Begin typing your search...

Bihar Poorest MLA : बिहार के सबसे गरीब विधायक कौन? जानें कितनी है उनकी संपत्ति

Bihar poorest MLA : बिहार की नई विधानसभा में एक विधायक की संपत्ति तो सिर्फ 6.5 लाख रुपये है. विधायक का नाम मुरारी पासवान है, जो आर्थिक रूप से सबसे कम संपत्ति वाले विधायक हैं. इस रिपोर्ट में जानें उनकी कुल संपत्ति, उनकी राजनीतिक पृष्ठभूमि और यह कि कैसे उनकी वित्तीय स्थिति राज्य की करोड़पति-बहुल राजनीति में अलग छाप छोड़ती है.

Bihar Poorest MLA : बिहार के सबसे गरीब विधायक कौन? जानें कितनी है उनकी संपत्ति
X
( Image Source:  Murari Paswan facebook )

Who Is Bihar Poorest MLA : बिहार विधानसभा चुनाव के नतीजे घोषित हो चुके हैं. राज्य में एक बार फिर से बहुमत के साथ एनडीए की सरकार बनने जा रही है. ऐसे में अब जीतने वाले उम्मीदवारों पर सभी की निगाहें टिकी हैं कि आखिर कौन सा उम्मीदवार अमीर और कौन सा गरीब है.... किसके ऊपर केस हैं और किसका दामन पाक साफ है.

जनता की इस उत्सुकता को शांत करने के लिए एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफॉर्म्स (एडीआर) और बिहार इलेक्शन वॉच ने 243 सीटों पर जीते सभी उम्मीदवारों के शपथ पत्र का विश्लेषण किया है. इसके मुताबिक बिहार की नई विधानसभा में जीतकर आने वाले 90 फीसदी विधायक धनकुबेर हैं, यानि करोड़पति हैं. इन करोड़पतियों की लिस्ट में सबसे गरीब विधायक भागलपुर जिले की पीरपैंती विधानसभा से जीतने वाले भाजपा के मुरारी पासवान हैं.

कितनी है सबसे गरीब विधायक की संपत्ति?

एडीआर की रिपोर्ट के मुताबिक पीरपैंती के नए विधायक मुरारी पासवान की कुल संपत्ति केवल 6.53 लाख रुपए है. इसमें से चल संपत्ति करीब 1.53 लाख रुपए है. जबकि अचल संपत्ति की कीमत करीब 5 लाख रुपए हैं.

संपत्ति के मामले में शपथ पत्र के हिसाब से दूसरे नंबर पर भाजपा के टिकट पर भोजपुर जिले की अगिआंव विधानसभा से बहुत कम मार्जिन से जीतकर आने वाले महेश पासवान हैं, जिनकी कुल संपत्ति करीब 8.55 लाख रुपए हैं. इसमें से 8 लाख रुपए की अचल संपत्ति है, जबकि 55 हजार रुपए की चल संपत्ति है. तीसरे नंबर पर राजनगर विधानसभा से भाजपा के टिकट पर चुनाव जीतकर आए सुजीत कुमार हैं, जिनकी कुल संपत्ति करीब 11 लाख रुपये हैं.

2020 के सबसे गरीब विधायक का अब क्या हाल?

बिहार विधानसभा चुनाव 2020 में शपथ पत्र के हिसाब से सबसे गरीब विधायक अलौली से राजद के टिकट पर जीतने वाले रामवृक्ष कदम थे. उस वक्त इनकी कुल संपत्ति मात्र 70 हजार रुपए थी. इन्होंने 2025 में भी चुनाव लड़ा. शपथ पत्र के हिसाब से 2025 में उनकी संपत्ति करीब 85 लाख रुपए के पार पहुंच गई. इस बार वह अलौली विधानसभा क्षेत्र से अपना चुनाव हार गए हैं.

सबसे ज्यादा कर्जदार विधायक कौन?

इसके अलावा बिहार की नई विधानसभा के लिए चुनकर आए कई विधायक ऐसे भी हैं, जिनके ऊपर करोड़ों रुपए का कर्ज है। इस लिस्ट में सबसे ऊपर राजद की टिकट पर ब्रह्मपुर विधानसभा सीट से जीतकर आने वाले शंभू नाथ यादव के ऊपर है. इनकी कुल संपत्ति करीब 12 करोड़ रुपए है, जबकि इनके ऊपर करीब 66 करोड़ रुपए की देनदारी है. वहीं, दूसरे नंबर पर मोकामा के बाहुबली विधायक अनंत सिंह है. इनकी कुल संपत्ति करीब 100 करोड़ रुपए है, जबकि इनके ऊपर करीब 25 करोड़ की देनदारी है।

पीरपैंती का क्या है इतिहास?

यह इलाका सांस्कृतिक धरोहर के लिए भी जाना जाता है. ईशीपुर का मां काली मंदिर करीब 150 साल पुराना बताया जाता है, जबकि यहां का प्रसिद्ध शिव मंदिर लगभग 100 साल पुराना है. गंगा के किनारे बसे इस क्षेत्र में एक पीर की ऐतिहासिक मजार भी है, जहां हर धर्म के लोग श्रद्धा से पहुंचते हैं. पीरपैंती का बिजलीघर, जिसे स्थानीय लोग ‘पीरपैंती पावर प्लांट’ कहते हैं, इस क्षेत्र की बड़ी पहचान है. पीरपैंती रेलवे स्टेशन पूर्वी रेलवे के मालदा मंडल के साहिबगंज लूप लाइन पर स्थित है, जिससे पूरे इलाके की कनेक्टिविटी मजबूत होती है.

राजनीतिक और सामाजिक असर

मुरारी पासवान की कम संपत्ति उन लोगों के लिए प्रेरणा हो सकती है, जो विश्वास करते हैं कि राजनीति सिर्फ धनवानों का खेल नहीं है. इसके उलट आलोचक कह सकते हैं कि बहुत कम संपत्ति का मतलब यह भी हो सकता है कि उनके पास सीमित संसाधन हों. सत्ता में प्रभाव हासिल करने की उनकी क्षमता कमजोर हो. उनकी स्थिति यह दर्शाती है कि बिहार की विधानसभा में आर्थिक-राजनीतिक विभाजन कितना गहरा है?

बिहारबिहार विधानसभा चुनाव 2025
अगला लेख