माघ माह की अमावस्या को मौनी अमावस्या के नाम से भी जाना जाता है जो इस साल 29 जनवरी 2025 को बुधवार को है. महाकुंभ का दूसरा अमृत स्नान भी मौनी अमावस्या के दिन ही आयोजित होगा. इस दिन संगम तट पर करीब 10 करोड़ श्रद्धालुओं के पहुंचने का अनुमान जताया जा रहा है. सनातन धर्म में मौनी अमावस्या का विशेष महत्व है. आखिर मौनी अमावस्या को इतना महत्वपूर्ण क्यों माना जाता है और शास्त्रों में इसे लेकर क्या कहा गया है?