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बटाला-गुरदासपुर में आतंक का सरगना, पेट्रोल बम से दहशत फैलाने वाला खालिस्तानी आतंकी परविंदर सिंह कौन?

पंजाब पुलिस के हाथ बड़ी सफलता लगी है, जहां अब बटाला-गुरदासपुर में आतंक फैलाने वाले खालिस्तानी आतंकी परविंदर सिंह को यूएई से भारत लाया गया है. पंजाब पुलिस ने इस ऑपरेशन को आतंक और संगठित अपराध के खिलाफ बड़ी उपलब्धि बताया है. पिंडी की गिरफ्तारी न केवल इस क्षेत्र में अपराधियों के बीच डर पैदा करेगी.

बटाला-गुरदासपुर में आतंक का सरगना, पेट्रोल बम से दहशत फैलाने वाला खालिस्तानी आतंकी परविंदर सिंह कौन?
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( Image Source:  x-@anilkhatri005 )
हेमा पंत
Edited By: हेमा पंत

Updated on: 27 Sept 2025 12:42 PM IST

बटाला और गुरदासपुर में दहशत फैलाने वाला प्रमुख सरगना था खालिस्तानी आतंकी परविंदर सिंह उर्फ पिंडी. पेट्रोल बम हमलों, हिंसक वारदातों और स्थानीय व्यापारियों से जबरन वसूली जैसी गंभीर गतिविधियों में उसका नाम लगातार सामने आता रहा. जहां पंजाब पुलिस ने हाल ही में एक ऐसे ऑपरेशन को अंजाम दिया, जिसमें उन्होंने खालिस्तानी आतंकी संगठन बब्बर खालसा इंटरनेशनल (बीकेआई) से जुड़े परविंदर सिंह उर्फ पिंडी को अबू धाबी, यूएई से भारत प्रत्यर्पित कर लिया गया.

यह सिर्फ एक गिरफ्तारी नहीं बल्कि आतंक और संगठित अपराध के खिलाफ बड़ी जीत है. यह ऑपरेशन पंजाब पुलिस, केंद्रीय एजेंसियों, विदेश मंत्रालय और यूएई सरकार के साझा सहयोग से संभव हुआ. चलिए जानते हैं कौन है परविंदर सिंह?

कौन है पिंडी?

परविंदर सिंह उर्फ पिंडी पंजाब के बटाला–गुरदासपुर क्षेत्र में आतंक और खौफ का पर्याय बन चुका था. वह खालिस्तानी नेटवर्क का सक्रिय सदस्य और कुख्यात विदेशी आतंकी हरविंदर सिंह उर्फ रिंदा तथा हैप्पी पासिया का करीबी सहयोगी था. पुलिस रिकॉर्ड के मुताबिक पिंडी कई संगीन अपराधों में शामिल रहा है. इनमें पेट्रोल बम से हमले, स्थानीय कारोबारियों से फिरौती वसूली और हिंसक वारदातें शामिल हैं. उसके खौफ के चलते इलाके में आम लोग हमेशा डर और दहशत के साये में जीते थे.

इंटरपोल और रेड कॉर्नर नोटिस

बटाला पुलिस ने जब पिंडी के खिलाफ केस को इंटरपोल तक पहुंचाया तो उसकी गिरफ्तारी की प्रक्रिया ने रफ्तार पकड़ी. इंटरपोल ने रेड कॉर्नर नोटिस जारी किया. यह नोटिस किसी भी अपराधी को वैश्विक स्तर पर खोजे जाने की सबसे अहम कानूनी कार्रवाई मानी जाती है. इसके बाद पंजाब पुलिस ने एक समर्पित चार सदस्यीय टीम बनाई. इस टीम को वरिष्ठ अधिकारी के नेतृत्व में अबू धाबी भेजा गया ताकि वहां की सरकार और स्थानीय एजेंसियों से मिलकर कानूनी औपचारिकताएं पूरी की जा सकें.

अबू धाबी से प्रत्यर्पण

24 सितंबर 2025 को टीम अबू धाबी पहुंची और वहां भारतीय विदेश मंत्रालय व स्थानीय अधिकारियों के साथ लगातार बैठकों का दौर चला. कानूनी औपचारिकताओं और दस्तावेजों की प्रक्रिया को बेहद सतर्कता से पूरा किया गया ताकि आरोपी को बिना किसी देरी के भारत लाया जा सके. आखिरकार एक ऐतिहासिक उपलब्धि के रूप में पिंडी को भारतीय पुलिस ने हिरासत में लेकर देश वापस ला दिया.

पंजाब पुलिस की बड़ी उपलब्धि

डीजीपी गौरव यादव ने इस ऑपरेशन को पंजाब पुलिस और केंद्रीय एजेंसियों की संयुक्त ताकत का नतीजा बताया. उन्होंने कहा कि यह न सिर्फ पंजाब बल्कि पूरे देश की सुरक्षा को और मजबूत करेगा. इस सफलता ने यह संदेश भी दिया कि पंजाब सरकार और पुलिस किसी भी स्तर पर आतंकवाद और संगठित अपराध को बर्दाश्त नहीं करेगी.

आतंकवाद के खिलाफ संदेश

पंजाब लंबे समय से आतंकवाद और गैंगस्टर नेटवर्क की चुनौती से जूझता रहा है. पिंडी जैसे आतंकियों की गिरफ्तारी से अपराधियों के बीच यह संदेश जाता है कि अब बच निकलना आसान नहीं. आम जनता को भी यह भरोसा मिलता है कि सरकार और सुरक्षा एजेंसियां पूरी मजबूती से उनकी सुरक्षा में लगी हैं.

आगे की राह

पुलिस को उम्मीद है कि पिंडी से पूछताछ में विदेशी नेटवर्क और अन्य आतंकियों की कड़ी भी सामने आएगी. यह ऑपरेशन सिर्फ एक गिरफ्तारी नहीं बल्कि आगे की कार्रवाई का आधार है. पंजाब पुलिस की यह सफलता साबित करती है कि जब अंतरराष्ट्रीय सहयोग, कानूनी ताकत और पुलिस की दृढ़ इच्छाशक्ति मिल जाए, तो सबसे कुख्यात आतंकी भी कानून के शिकंजे से नहीं बच सकता.

पंजाब न्‍यूज
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