खराब दांत बन सकते हैं हार्ट अटैक का कारण, ओरल हेल्थ का रखें ध्यान
आप शायद हैरान होंगे कि मुंह की सफाई न करने से सिर्फ दांत ही नहीं, बल्कि दिल की बीमारियों तक का खतरा है। कई बार ये बीमारियां जानलेना भी हो सकती हैं।

दांतों की सफाई पर हर कोई ध्यान देता है। बचपन से ही हमें दांतों को अच्छे से साफ करना सिखाया जाता है। दांतों की सफाई को नजरअंदाज करने से मसूड़ों और दांत में कई तरह की समस्या हो सकती है। हालांकि, आप शायद हैरान होंगे कि मुंह की सफाई न करने से सिर्फ दांत ही नहीं, बल्कि दिल की बीमारियों तक का खतरा है। कई बार ये बीमारियां जानलेना भी हो सकती हैं। यही नहीं, खराब ओरल हेल्थ हार्ट अटैक का भी कारण बन सकता है। आइए, समझते हैं कि कैसे दांतों की समस्या दिल की बीमारियों को कारण बन सकती हैं।
दांतों में पाए जाने वाले एक बैक्टीरिया से हार्ट अटैक और दिल की दूसरी बीमारियां हो सकती हैं। विशेषज्ञों के मुताबिक ये बैक्टीरिया लार के जरिए दिल की ग्रंथियों तक पहुँच जाता है और अगर समय पर ध्यान ना दिया जाए तो इससे दिल से जुड़ी परेशानियाँ हो सकती हैं।
मसूड़ों का भी रखें ध्यान
मसूड़ों से जुडी ज्यादातर समस्याएं दांतों में बैक्टीरिया के कारण होती हैं। ये बैक्टीरिया आर्टरीज तक पहुँच सकते हैं और सूजन बढ़ा सकते हैं, जिससे दिल से जुड़ी बीमारियां पैदा हो सकती हैं। अगर दांतों का कोई मामला गंभीर हो जाता है, तो एंटीबायोटिक दवाओं का इन बैक्टीरिया पर असर नहीं होता है जो शरीर के रोग प्रतिरोधक क्षमता को नुकसान पहुँचाते हैं।
नियमित जांच कराएं
दांतों के साथ-साथ दिल को भी किसी भी बड़े नुकसान से बचाने के लिए नियमित जांच करानी चाहिए। कैविटीज और दांतों का सड़ना दुनिया भर में सबसे आम स्वास्थ्य समस्याओं में से एक हैं। बच्चों, किशोरों और बुजुर्गों में ये सबसे आम समस्याएँ हैं। यह जरूरी है कि आप छह महीने या एक साल में एक बार अपने डेंटिस्ट के पास जाएं।
कैसे पहचानें दांतों की समस्या
दांतों में बैक्टीरिया के कुछ लक्षणों में दांतों में दर्द, दांतों का संवेदनशील होना और कुछ मीठा, गर्म या ठंडा खाने या पीने पर हल्का से लेकर तेज दर्द होना शामिल है। शुरुआती दौर में इन कैविटीज को देख पाना मुश्किल होता है। अगर कैविटी बढ़ती है, तो यह आपके दांत पर भूरे या काले धब्बे में बदल जाती है।