महाराष्ट्र में बाला साहब और सावरकर का नाम लेकर क्या मैसेज दे गए पीएम मोदी?
महाराष्ट्र में विधानसभा चुनाव को कुछ ही समय बचा हुआ है. ऐसे में BJP जीत के लिए जनता का विश्वास जुटाने में जी-तोड़ मेहनत करती नजर आ रही है. इसी कड़ी में शुक्रवार को महाराष्ट्र धुला विधानसभा में PM मोदी ने रैली को संबोधित करने पहुंचे. इस दौरान उन्होंने बाला साहब और सावरकर का नाम लेकर संदेश दिया है.

महाराष्ट्र में विधानसभा चुनाव को कुछ ही समय बचा हुआ है. ऐसे में BJP जीत के लिए जनता का विश्वास जुटाने में जी-तोड़ मेहनत करती नजर आ रही है. इसी कड़ी में शुक्रवार को महाराष्ट्र धुला विधानसभा में PM मोदी ने रैली को संबोधित करने पहुंचे. इस रैली में मोदी ने बाला साहब और सावरकर का नाम लेकर जनता को एक संदेश दिया है.
रैली में प्रधानमंत्री मोदी ने महाराष्ट्र पूर्व मुख्यमंत्री बाला साहेब ठाकरे के योगदान को याद किया. उन्होंने कहा कि देश और महाराष्ट्र की राजनीति में बाला साहब ठाकरे का योगदान अतुलनीय है, लेकिन कांग्रेस नेताओं के मुंह से बाला साहब ठाकरे की प्रशंसा में एक शब्द नहीं निकलता है. इसी दौरान वीर सावरकर का नाम लेते हुए उन्होंने विपक्ष पर निशाना साधा है.
वीर सावरकर हमारे प्रेरणा स्तोत्र हैं
PM ने कहा कि वीर सावरकर हम सभी के प्रेरणा स्तोत्र है. लेकिन महाविकास अघाड़ी नेता वीर सावरकर को गाली देते हैंं. उन्होंने निशान साधते हुए कहा कि वीर सावरकर का ये लोग अपमान करते हैं. लेकिन ये वही लोग हैं जो कभी सावरकर के लिए जान देने की भी बात करते थे. पर अब इनके मुंह से उनका नाम नहीं निकल पा रहा है. ऐसा इसलिए क्योंकी इन्हें डर है कि वह सभी दल नाराज हो जाएंगे.
कांग्रेस को PM मोदी की चुनौती
वहीं रैली में मोदी ने कांग्रेस को खुल्ली चुनौती दी है. उन्होंने कहा कि मैं महाअघाड़ी में कांग्रेस के दोस्तों को यह खुल्ली चुनौती देता हूं कि वो कांग्रेस के नेताओं से, युवराज से, बाला साहब ठाकरे की, उनकी विचारधारा की प्रशंसा करवाकर दिखाएं. उन्होंने कहा कि कांग्रेस और उसके साथियों को न बाबा साहेब अंबेडकर के संविधान की परवाह है, ना कोर्ट की और ना ही देश के भावना की. ये सिर्फ दिखावे के लिए जेब में संविधान की किताब लेकर घूमते हैं.
एक रहेंगे तो सेफ रहेंगे
इस दौरान उन्होंने एक नारा भी दिया. PM ने कहा कि मैं कहता हूं कि हम एक रहेंगे तो सेफ रहेंगे. उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी में ओबीसी समाज को लेकर गुस्सा है. कांग्रेस चाहती है कि ओबीसी समाज को कमजोर कर दो, उसकी एकजुटता को समाप्त कर दो. कांग्रेस का स्पष्ट मत है कि ओबीसी समाज कमजोर होगा, तभी कांग्रेस के लिए सत्ता रास्ता खुलेगा। इसलिए कांग्रेस ओबीसी को बांटकर उसमें दरार पैदा करना चाहती है.