'उमर होंगे जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री', फारूक अब्दुल्ला का बड़ा ऐलान, बोले- यहां 'पुलिस राज' नहीं बल्कि...
Omar Abdullah Next CM Of Jammu-Kashmir: जम्मू-कश्मीर में चुनाव परिणाम में NC-कांग्रेस जीत की ओर बढ़ रही है. अपनी जीत को देखते हुए फारूक अब्दुल्ला ने अपने बेटे उमर अब्दुल्ला को सीएम बनाने का ऐलान कर दिया है. मार्च 1970 को इंग्लैंड के रोचफोर्ड में जन्मे उमर अब्दुल्ला कश्मीर के सबसे प्रभावशाली राजनीतिक परिवार से आते हैं.;
Omar Abdullah Next CM Of Jammu-Kashmir: 10 साल बाद जम्मू-कश्मीर में हुए विदानसभा चुनाव में कांग्रेस-नेशनल कॉन्फ्रेंस गठबंधन एक बार फिर इतिहास रचने जा रहा है. पार्टी ने अपनी जीत के साथ ही सीएम की भी घोषणा कर दी है. नेशनल कॉन्फ्रेंस के सुप्रीमो फारूक अब्दुल्ला ने अपने बेटे और पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला को अगले मुख्यमंत्री के रूप में चुना है. इसी के साथ जम्मू-कश्मीर में इन 10 सालों में हुए बड़े बदलाव के बाद नया सीएम पद की भरपाई होने जा रही है.
उमर अब्दुल्ला ने जम्मू-कश्मीर पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (JKPDP) के आगा सैयद मुंतजिर मेहदी को 18485 मतों के अंतर से हराकर जम्मू-कश्मीर में बडगाम सीट जीत ली है. फारूक अब्दुल्ला ने कहगा, '10 साल बाद लोगों ने हमें अपना जनादेश दिया है. हम अल्लाह से प्रार्थना करते हैं कि हम उनकी उम्मीदों पर खरे उतरें, यहां 'पुलिस राज' नहीं बल्कि 'लोगों का राज' होगा. मुझे उम्मीद है कि भारत के गठबंधन सहयोगी यहां राज्य का दर्जा बहाल करने के लिए हमारे साथ लड़ेंगे. मुझे लगता है कि उमर अब्दुल्ला सीएम बनेंगे.'
6 साल सीएम पद पर रह चुके हैं उमर अब्दुल्ला
उमर 5 जनवरी 2009 से 8 जनवरी 2015 तक जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री थे. लेकिन उमर के दो कार्यकालों के बीच इस क्षेत्र में बहुत कुछ बदल गया है. जम्मू-कश्मीर को विशेष दर्जा देने वाला आर्टिकल 370 निरस्त कर दिया गया है. जम्मू-कश्मीर को राज्य से घटाकर केंद्र शासित प्रदेश बना दिया गया है. मार्च 1970 को इंग्लैंड के रोचफोर्ड में जन्मे उमर अब्दुल्ला कश्मीर के सबसे प्रभावशाली राजनीतिक परिवार से आते हैं. इस परिवार ने जम्मू-कश्मीर को तीन पीढ़ियों के मुख्यमंत्री दिए हैं- शेख अब्दुल्ला, उमर से पहले उनके बेटे फारूक अब्दुल्ला.
उमर जम्मू-कश्मीर के उन पूर्व मुख्यमंत्रियों में से एक थे, जिन्हें अगस्त 2019 में आर्टिकल 370 को निरस्त करने के बाद नजरबंद कर दिया गया था. उमर को उनके पिता फारूक अब्दुल्ला के रिहा होने के दो हफ्ते बाद रिहा किया गया था, जिससे आर्टिकल 370 के निरस्त होने से पहले और बाद में जम्मू-कश्मीर में विपक्षी राजनेताओं पर प्रतिबंधों में ढील दी गई थी.
चुनाव प्रचार के दौरान उतारी टोपी
सितंबर 2024 में चुनाव प्रचार के दौरान उमर ने अपने समर्थकों के सामने एक भावनात्मक कार्ड खेला था, जब उन्होंने अपनी टोपी उतारकर उसे अपने हाथों में थाम लिया था और गंदेरबल के लोगों से उन्हें एक और मौका देने की अपील की थी. गंदेरबल अब्दुल्ला परिवार का गढ़ है.