बैन होने के बावजूद भारत में बिक रहा है चाइनीज लहसुन,सेहत के लिए है खतरनाक
भारत में चाइनीज लहसुन बैन होने बावजूद गुजरात के राजकोट में गोंडल कृषि उपज बाजार सहकारी (एपीएमसी) में चाइनीज लहसुन के कई बैग पाए गए है.

हिंदुस्तानी ज्यादातर खाने लहसुन के बिना अधूरे हैं. खाने में लहसुन पड़ जाने से स्वाद में भी इजाफा हो जाता है. लेकिन क्या आप जानते है कि भारत में चाइनीज लहसुन फिर से आ गया है. चाइनीज लहसुन 2014 से भारतीय बाजार में बैन है. लेकिन सबसे हैरानी की बात यह है कि बैन होने के बावजूद, यह अभी भी भारतीय बाजार में चोरी-छिपे बेचा जा रहा है.
व्यापारियों ने किया विरोध
खबरों के मुताबिक, गुजरात के राजकोट में गोंडल कृषि उपज बाजार सहकारी (एपीएमसी) में चाइनीज लहसुन के कई बैग पाए जाने के बाद व्यापारियों ने हाल ही में एक दिवसीय विरोध प्रदर्शन किया। गोंडल एपीएमसी में व्यापारियों के संघ के अध्यक्ष योगेश कयादा ने पीटीआई को बताया, 'हम चाइनीज लहसुन पर बैन होने के बावजूद भारत में चाइनीज लहसुन के अवैध प्रवेश का विरोध कर रहे हैं.' रिपोर्ट में कहा गया है कि चाइनीज लहसुन अपने आकार और सुगंध के कारण अलग है और स्थानीय फसल की तुलना में सस्ता है, जिससे यह तस्करों और एजेंटों के लिए लाभदायक है.
चीन है लहसुन का सबसे बड़ा उत्पादक
किसी भी खाने का स्वाद बढ़ा देने वाले लहसुन को मसाले के अलावा एलियम सैटिवम के नाम से भी जाना जाता है, यह पूरे देश में उगाया जाता है. ज़िनोवा शाल्बी हॉस्पिटल की डायटीशियन जिनल पटेल के मुताबिक, उन्होंने चीनी और भारतीय लहसुन के बीच अंतर बताते हुए कहा, 'आजकल बाजार में भारतीय के अलावा चीनी लहसुन भी उपलब्ध है. ' बात करें दोनों के अंतर की तो, चाइनीज लहसुन हल्के सफेद और गुलाबी रंग का और आकार में छोटा होता है। भारतीय लहसुन की गंध तेज़ और तेज़ होती है, जबकि चीनी लहसुन की सुगंध हल्की होती है.
ऐसे उगाया जाता है चाइनीज लहसुन
एक्सपर्ट्स के मुताबिक भारतीय लहसुन मिनिमल केमिकल के साथ उगाया जाता है और खाने में इस्तेमाल के लिए सुरक्षित माना जाता है. वहीं चाइनीज लहसुन को रसायनों और कीटनाशकों के भारी उपयोग के साथ मॉडर्न एग्रीकल्चर टेक्निक के इंटरग्रेशन के साथ उगाया जाता है. इसलिए हमारी हेल्थ के लिए चाइनीज लहसुन का सेवन बिल्कुल भी सुरक्षित नहीं है.