अडानी पर लगे आरोपों पर व्हाइट हाउस का आया रिएक्शन, भारत और अमेरिका के रिश्तों को लेकर दिया ये बयान

भारत के दूसरे नंबर के सबसे अमीर शख़्स गौतम अडानी एक बार फिर मुसीबत में घिरे जा रहे हैं. अदालत के रिकॉर्ड के अनुसार, गौतम और सागर अडानी के लिए अमेरिका में गिरफ्तारी वारंट जारी किए गए हैं और अमेरिकी अभियोजक उन वारंटों को विदेशी कानून प्रवर्तन को सौंपने की योजना बना रहे हैं.;

Edited By :  सागर द्विवेदी
Updated On : 22 Nov 2024 8:12 AM IST

अमेरिकी अभियोजकों द्वारा अरबपति गौतम अडानी और उनके भतीजे सागर अडानी समेत अन्य लोगों के खिलाफ रिश्वतखोरी के आरोपों को लेकर सामने आई है. आरोपों के मुताबिक, उन्होंने भारत में सौर ऊर्जा आपूर्ति अनुबंध हासिल करने के लिए 265 मिलियन डॉलर (लगभग 2,000 करोड़ रुपये) की रिश्वत दी थी. यह मामला अडानी समूह के लिए बड़ा संकट बन गया है, जो पहले भी विवादों में घिर चुका है. यह मामला 22 महीने में अडानी समूह का दूसरा बड़ा विवाद बन गया है, और इससे उनकी कंपनी की प्रतिष्ठा को भारी धक्का पहुंचा है.

व्हाइट हाउस ने कहा कि वह अडानी समूह के अध्यक्ष भारतीय अरबपति गौतम अडानी के खिलाफ लगे आरोपों में अवगत है. जिन पर न्यूयॉर्क में अरबों डॉलर की कथित रिश्वतखोरी और धोखाधड़ी योजना में उनकी भूमिका के लिए अभियोग लगाया गया था.

अडानी रिश्वत विवाद को सुलझाने में व्हाइट हाउस को 'विश्वास

अमेरिकी अभियोजकों ने कहा कि गौतम अडानी और उनके भतीजे सागर अडानी सहित सात अन्य प्रतिवादियों ने 20 वर्षों में 2 बिलियन डॉलर का लाभ अर्जित करने वाले अनुबंध प्राप्त करने और भारत की सबसे बड़ी सौर ऊर्जा संयंत्र परियोजना विकसित करने के लिए भारतीय सरकारी अधिकारियों को लगभग 265 मिलियन डॉलर की रिश्वत देने पर सहमति व्यक्त की.

इंडिया टुडे के मुताबिक, यह बयान अमेरिकी व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव करिन जीन-पियरे का है, जिसमें उन्होंने अडानी समूह के खिलाफ लगाए गए आरोपों के बारे में प्रतिक्रिया दी. जीन-पियरे ने कहा कि अमेरिकी प्रशासन इन आरोपों से अवगत है, लेकिन उन्होंने इस मामले में सीधे तौर पर टिप्पणी करने से बचते हुए SEC (अमेरिकी प्रतिभूति और विनिमय आयोग) और DOJ (अमेरिकी न्याय विभाग) से संपर्क करने की सलाह दी.

इससे यह स्पष्ट होता है कि अमेरिकी सरकार इस मामले में कानूनी प्रक्रिया का पालन करेगी, और वे अडानी समूह के खिलाफ चल रही जांच में अपनी भूमिका निभा रहे संस्थानों से अधिक जानकारी चाहती हैं. जीन-पियरे ने यह भी कहा कि अमेरिका और भारत के बीच संबंध अत्यंत मजबूत हैं और दोनों देशों के बीच सहयोग वैश्विक मुद्दों पर आधारित है, न कि किसी एक व्यक्तिगत मामले पर.

गौतम और सागर अडानी के लिए अमेरिका में गिरफ्तारी का वारंट जारी

गौतम अडानी फिलहाल भारत में हैं. अमेरिकी जांच एजेंसी उनके प्रत्यर्पण का अनुरोध कर सकती है. हालांकि, भारत की अदालत यह तय करेगी कि ये आरोप भारतीय कानून के मुताबिक लागू होते हैं या नवारंटहीं. इसके अलावा राजनीतिक और मानवाधिकार संबंधी चिंताओं का आकलन किया जाएगा. अडानी प्रत्यर्पण का विरोध कर सकते हैं. इससे पूरी प्रक्रिया में देरी हो सकती है.  टाइम्स आफ की रिपोर्ट के मुताबिक, अदालत के रिकॉर्ड के अनुसार, गौतम और सागर अडानी के लिए अमेरिका में गिरफ्तारी वारंट जारी किए गए हैं और अमेरिकी अभियोजक उन वारंटों को विदेशी कानून प्रवर्तन को सौंपने की योजना बना रहे हैं.

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