सदन किसी के बाप का नहीं… बिहार विधानसभा में RJD विधायक के बयान के बाद तेजस्वी-नीतीश आमने-सामने, CM बोले- तुम बच्चा हो

बिहार विधानसभा के मानसून सत्र में आज जबरदस्त हंगामा देखने को मिला. राजद विधायक भाई वीरेंद्र की "सदन किसी के बाप का नहीं" टिप्पणी से विवाद भड़क उठा. तेजस्वी यादव ने चुनाव आयोग पर सवाल उठाए, वहीं नीतीश कुमार ने तीखे जवाब दिए. विपक्ष काले कपड़ों में विरोध पर अड़ा रहा, और सदन 2 बजे तक स्थगित करना पड़ा.;

Curated By :  नवनीत कुमार
Updated On : 23 July 2025 1:24 PM IST

बिहार विधानसभा के मानसून सत्र के तीसरे दिन सदन का माहौल उस वक्त गरमा गया जब राष्ट्रीय जनता दल के विधायक भाई वीरेंद्र ने कहा, "यह सदन किसी के बाप का नहीं है." यह टिप्पणी उन्होंने उपमुख्यमंत्री विजय सिन्हा के टोके जाने पर की थी. इस वाक्य ने सत्ता पक्ष को आगबबूला कर दिया और पूरा सदन शोर और हंगामे की गिरफ्त में आ गया.

कई विपक्षी विधायक काले कपड़े पहनकर सदन में पहुंचे थे, जिससे पहले से ही माहौल तनावपूर्ण था. जैसे ही भाई वीरेंद्र ने विवादित टिप्पणी की, सत्ता पक्ष के विधायक अपनी सीटों से खड़े हो गए और जोरदार विरोध जताया. मंत्री प्रेम कुमार ने विधानसभा अध्यक्ष से अपील की कि RJD विधायक को माफी मांगनी चाहिए. लेकिन न ही माफी आई, और न ही माहौल शांत हुआ.

'माफी नहीं मांगूंगा': भाई वीरेंद्र का अड़ियल रुख

सदन स्थगित होने के बाद जब मीडिया ने भाई वीरेंद्र से बात की, तो उन्होंने साफ कहा कि उनका बयान असंसदीय नहीं था. "मैंने सिर्फ यह कहा कि सदन किसी की बपौती नहीं है, क्या यह गलत है?" उन्होंने सत्ता पक्ष के विधायकों पर गाली देने का भी आरोप लगाया और साफ कर दिया कि वह माफी नहीं मांगेंगे.

विधानसभा अध्यक्ष की चेतावनी

विधानसभा अध्यक्ष नंदकिशोर यादव ने खुद भाई वीरेंद्र से खेद प्रकट करने को कहा लेकिन विपक्ष ने इसे भी नजरअंदाज कर दिया. इस पर अध्यक्ष ने कार्यवाही को दोपहर 2 बजे तक स्थगित कर दिया. यह घटनाक्रम न सिर्फ राजनीतिक गरमाहट को दर्शाता है बल्कि यह भी दिखाता है कि सदन की गरिमा लगातार सवालों के घेरे में है.

तेजस्वी यादव ने चुनाव आयोग को घेरा

इस हंगामे से पहले नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने मतदाता पुनरीक्षण पर बोलते हुए चुनाव आयोग की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े किए. उन्होंने कहा कि गरीबों के पास दस्तावेज नहीं हैं और आयोग की प्रक्रिया पारदर्शी नहीं है. उन्होंने बिहार में कथित 'बाहरी' लोगों की एंट्री को लेकर डिप्टी सीएम पर तंज कसा और कहा कि यह अफवाहें जनता को गुमराह करने के लिए उड़ाई जा रही हैं.

'तुम बच्चे थे जब तुम्हारे पिता सीएम थे': नीतीश कुमार

तेजस्वी यादव के आरोपों का जवाब देते हुए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने न सिर्फ आंकड़ों के जरिए सरकार की उपलब्धियां गिनाईं, बल्कि तेजस्वी को व्यक्तिगत रूप से भी घेरा. नीतीश ने कहा, "जब तुम्हारे पिता मुख्यमंत्री थे तब तुम बच्चे थे. हमने महिलाओं, अल्पसंख्यकों और गरीबों के लिए जितना किया, उतना किसी ने नहीं किया."

पुराने रिश्तों की याद

सीएम नीतीश ने याद दिलाया कि वह पहले भी राजद के साथ सरकार में रहे हैं और उस दौरान भी उन्होंने विकास कार्यों पर जोर दिया. उन्होंने कहा कि विपक्ष केवल चुनावी मुद्दे खड़े करने में लगा है, जबकि सरकार लगातार काम कर रही है. साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि मीडिया को पुराने हालात और आज के विकास की तुलना करनी चाहिए.

हंगामे की राजनीति बनाम मुद्दों की बहस

बिहार विधानसभा में यह लगातार तीसरा दिन था जब मुद्दों से ज्यादा हंगामा खबर बना. चाहे वह भाई वीरेंद्र का बयान हो, तेजस्वी यादव का चुनाव आयोग पर सवाल, या नीतीश कुमार का पलटवार. हर घटना ने यह साफ कर दिया कि बिहार की सियासत अब बहस से ज़्यादा बयानों की धार पर चल रही है. ऐसे में सवाल उठता है कि असल मुद्दों पर चर्चा कब होगी?

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