मुझे यकीन है पुतिन शांति की ओर हाथ बढ़ाएंगे... अलास्का समिट से पहले Trump क्यों कर रहे रूस-यूक्रेन युद्धविराम का दावा?

Alaska Summit: अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने, रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से शुक्रवार, 15 अगस्त को अलास्का में मिलने वाले हैं. इससे पहले ट्रंप कहा है कि उन्हें पूर्ण विश्वास है कि पुतिन अब शांति की ओर मुहर लगाने को तैयार हैं.;

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Alaska Summit: अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप भारत और पाकिस्तान के बीच सीजफायर कराने का क्रेडिट खुद को देने के बाद, अब रूस और यूक्रेन का विवाद खत्म करने का दावा करते दिखाई दिए. शुक्रवार 15 अगस्त यानी आज अलास्का समिट होने वाला है. इसमें ट्र्ंप रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से मिलने वाले हैं.

ट्रंप ने गुरुवार (14 अगस्त) को कहा कि यह बैठक यूक्रेन और रूस के बीच जारी युद्ध पर विराम लगाने के लिए हो रही है, जिसमें दोनों नेता कई तरह के मुद्दे पर बात करने वाले हैं. बैठक से पहले ट्रंप ने कहा है कि रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन उनके साथ हाथापाई नहीं करेंगे.

ट्रंप की पुतिन के साथ बैठक

अलास्का बैठक को लेकर ट्रंप ने अहम जानकारी दी. उन्होंने कहा कि पुतिन उनके साथ सख्ती से पेश आएंगे और बातचीत को गंभीरता से लेंगे. उन्होंने यह भी कहा कि उन्हें विश्वास है कि रूस और यूक्रेन जल्द ही शांतिपूर्ण समझौते तक पहुंचेंगे. यह बैठक अलास्का के ज्वाइंट बेस एल्मंडॉर्फ‑रिचर्डसन में होने वाली है.

ट्रंप को पूरा भरोसा है कि पुतिन अब शांति की ओर मुहर लगाने को तैयार हैं. ट्रंप ने कहा, मुझे लगता है कि पुतिन शांति बनाएंगे और जेलेंस्की भी शांति बनाएंगे. उन्हें उम्मीद है कि इस पहल से हजारों सैनिकों की जानें बच सकती हैं.

तीसरे समिट की तैयारी?

उन्होंने यह भी इशारा किया कि वे पश्चिमी नेताओं के सहयोग से किसी तीसरे समिट की योजना बने, जिसमें यूक्रेनी राष्ट्रपति वोलोडिमिर जेलेंस्की और कुछ यूरोपीय नेता भी शामिल हो सकते हैं. ट्रम्प इसे मुख्य वार्ता से भी अधिक महत्वपूर्ण बता रहे हैं.

ट्रम्प ने संकेत दिया कि युद्ध समाप्त करने के लिए पुतिन को दुर्लभ खनिज या आर्थिक प्रोत्साहन दिए जा सकते हैं, लेकिन कहा कि वे अपनी रणनीति सार्वजनिक नहीं खेलना चाहते. साथ ही उन्होंने आर्थिक प्रतिबंधों की ताकत पर भी जोर दिया. उन्होंने कहा कि उन्हें बैठक के पहले दो मिनट में पता चल जाएगा कि किसी तरह का समझौता संभव है या नहीं.

रूस की क्या है शर्तें?

रिपोर्ट्स से पता चलता है कि रूस शांति के बदले पूर्वी यूक्रेन के कई क्षेत्रों जैसे-दोनेत्स्क, लुहान्स्क, खेरसॉन् और ज़ापोरिज़्हिया की मान्यता चाहता है. ट्रम्प ने संकेत दिया कि संभव है कुछ इलाकों का एयूटा जाए और कुछ वापस लिया जाए.

राष्ट्रपति जेलेंस्की की प्रतिक्रिया

यूक्रेनी राष्ट्रपति ने माना कि शांति की वार्ता में यूक्रेन का शामिल होना अनिवार्य है. उन्होंने स्पष्ट कहा, जो फैसले हमारे खिलाफ हैं और जो हमारी भागीदारी के बिना लिए जाएंगे, वे शांति के पक्ष में नहीं होंगे. यूक्रेनवासी अपनी जमीन कब्ज़ा करने वाले को नहीं देंगे.

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