धुबरी में हिंसा, सीएम हिमंता ने उपद्रवियों को देखते ही गोली मारने के दिए आदेश
सरमा की अपील केवल प्रशासन से नहीं थी बल्कि आम जनता से भी. उन्होंने कहा, 'धुबरी का आम नागरिक चाहे हिंदू हो या मुस्लिम शांतिप्रिय है. हम सबको मिलकर इस ज़हर को बाहर करना होगा.

धुबरी, असम धार्मिक भावनाओं से खिलवाड़ और राष्ट्रीय एकता को चुनौती देने की घटनाओं के बीच असम सरकार ने सख्त रवैया अपनाया है. धुबरी जिले में लगातार सामने आ रही सांप्रदायिक उकसावे की घटनाओं ने जब राज्य के सामाजिक ताने-बाने को झकझोर दिया, तब मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने हालात को खुद संभालने का फैसला लिया. मुख्यमंत्री का शुक्रवार को किया गया धुबरी दौरा केवल प्रशासनिक समीक्षा भर नहीं था, यह एक स्पष्ट संदेश था कि असम अब ऐसे षड्यंत्रों के सामने झुकेगा नहीं.
उन्होंने रात के समय हिंसा फैलाने वालों को देखते ही गोली मारने का आदेश जारी कर दिया, यह आदेश शाम 6 बजे के बाद लागू रहेगा. मुख्यमंत्री सरमा ने स्पष्ट किया, 'अब कोई अगर मंदिर के पास गाय के कटे हुए सिर रखेगा, भड़काऊ पोस्टर लगाएगा, या रात में पथराव करेगा, तो उसे बख्शा नहीं जाएगा. कानून का डर अब केवल फाइलों में नहीं, जमीन पर दिखेगा.'
राष्ट्रविरोधी एजेंडा है
धुबरी में हाल ही में हुई घटनाएं खास रूप से हनुमान मंदिर के पास बार-बार मिले कटे हुए सिर, और 'नवीन बांग्ला' जैसे संगठनों द्वारा लगाए गए पोस्टर, जिनमें असम को बांग्लादेश में मिलाने की बातें की गई. केवल स्थानीय शरारतें नहीं, बल्कि एक गहरा राष्ट्रविरोधी एजेंडा प्रतीत होते हैं. मुख्यमंत्री ने चेतावनी देते हुए कहा कि बांग्लादेश की तरफ से जेहादी प्रचार और अस्थिरता का असर अब हमारी सीमा तक आ पहुंचा है. लेकिन हम इस घुसपैठ को असम की आत्मा को छूने नहीं देंगे.
गोमांस तस्करी ने दी नेटवर्क को हवा
सरमा ने यह भी कहा कि बढ़ते गोमांस तस्करी के नेटवर्क ने इस तनाव को और हवा दी है. हजारों की संख्या में पश्चिम बंगाल से गायें ईद से पहले यहां लाई गईं, जो सामान्य नहीं है. यह माफिया तंत्र सांप्रदायिक सौहार्द के खिलाफ काम कर रहा है. लेकिन इस बार सरकार का जवाब उतना ही तीखा और निर्णायक है. केंद्रीय बलों की तैनाती, वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों की प्रत्यक्ष निगरानी और अपराधियों के खिलाफ गैर-जमानती वारंट की प्रक्रिया को तेज़ किया गया है.
बिस्वा की खास अपील
सरमा की अपील केवल प्रशासन से नहीं थी बल्कि आम जनता से भी. उन्होंने कहा, 'धुबरी का आम नागरिक चाहे हिंदू हो या मुस्लिम शांतिप्रिय है. हम सबको मिलकर इस ज़हर को बाहर करना होगा. मुख्यमंत्री ने व्यापारी समुदाय से अपील की कि वे अपनी दुकानों के बाहर CCTV लगाएं ताकि हर गतिविधि रिकॉर्ड हो सके. साथ ही, उन्होंने एक भावनात्मक वादा करते हुए कहा, 'अगले साल ईद की रात मैं धुबरी में रहूंगा. चाहे हनुमान मंदिर के पास ही क्यों न ठहरना पड़े. मैं खुद यह सुनिश्चित करूंगा कि यहां की रातें दोबारा अशांति से न भरे.' गुवाहाटी से लेकर धुबरी तक फैले इन घटनाक्रमों को मुख्यमंत्री ने एक गहरी साजिश करार दिया, जिसमें 'गौमांस को हथियार' बनाया गया है. उन्होंने कहा, 'अगर हम आज चुप रहे, तो कल यह जहर पूरे राज्य को निगल सकता है.'