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छत्तीसगढ़ में सस्ती हुई शराब! राज्य सरकार की आबकारी नीति में किए गए ये बदलाव

Chhattisgarh Excise Policy: छत्तीसगढ़ सरकार ने प्रदेश में नई आबकारी नीति लागू करने का निर्णय लिया गया है. इसमें विदेशी शराब लगाए गए टैक्स को 9.5 प्रतिशत कम करने का एलान किया है. इस राजस्व को बढ़ावा मिलेगा और अवैध शराब की बिक्री को रोक लगेगी. रविवार को मंत्रिमंडल की बैठक में यह फैसला लिया गया.

छत्तीसगढ़ में सस्ती हुई शराब! राज्य सरकार की आबकारी नीति में किए गए ये बदलाव
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( Image Source:  CANVA )

Chhattisgarh Excise Duty: छत्तीसगढ़ में शराब बेचने वाले व्यापारियों को बड़ा फायदा होने वाला है. राज्य सरकार ने एक ऐसा फैसला लिया है, जिससे प्रदेश में विदेशी शराब बहुत ही कम दाम में मिलने वाली है. रविवार शाम मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने एक बैठक की. इसमें विदेशी शराब लगाए गए टैक्स को 9.5 प्रतिशत कम करने का एलान किया है. यानी अब शराब पहले के मुताबिक कम दाम पर उपलब्ध होगी.

मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, छत्तीसगढ़ के जनसंपर्क विभाग के अधिकारी जानकारी दी. उन्होंने बताया कि 'मंत्रिमंडल ने वित्तीय वर्ष 2025-26 के लिए छत्तीसगढ़ आबकारी नीति को मंजूरी दी. नई नीति के अनुसार, 674 शराब दुकानें अगले वित्तीय वर्ष में भी चालू रहेंगी और प्रीमियम दुकानों को आवश्यकतानुसार चलाया जाएगा.' सरकार के इस फैसले से विदेशी शराब की खुदरा कीमतें लगभग 40 रुपये से 3,000 रुपये प्रति बोतल तक कम हो जाएंगी.

क्या है नई आबकारी नीति?

छत्तीसगढ़ सरकार ने प्रदेश में नई आबकारी नीति लागू करने का निर्णय लिया गया है. इसके तहत देशी शराब की आपूर्ति के लिए मौजूदा दर प्रस्ताव प्रभावी रहेगा. विदेशी शराब की थोक खरीद और वितरण का प्रबंधन छत्तीसगढ़ राज्य पेय पदार्थ निगम लिमिटेड करेगा. हालांकि शराब पर विकास शुल्क में कोई बदलाव नहीं किया जाएगा, जबकि खुदरा विदेशी शराब पर 9.5% का 'अतिरिक्त उत्पाद शुल्क' अगले वित्तीय वर्ष में नहीं लगाने का फैसला लिया गया है."

देश शराब के लिए प्लान

अधिकारी ने बताया कि नई पॉलिसी में देशी शराब की आपूर्ति के लिए मौजूदा दर प्रस्ताव प्रभावी रहेगा. इस निर्णय से दो बड़े लाभ होने की उम्मीद है, जिनमें छत्तीसगढ़ में विदेशी शराब सस्ती हो जाएगी और अन्य राज्यों से शराब की तस्करी पर रोक लगेगी. इस फैसले के पीछे सरकार का मानना है कि जब शराब की कीमतें एक समान रहेंगी तो अवैध आयात को प्रोत्साहन नहीं मिलेगा. इस कदम से न केवल राज्य के राजस्व को लाभ होगा बल्कि बाजार में स्थिरता बनाए रखने में भी मदद मिलेगी.

9 पदों पर भर्ती

मीटिंग में धान और चावल परिवहन दरों को अनुमति दी गई है. यह 2022-23, 2023-24 और 2024-25 के समर्थन मूल्य योजना पर प्रभावी होगी. सरकार औद्यौगिक विवाद अधिनियम 1947 और ट्रेड यूनियन अधिनियम 1976 में मजदूरों और उद्योगों के अधिकार में बदलाव करने वाली है. इसके अलावा वाणिज्यिक कर विभाग में 9 पदों पर नियुक्ति की जाएगी. सोमवार को सरकार अपना बजट पेश करने वाली है.

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