अपना टाइम आएगा! किसके दम पर बार-बार बांग्लादेश लौटने का दावा कर रहीं शेख हसीना?
पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना ने निर्वासन से बांग्लादेश की राजनीति पर बड़ा बयान दिया. मोहम्मद यूनुस पर तीखा हमला करते हुए उन्होंने कहा कि देश को आतंकवाद की ओर धकेला जा रहा है. उन्होंने अत्याचार झेल रहे कार्यकर्ताओं से न्याय का वादा किया और कहा कि अल्लाह ने उन्हें किसी मकसद के लिए जिंदा रखा है. मीडिया की आज़ादी पर चिंता जताते हुए उन्होंने लोकतंत्र की पुनर्बहाली की मांग की.
बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री और अवामी लीग की प्रमुख शेख हसीना ने एक भावनात्मक बातचीत में कहा कि 'अल्लाह ने मुझे किसी मकसद के लिए ज़िंदा रखा है.' भारत में निर्वासन के दौरान पार्टी कार्यकर्ताओं के परिवारों से वर्चुअल संवाद में उन्होंने विश्वास जताया कि अत्याचार करने वालों को एक दिन न्याय के कटघरे में लाया जाएगा. उनके शब्दों में न सिर्फ़ दुख था, बल्कि एक न खत्म होने वाली प्रतिज्ञा की गूंज भी थी.
हसीना ने बांग्लादेश की अंतरिम सरकार के मुख्य सलाहकार मोहम्मद यूनुस पर व्यक्तिगत हमला करते हुए उन्हें 'जनविरोधी और दोहरा चेहरा' बताया. उन्होंने आरोप लगाया कि यूनुस ने ऊंची ब्याज दरों पर गरीबों को लोन देकर विदेशों में ऐश किया और अब सत्ता की भूख में देश को गर्त में ले जा रहे हैं. कैमरे को बंद करते हुए हसीना ने कहा, “हमने उसकी मदद की, लेकिन उसने सिर्फ खुद को फायदा पहुंचाया.
किसके दम पर कर रही दावा
अब सवाल उठता है कि आखिर किसके दम पर शेख हसीना बांग्लादेश से लौटने का दावा कर रही है. बांग्लादेश में विरोध प्रदर्शन के बाद शेख हसीना भारत लौट आई थी. बांग्लादेश का दावा है कि मोदी सरकार उनका बचाव कर रही है और प्रत्यर्पण की मंजूरी नहीं दे रहा है. इसके साथ ही अमेरिका में ट्रंप की सरकार आने के बाद अनुमान लगाया जा रहा है कि वह हसीना का समर्थन कर सकते हैं. क्योंकि जीत के बाद ट्रंप समर्थन का दावा कर चुके हैं.
विकास मॉडल से आतंक का ठिकाना
हसीना ने अपने देश के हालात पर दुख जताते हुए कहा कि जो बांग्लादेश एक समय विकास का उदाहरण था, आज वह 'आतंकवाद से ग्रस्त देश' बन गया है. उन्होंने कहा कि अवामी लीग के कार्यकर्ताओं से लेकर पत्रकारों और कलाकारों तक हर किसी को सुनियोजित तरीके से निशाना बनाया जा रहा है.
सच्चाई का गला घोंटा गया
पूर्व प्रधानमंत्री ने आरोप लगाया कि बांग्लादेश की मौजूदा सत्ता मीडिया की आवाज़ को दबा रही है. उन्होंने कहा कि बलात्कार, हत्या और डकैती जैसे अपराधों की रिपोर्टिंग पर पाबंदियां हैं, और यदि कोई मीडिया घराना ऐसा करता है, तो उन्हें सज़ा दी जाती है. उन्होंने तीखे शब्दों में कहा 'सच्चाई बोलना अब अपराध बन गया है'.
एक दर्द जो कभी नहीं भरता
अपने पिता शेख मुजीबुर रहमान और परिवार की हत्या को याद करते हुए हसीना ने कहा कि उन्होंने एक ही दिन में सब कुछ खो दिया. उन्होंने कहा, 'जो लोग ऐसे अपराध कर रहे हैं, उन्हें एक दिन सज़ा जरूर मिलेगी, यह मेरा वादा है.' हसीना ने खुद को एक माध्यम बताया जिसे अल्लाह ने देश और लोकतंत्र के लिए जीवित रखा है.
अत्याचार झेल रहे परिवारों से संवाद
संवाद में भाग ले रहे कई परिवारों ने अपने दर्द की दास्तान साझा की, जिनके परिजनों को राजनीतिक हिंसा में मार दिया गया था. हसीना ने भावनात्मक प्रतिक्रिया दी, 'आप न्याय करेंगे, जैसे मैंने अपने माता-पिता की हत्या के बाद न्याय किया था. हमें उनका हिसाब लेना है और वह दिन ज़रूर आएगा.'
प्रत्यर्पण की मांग कर रहा बांग्लादेश
बांग्लादेश की अंतरिम सरकार इस बीच भारत से शेख हसीना के प्रत्यर्पण की मांग कर रही है. बिम्सटेक सम्मेलन में मोहम्मद यूनुस ने प्रधानमंत्री मोदी से कहा कि हसीना 'भड़काऊ टिप्पणियों' के ज़रिए बांग्लादेश को अस्थिर कर रही हैं. वहीं भारत, जो पहले अल्पसंख्यकों पर हो रहे हमलों पर चिंता जता चुका है, इस समय कूटनीतिक रूप से संतुलन बनाने की कोशिश कर रहा है.





