'गली- गली में शोर है खालिस्तानी चोर है', जब तिरंगे के अपमान पर भारतीयो ने दिया ये जवाब; VIDEO
भारतीय समुदाय के एक व्यक्ति ने बताया, 'हम यहां 76वें गणतंत्र दिवस का जश्न मनाने के लिए उच्चायोग में इकट्ठा हुए थे. हमने देखा कि खालिस्तान समर्थक भारत की संप्रभुता के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे थे. हमने मिलकर उनका शांतिपूर्ण और संगठित तरीके से जवाब दिया.

गणतंत्र दिवस के मौके पर ब्रिटेन की राजधानी लंदन में खालिस्तान समर्थकों और भारतीय समुदाय के बीच टकराव की खबर सामने आई है. जानकारी के अनुसार, खालिस्तान समर्थक समारोह के खिलाफ नारेबाजी कर रहे थे, जिसका भारतीय समुदाय ने कड़ा जवाब दिया. ऐसी घटनाएं पहले भी कनाडा से सामने आई थीं, जहां खालिस्तान समर्थकों ने भारतीय संप्रभुता के खिलाफ प्रदर्शन किए थे. खबरों के मुताबिक, ब्रिटेन में खालिस्तान समर्थकों ने हाल ही में बॉलीवुड फिल्म इमरजेंसी के प्रदर्शन के दौरान भी थिएटर्स में उपद्रव मचाया था.
ANI के अनुसार, भारतीय समुदाय के एक व्यक्ति ने बताया, 'हम यहां 76वें गणतंत्र दिवस का जश्न मनाने के लिए उच्चायोग में इकट्ठा हुए थे. हमने देखा कि खालिस्तान समर्थक भारत की संप्रभुता के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे थे. हमने मिलकर उनका शांतिपूर्ण और संगठित तरीके से जवाब दिया. हमारा संदेश साफ है कि हमें कोई तोड़ नहीं सकता.'इस घटना ने भारतीय समुदाय की एकजुटता को दिखाते हुए यह स्पष्ट किया कि विदेशों में भी वे भारत के सम्मान और संप्रभुता की रक्षा के लिए एकजुट खड़े हैं.
प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने खालिस्तान समर्थकों की हालिया गतिविधियों पर चिंता जाहिर करते हुए कहा कि भारत विरोधी तत्वों द्वारा हिंसक विरोध और धमकी की घटनाओं को लेकर भारत लगातार यूके सरकार के समक्ष अपनी चिंताओं को व्यक्त कर रहा है. उन्होंने कहा, 'बोलने और अभिव्यक्ति की आजादी को चुनिंदा रूप से लागू नहीं किया जा सकता. जो लोग इस आजादी में बाधा डालते हैं, उन्हें जवाबदेह ठहराया जाना चाहिए. उन्होंने आगे कहा कि 'हम उम्मीद करते हैं कि ब्रिटेन सरकार जिम्मेदार व्यक्तियों के खिलाफ उचित और सख्त कार्रवाई करेगी. हमारा उच्चायोग भारतीय समुदाय के सदस्यों की सुरक्षा और कल्याण सुनिश्चित करने के लिए उनके संपर्क में रहता है.'
सोशल मीडिया पर सामने आई तस्वीरों और वीडियो में खालिस्तान समर्थक चरमपंथियों को नारे लगाते और ब्रिटेन के सिनेमाघरों में फिल्म इमरजेंसी की स्क्रीनिंग को बाधित करते हुए देखा गया है. बताया जा रहा है कि इन चरमपंथियों ने हैरो सिनेमा पर धावा बोलकर 1975 के भारत के आपातकाल पर आधारित इस फिल्म की स्क्रीनिंग रोकने की कोशिश की.यह पहली बार नहीं है जब ब्रिटेन में भारतीय समुदाय और संस्थानों को ऐसी गतिविधियों का सामना करना पड़ा है. 2023 में भी लंदन स्थित भारतीय उच्चायोग पर खालिस्तान समर्थकों द्वारा हिंसक हमले किए गए थे.