कहा कि भाजपा ने फिर से अपना 'गंदा खेल' शुरू कर दिया है. उन्होंने आरोप लगाया कि मोदी सरकार आम आदमी पार्टी को खत्म करने के लिए हर तरह के हथकंडे अपना रही है, लेकिन उन्हें फिर भी चैन नहीं है. संजय सिंह का कहना है कि जैसे ही दुर्गेश पाठक को गुजरात का सह प्रभारी बनाया गया, उन्हें डराने के लिए सीबीआई की कार्रवाई शुरू कर दी गई.


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