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VIDEO: हवाई हमलों से कांपा यमन! इज़राइल ने राष्ट्रपति परिसर के पास मिसाइल ठिकानों पर बरसाए बम

VIDEO: हवाई हमलों से कांपा यमन! इज़राइल ने राष्ट्रपति परिसर के पास मिसाइल ठिकानों पर बरसाए बम
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( Image Source:  Social Media )
सागर द्विवेदी
By: सागर द्विवेदी

Updated on: 24 Aug 2025 8:45 PM IST

रविवार दोपहर यमन की राजधानी सना जोरदार धमाकों से गूंज उठी. यह धमाके इज़राइल की ओर से किए गए हवाई हमलों के बाद हुए. हूती अधिकारियों ने दावा किया है कि इन हमलों में दो लोगों की मौत हुई है. इज़राइल ने भी हमले की पुष्टि करते हुए कहा कि उसने राष्ट्रपति परिसर और मिसाइल बेस के पास के इलाके को निशाना बनाया.

हूती सुरक्षा सूत्रों ने एएफपी को बताया कि एक हवाई हमले ने सना के सेंट्रल म्युनिसिपैलिटी बिल्डिंग को निशाना बनाया, जहां से कई हताहतों की खबरें सामने आई हैं। वहीं, हूती टीवी चैनल अल-मसीरा ने इन हमलों को 'इज़रायली आक्रामकता' करार दिया है.

इज़राइल का बयान: हूती हमलों का जवाब

इज़राइली सेना ने एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर बयान जारी करते हुए कहा कि 'ये हमले हूती आतंकी शासन द्वारा इज़राइल और उसके नागरिकों पर किए गए लगातार हमलों के जवाब में किए गए हैं. हाल के दिनों में हूती आतंकियों ने इज़राइल की ओर सतह से सतह पर मार करने वाली मिसाइलें और ड्रोन लॉन्च किए थे.

पहली बार क्लस्टर वॉरहेड का इस्तेमाल

इज़राइली वायुसेना की प्रारंभिक जांच में सामने आया है कि शुक्रवार को दागी गई हूती मिसाइल में क्लस्टर वॉरहेड लगा था. मौजूदा संघर्ष में हूती लड़ाकों ने पहली बार इस तरह के हथियार का इस्तेमाल किया है.

हूती हमले और अंतरराष्ट्रीय प्रभाव

7 अक्टूबर 2023 को गाज़ा में इज़राइल-हमास युद्ध शुरू होने के बाद से हूती लगातार इज़राइल पर मिसाइल और ड्रोन हमले कर रहे हैं. उनका दावा है कि ये हमले फिलिस्तीनियों के समर्थन में किए जा रहे हैं. हालांकि, अधिकांश हमलों को इज़राइली सुरक्षा प्रणाली ने रोक लिया, लेकिन इसके बावजूद इज़राइल ने हूती ठिकानों पर जवाबी हवाई हमले जारी रखे.

रेड सी व्यापार और वैश्विक असर

पिछले दो वर्षों में हूती हमलों ने लाल सागर (Red Sea) के अंतरराष्ट्रीय व्यापार को गंभीर रूप से प्रभावित किया है. यह समुद्री मार्ग हर साल करीब 1 ट्रिलियन डॉलर के माल की आवाजाही का केंद्र है. नवंबर 2023 से दिसंबर 2024 के बीच हूती लड़ाकों ने मिसाइल और ड्रोन से 100 से ज्यादा जहाज़ों को निशाना बनाया. सीजफायर के दौरान हमले कुछ समय के लिए रुके, लेकिन इसके बाद फिर से शुरू हो गए, जिसके चलते तत्कालीन अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने हफ्तों तक लगातार एयरस्ट्राइक के आदेश दिए

मई में अमेरिका ने हूती नेताओं से समझौता किया था जिसके तहत अमेरिका ने एयरस्ट्राइक रोकने का वादा किया और हूती लड़ाकों ने जहाज़ों पर हमले बंद करने पर सहमति दी. हालांकि हूती नेताओं ने साफ किया कि यह समझौता उन्हें उन लक्ष्यों पर हमले से नहीं रोकता जिन्हें वे इज़राइल से जुड़ा हुआ मानते हैं.

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