रतन टाटा का अपने पालतू कुत्ते के लिए बेइंतहा प्यार, वसीयत में रखा अच्छी देखभाल का प्रावधान
रतन टाटा के निधन के बाद उनकी वसियत को लेकर खूब सवाल सामने आ रहे हैं. सवाल ये कि आखिर वसियत में किसकी कितनी हिस्सेदारी है और किसका नाम इसमें शामिल है. वहीं इसमें उनके सबसे दोस्त 'टीटू' जो उनका जर्मन शेफर्ड दोस्त है. उसका नाम भी इस वसियत में शामिल किया गया है.

नई दिल्लीः रतन टाटा के निधन के बाद अब इस बात की चर्चा खूब है कि आखिर अब उनकी संपत्ति किसे मिलेगी? लेकिन इस बीच एक नाम सामने आया है. जिसमें वसियत में उनके दोस्त 'टीटू' का जिक्र किया गया. सभी जानते हैं कि रतन टाटा को जानवरों से कितना प्रेम था. खासकर कुत्तों से काफी लगाव था. वहीं उनके चले जाने के बाद उनके सबसे अजीज दोस्त 'टीटू' जर्मन शेफर्ड डॉग माना जाता था.
रतन टाटा ने अपने पालतू डॉग के लिए वसीयत में कुत्ते के लिए असिमित प्रेम करने उसे सुनिश्चित करने का प्रावधान शामिल किया गया है. टाइम्स ऑफ इंडिया की रिपोर्ट के मुताबिक टीटू को रतन टाटा ने 6 साल पहले एडॉप्ट किया था. उनके चले जाने के बाद अब उनकी देखभाल उनके पुराने कुक राजन शॉ करने वाले हैं. वहीं इस वसीयत में उनके बटलर सुब्बैया का भी जिक्र किया गया है.
डिजाइनर कपड़े खरीदने में करते थे मदद
सुबैया के साथ रतन टाटा ने लगभग तीन दशक का समय बिताए हैं. कहा जाता है कि अपनी विदेश यात्रा के दौरान वह रतन टाटा के लिए डिजाइनर कपड़े खरीदने में मदद करते थे. वहीं उनके सबसे छोटे दोस्त शांतनू नायडू. जिसके साथ रहने की अकसर चर्चा रहती थी. नायडू का नाम भी वसियत में शामिल किया गया है. रिपोर्ट के अनुसार रतन टाटा ने अपने सारे स्टेक गुडफेलोज़ में अपनी सारी हिस्सेदारी छोड़ नायडू के लिए छोड़ी है. साथ ही उनके सभी विदेशी शिक्षा के खर्च को माफ किया है.
किसे मिलेगी रतन टाटा की हिस्सेदारी?
टाटा समूह की परंपरा के अनुसार, रतन टाटा की हिस्सेदारी रतन टाटा एंडोमेंट फाउंडेशन (आरटीईएफ) को दी जाएगी. रिपोर्टों के अनुसार टाटा संस के प्रमुख एन चंद्रशेखरन संभवतः इस फाउंडेशन की अध्यक्षता करेंगे. कोलाबा के हलेकाई हाउस जहां रतन टाटा रहा करते थे. उनके निधन के बाद अब टाटा संस के स्वामित्व वाली कंपनी इवार्ट इन्वेस्टमेंट्स के पास है. यही कंपनी अब इस आवास के आगे का भविष्य तक करने वाला है.
जुहू वाले घर की विरासत
रतन टाटा को उनके पिता नवल टाटा ने जुहू में समुद्र तट के किनारे एक घर दिया था. यह घर, जो एक चौथाई एकड़ भूमि पर स्थित है, अपने भाई जिमी, सौतेले भाई नोएल और सौतेली मां सिमोन के साथ साझा किया गया था. टीओआई की रिपोर्ट में कहा गया है कि यह बीस साल से अधिक समय से बंद है और इसे बेचने की योजना बनाई जा रही है.
कहां गई लग्जरी कार?
इस समय उनके पास 20 से 30 लग्जरी कार हैं. जो इस समय कोलाबा में उनके हेलेकाई निवास और ताज वेलिंगटन म्यूज़ सर्विस अपार्टमेंट में रखी गई हैं. फिलहाल ये कार किसे सौंपी जाएगी या फिर भविष्य में क्या होगा. इसपर विचार किया जा रहा है. इसमें ये योजना भी तैयार की जा रही है कि इसे पूने में स्थित टाटा म्यूजियम या फिर निलाम करने की भी योजना तैयार की जा रही है. उनकी विरासत को संरक्षित करने के लिए उनके कई पुरस्कार टाटा सेंट्रल आर्काइव्स को दान कर दिए जाएंगे.