केंद्र सरकार के कर्मचारियों को मिलेगी छुट्टी ही छुट्टी! किसी भी पर्सनल रीजन के लिए ले सकेंगे 30 दिन की Earned Leave
केंद्रीय कर्मचारियों को अब बुजुर्ग माता-पिता की देखभाल के लिए 30 दिन की अर्जित छुट्टी मिलेगी. इसके अलावा 20 दिन हाफ-पे लीव, 8 दिन कैजुअल लीव और 2 दिन प्रतिबंधित छुट्टी का भी प्रावधान है. ये सभी छुट्टियां सेंट्रल सिविल सर्विसेज (लीव) रूल्स, 1972 के तहत मिलती हैं.

केंद्र सरकार के कर्मचारियों के लिए एक बड़ी राहत की खबर है. अब वे अपने बुजुर्ग माता-पिता की देखभाल समेत अन्य व्यक्तिगत कारणों से 30 दिन की अर्जित छुट्टी (Earned Leave) ले सकते हैं. यह जानकारी गुरुवार (24 जुलाई) को राज्यसभा में केंद्रीय कार्मिक राज्य मंत्री डॉ. जितेंद्र सिंह ने लिखित जवाब में दी.
मंत्री ने स्पष्ट किया कि यह प्रावधान सेंट्रल सिविल सर्विसेज (लीव) रूल्स, 1972 के तहत लागू है. इन नियमों के अनुसार, एक कर्मचारी को सालाना 30 दिन अर्जित छुट्टी के अलावा 20 दिन हाफ-पे लीव, 8 दिन कैजुअल लीव और 2 दिन प्रतिबंधित छुट्टी मिलती है. इसके अलावा, मातृत्व अवकाश, पितृत्व अवकाश, चाइल्ड केयर लीव और स्टडी लीव जैसी विशेष छुट्टियों का भी प्रावधान है.
यह प्रावधान खास इसलिए है क्योंकि यह कर्मचारियों को अपने बुजुर्ग माता-पिता या अन्य व्यक्तिगत कारणों के लिए पर्याप्त समय देता है, जिससे काम और परिवार दोनों में संतुलन बनाए रखना आसान होगा.
मंत्री ने बताया कि सेंट्रल सिविल सर्विसेज (लीव) रूल्स, 1972 के तहत केंद्र सरकार के कर्मचारियों को प्रति वर्ष विभिन्न प्रकार की छुट्टियों का प्रावधान है. इनमें शामिल हैं:
- 30 दिन की अर्जित छुट्टी (Earned Leave)
- 20 दिन की हाफ-पे लीव
- 8 दिन की कैजुअल लीव
- 2 दिन की प्रतिबंधित छुट्टी (Restricted Holiday)
सिंह ने कहा कि इन छुट्टियों को किसी भी व्यक्तिगत कारण के लिए लिया जा सकता है, जिसमें माता-पिता की देखभाल भी शामिल है.
सेंट्रल सिविल सर्विसेज (लीव) रूल्स, 1972 क्या है?
ये नियम 1 जून, 1972 से लागू हुए थे और इनका उद्देश्य केंद्र सरकार के कर्मचारियों के लिए छुट्टियों का प्रबंधन करना है. रेलवे कर्मचारियों और ऑल इंडिया सर्विसेज के लिए अलग नियम हैं.
कितने प्रकार की छुट्टियां मिलती हैं?
इन नियमों के तहत कर्मचारियों को निम्नलिखित छुट्टियां मिलती हैं:
- अर्जित छुट्टी (Earned Leave)
- हाफ-पे लीव
- कम्यूटेड लीव
- लीव नॉट ड्यू
- एक्स्ट्राऑर्डिनरी लीव
- मातृत्व और पितृत्व अवकाश
- चाइल्ड केयर लीव
- स्टडी लीव
- हॉस्पिटल लीव
- विशेष विकलांगता अवकाश आदि
सरकार हर साल 1 जनवरी और 1 जुलाई को कर्मचारियों के 'लीव अकाउंट' में अग्रिम छुट्टियां क्रेडिट करती है. जब कर्मचारी छुट्टी लेते हैं, तो इसे उसी अकाउंट से डेबिट किया जाता है.
क्यों है ये प्रावधान खास?
आज की व्यस्त जिंदगी में माता-पिता की देखभाल के लिए समय निकालना मुश्किल हो जाता है. इस प्रावधान से कर्मचारियों को अपने बुजुर्ग माता-पिता की देखभाल के लिए समय मिलेगा, बिना वेतन या नौकरी को खतरे में डाले.