कौन हैं भारतीय मूल की अनीता आनंद जो बनीं कनाडा की पहली हिंदू महिला विदेश मंत्री? गीता पर हाथ रखकर ली शपथ

कनाडा के प्रधानमंत्री मार्क कार्नी ने कैबिनेट में बदलाव करते हुए भारतीय मूल की अनीता आनंद को विदेश मंत्री नियुक्त किया. गीता पर हाथ रखकर शपथ लेने वाली अनीता कनाडा की पहली हिंदू महिला विदेश मंत्री बनीं. उनके पास रक्षा और सार्वजनिक सेवा जैसे मंत्रालयों का अनुभव है. यह कदम कनाडा की वैश्विक रणनीति में बड़ा बदलाव माना जा रहा है.;

Curated By :  नवनीत कुमार
Updated On : 14 May 2025 6:26 AM IST

कनाडा के प्रधानमंत्री मार्क कार्नी ने अपने नवनिर्मित कैबिनेट में बड़ा फेरबदल करते हुए भारतीय मूल की अनीता आनंद को विदेश मंत्री नियुक्त किया है. अनीता ने श्रीमद्भगवद गीता पर हाथ रखकर शपथ ली. इसी के साथ वह कनाडा की पहली हिंदू महिला विदेश मंत्री बन गईं. उनकी यह नियुक्ति ऐसे समय में हुई है जब कनाडा को कई वैश्विक कूटनीतिक चुनौतियों का सामना करना पड़ रहा है.

इस फेरबदल में मेलानी जोली, जो अब तक विदेश मंत्री थीं, को उद्योग मंत्री बना दिया गया है. अनीता आनंद ने उनके स्थान पर विदेश मंत्रालय की जिम्मेदारी संभाली है. अनीता इससे पहले रक्षा मंत्री, सार्वजनिक सेवा मंत्री और ट्रेजरी बोर्ड की अध्यक्ष जैसी अहम भूमिकाएं निभा चुकी हैं. उनका अनुभव उन्हें इस नई भूमिका में मददगार सिद्ध करेगा.

अन्य मंत्रियों की भूमिका बरकरार

कैबिनेट में कुछ प्रमुख चेहरों को उनके मौजूदा पदों पर बनाए रखा गया है. फ्रांस्वा फिलिप शैम्पेन वित्त मंत्री बने रहेंगे, जबकि डोमिनिक लेब्लांक व्यापार मंत्री के रूप में कार्य करते रहेंगे. प्रधानमंत्री कार्नी ने अमेरिका के साथ मजबूत आर्थिक-सुरक्षा संबंध स्थापित करने की प्रतिबद्धता दोहराई, खासकर ट्रंप सरकार के आक्रामक रुख को संतुलित करने की चुनौती के बीच.

सरकार की प्राथमिकताएं

प्रधानमंत्री कार्नी ने कहा कि कनाडाई जनता ने उनकी सरकार को आर्थिक सुधार और अमेरिका के साथ बेहतर सहयोग के लिए चुना है. उन्होंने बताया कि राजा चार्ल्स तृतीय 27 मई को संसद के पुनः आरंभ होने पर सरकार की प्राथमिकताओं को रेखांकित करते हुए संबोधन देंगे.

कौन हैं अनीता आनंद?

अनीता आनंद का जन्म कनाडा के नोवा स्कोटिया प्रांत के केंटविले शहर में हुआ था. उनके पिता तमिलनाडु से थे और मां पंजाब से. उनके माता-पिता दोनों पेशे से डॉक्टर थे. अनीता की दो बहनें भी पेशेवर जीवन में सफल हैं. गीता आनंद वकील हैं और सोनिया आनंद चिकित्सक और शोधकर्ता हैं. अनीता का पारिवारिक और सांस्कृतिक पृष्ठभूमि उन्हें एक बहु-सांस्कृतिक दृष्टिकोण देती है.

प्रोफेसर से मंत्री तक का सफर

राजनीति में आने से पहले अनीता आनंद एक प्रोफेसर, वकील और शोधकर्ता रही हैं. टोरंटो यूनिवर्सिटी में वे लॉ की प्रोफेसर रह चुकी हैं और उन्होंने निवेशक संरक्षण और कॉरपोरेट गवर्नेंस में विशेषज्ञता हासिल की है. 2019 में वे ओकविले से पहली बार सांसद बनी थीं. अब विदेश मंत्री के रूप में उनका अनुभव और दृष्टिकोण कनाडा की वैश्विक स्थिति को नई दिशा दे सकता है.

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