दिल्ली में ट्रिपल इंजन सरकार की तैयारी में बीजेपी, अब मेयर चुनावों पर पार्टी का फोकस
Delhi Mayor Election 2025: दिल्ल में विधानसभा चुनाव में 27 साल बाद भाजपा को जीत मिली है. पार्टी अब सरकार बनाने को तैयार है. अब खबर सामने आई है कि बीजेपी मेयर चुनाव को जीतने के लिए भी तैयारी कर रही है. अगर मेयर चुनाव में भाजपा को जीत मिलती है तो राजधानी में ट्रिपल इंजन की सरकार बन जाएगी.

Delhi Mayor Election 2025: राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में 27 सालों के बाद भाजपा की वापसी हो गई है. पार्टी अब दिल्ली में सरकार बनाने को तैयार है. विधानसभा चुनाव में बीजेपी को भारी बहुमत से जीत मिली वहीं अरविंद केजरीवाल की आम आदमी पार्टी (AAP) की करारी हार हुई. अब बीजेपी का फोकस अप्रैल में होने वाले मेयर चुनाव पर है.
इंडिया टुडे की रिपोर्ट के मुताबिक, भाजपा विधानसभा में सत्ता हासिल करने के बाद अब मेयर चुनावी की कुर्सी भी अपने नाम करना चाहती है. अगर यह पार्टी दिल्ली नगर निगम महापौर चुनाव भी जीत जाती है तो राजधानी में बीजेपी की "ट्रिपल इंजन" सरकार होगी. यानी केंद्र, राज्य और नगर निगम स्तर तक भाजपा का नियंत्रण होगा.
मेयर चुनाव पर भाजपा का फोकस
दिल्ली में अप्रैल 2025 में मेयर चुनाव होने वाला है. दिल्ली नगर निगम में कुल 250 निर्वाचित पार्षद हैं. दिल्ली के 7 सांसद, 3 राज्यसभा सांसद और 14 विधायक भी महापौर चुनाव में अपना वोट डालते हैं. वर्तमान में बीजेपी के पास 120 पार्षद हैं, जबकि आप के पास 122 सीटें हैं. हालांकि दिल्ली विधानसभा चुनाव के बाद भाजपा के 8 पार्षदों ने चुनाव लड़ा और विधायक पद पर जीत हासिल की, जबकि आप के 3 पार्षद भी विधायक चुने गए.
विधानसभा चुनाव जीतने वाले बीजेपी पार्षदों में मुंडका से गजेंद्र द्राल, शालीमार बाग से रेखा गुप्ता, वजीरपुर से पूनम शर्मा, नजफगढ़ से नीलम पहलवान, राजेंद्र नगर से उमंग बजाज, संगम विहार से चंदन चौधरी, पटपड़गंज से रविंदर सिंह नेगी और ग्रेटर कैलाश से शिखा राय शामिल हैं. वहीं भाजपा के मनोनीत पार्षद राजकुमार भाटिया ने भी विधानसभा चुनाव में जीत हासिल की है. मनोनीत मेयर चुनाव में हिस्सा नहीं ले सकते क्योंकि वे सिर्फ क्षेत्रीय चुनावों में भाग ले सकते हैं.
दिल्ली में 27 साल बाद लौटी भाजपा
दिल्ली विधानसभा चुनावों भाजपा ने 70 में से 48 सीटें जीती हैं, जबकि अरविंद केजरीवाल के नेतृत्व वाली आम आदमी पार्टी (आप) ने 22 सीटें जीती हैं और कांग्रेस लगातार तीसरी बार खाता भी नहीं खुला. चुनाव के नतीजों के अब दिल्ली नगर निगम में 12 काउंसिल सीटें खाली हो जाएंगी, जिसके लिए उपचुनाव की जरूरत होगी, वहीं एलजी की ओर से एक मनोनीत पार्षद की नियुक्ति भी की जाएगी. आपको बता दें कि अभी भाजपा के पार्षदों की संख्या 112 है, जबकि आप के पास 119 हैं.