उपराष्ट्रपति पद से इस्तीफा देने के बाद धनखड़ को कैद कर लिया गया है, कोई उनसे... किसान नेता हरेंद्र ताऊ का बड़ा दावा; वीडियो वायरल
भारत के उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने 21 जुलाई को स्वास्थ्य कारणों का हवाला देते हुए अचानक इस्तीफा दे दिया, जिसके बाद से वे सार्वजनिक रूप से दिखाई नहीं दिए हैं. इस बीच किसान नेता हरेंद्र ताऊ का एक वीडियो वायरल हो रहा है जिसमें उन्होंने दावा किया है कि धनखड़ को 'कैद' कर लिया गया है और कोई उनसे मिल नहीं पा रहा. ताऊ ने पूछा कि क्या धनखड़ कोई आतंकवादी हैं, जो उनसे मिलने पर रोक है. उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि राकेश टिकैत भी उनसे नहीं मिल सके.;
Harendra Singh Tau viral video on Jagdeep Dhankhar: भारत के उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने 21 जुलाई को अपने पद से अचानक इस्तीफा दे दिया. उन्होंने इसकी वजह अपने खराब स्वास्थ्य को बताया. हालांकि, इस्तीफा देने के बाद से वे दिखाई नहीं दे रहे हैं. इस बीच, किसान नेता हरेंद्र ताऊ का एक वीडियो वायरल हो रहा है , जिसमें यह दावा किया जा रहा है कि धनखड़ को कैद करके रखा गया है और लोगों को उनसे मिलने नहीं दिया जा रहा है.
खुद को बीकेयू का नेता और समाजवादी पार्टी का स्टार प्रचारक बताने वाले हरेंद्र सिंह ताऊ ने सवाल पूछते हुए कहा, "भारत के पूर्व उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ कहां हैं. जब से इस्तीफा दिया है, वो कैद में हैं. उनके फोन बंद हैं. उनकी सारी सिक्योरिटी हटाकर दूसरी सिक्योरिटी लगाई गई है. अब न हिंदुस्तान का कोई व्यक्ति उनसे मिल सकता है और न वो मिल सकते है... ऐसा क्यों?
"धनखड़ क्या आतंकवादी थे, जो उन्हें कैद करके रखा गया है"
हरेंद्र ताऊ ने आगे कहा, "धनखड़ उपराष्ट्रपति थे या भारत के आतंकवादी थे, जो उनको कैद करके रखा गया है... ये सोचने वाली बात है... और देश की जनता को, उनकी कौम को, उनकी कम्युनिटी को ये सोचना चाहिए.. और एक बार उनसे मिलने की कोशिश करनी चाहिए. उत्तर प्रदेश के किसान नेता राकेश टिकैत ने उनसे मिलने की कोशिश की.. उनके आदमी को वो मिले नहीं..."
"घर में कैद होकर इलाज होगा या किसी अस्पताल में, जवाब दे सरकार"
हरेंद्र ताऊ ने कहा, "जो व्यक्ति बीमार था, जिस बीमारी के कारण उस व्यक्ति ने इस्तीफा दिया... वो व्यक्ति घर में कैद है. घर में कैद होकर इलाज होगा या किसी अस्पताल में होगा. यही देश की जनता भी पूछना चाहती है... और यही हम भी पूछना चाहते हैं... ऐसा व्यवहार देश के उपराष्ट्रपति रहे व्यक्ति के साथ क्यों... जवाब दे सरकार."
9 सितंबर 2025 को होगा चुनाव
बता दें कि धनखड़ ने अपना इस्तीफा राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को सौंपा, जिसे उन्होंने तत्काल प्रभाव से स्वीकार कर लिया. अब नया उपराष्ट्रपति चुनने के लिए 9 सितंबर को चुनाव होगा. चुनाव में कुल 782 सांसदों का इलेक्टोरल कॉलेज हिस्सा लेगा. नामांकन की अंतिम तारीख 25 अगस्त रखी गई है. उपराष्ट्रपति के पद से इस्तीफे के बाद राज्यसभा के उपसभापति हरिवंश को कार्यवाहक सभापति बनाया गया है, जो सत्र के शेष भाग की अध्यक्षता करेंगे.
जगदीप धनखड़ का यह अचानक इस्तीफा महज स्वास्थ्य कारणों तक सीमित नहीं लगता. इसके पीछे जो राजनीतिक समीकरण और संस्थागत मतभेद उभर रहे हैं, वे भारत की लोकतांत्रिक संरचना पर गहरा असर डाल सकते हैं. आने वाले सप्ताहों में यह साफ होगा कि यह इस्तीफा एक व्यक्ति का निजी निर्णय था या फिर एक बड़ी राजनीतिक रणनीति का हिस्सा.