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Nobel Prize in Chemistry: इन तीन वैज्ञानिकों को मिलेगा केमिस्ट्री का नोबेल पुरस्कार, पढ़ें डिटेल स्टोरी

रॉयल स्वीडिश एकेडमी ऑफ साइंसेज ने रसायन विज्ञान में 2024 का नोबेल पुरस्कार आधा हिस्सा डेविड बेकर को 'कम्प्यूटेशनल प्रोटीन डिजाइन के लिए' और दूसरा आधा हिस्सा संयुक्त रूप से डेमिस हसाबिस और जॉन एम. जम्पर को 'प्रोटीन संरचना भविष्यवाणी के लिए' देने का फैसला किया है

Nobel Prize in Chemistry: इन तीन वैज्ञानिकों को मिलेगा केमिस्ट्री का नोबेल पुरस्कार, पढ़ें डिटेल स्टोरी
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Nobel Prize in Chemistry
( Image Source:  X )
सागर द्विवेदी
Edited By: सागर द्विवेदी

Published on: 9 Oct 2024 6:17 PM

साल 2024 के रसायन विज्ञान के क्षेत्र में नोबेल पुरस्कार के विजेताओं का ऐलान कर दिया है. रॉयल स्वीडिश एकेडमी ऑफ साइंसेज ने 9 अक्तूबर को बताया कि रसायन विज्ञान में 2024 का नोबेन पुरस्कार डेविल बेकर, डेमिस हसाबिस और जॉन एम. जम्पर को देने का फैसला लिया है. डेविड बेकर को 'कम्प्यूटेशनल प्रोटीन डिजाइन के लिए' के लिए पुरस्कार मिला है. डेमिस हसाबिस और जॉन जम्पर को 'प्रोटीन स्ट्रंक्चर की भविष्यवाणी' के लिए चुना गया है.

डेविड बेकर की उपलब्धि

साल 2023 में डेविड बेकर ने पूरी तरह से नए प्रोटीन डिजाइन करने की असाधारण उपलब्धि हासिल की है वहीं डेमिस हसाबिस और जॉन जंपर ने 50 साल पुरानी चुनौती को हल करने के लिए एक ऑर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) मॉडल विकसित किया है, जो प्रोटीन की जटिल त्रि-आयामी संरचनाओं की भविष्यवाणी करता है. बीते साल बेकर ने सफलतापूर्वक एक नया प्रोटीन तैयार किया, उसके बाद से उनके शोध समूह ने कई ऐसे अभिनव प्रोटीन बनाएं है जिनका उपयोग फार्मास्यूटिकल्स, वैक्सीन, नैनोमटेरियल और सेंसर में किया जा सकता है.

इस बीच, हसबिम और जम्पर की AI- आधारित सफलता 2020 में अल्फाफोल्ड 2 की शुरूआत के साथ आई, उनका मॉडन शोधकर्ताओं के पहचाने गए लगभग सभी 200 मिलियन प्रोटीन की संरचना की भविष्यवाणी कर सकता है. ये एक ऐसी उपलब्धि थी, जिसे पहले असंभव माना जाता था.


रॉयल स्वीडिश एकेडमी ऑफ साइंसेज ने एक बयान में कहा, 'प्रोटीन के बिना जीवन संभव नहीं है. अब हम प्रोटीन संरचनाओं की भविष्यवाणी कर सकते हैं और अपने स्वयं के प्रोटीन डिजाइन कर सकते हैं, जो मानव जाति के लिए सबसे बड़ा लाभ है.'

वैज्ञानिक के इस खोज से मानव को किन चीजों में होगा लाभ

रॉयल स्वीडिश एकेडमी ऑफ साइंसेज ने कहा कि ये रिसर्च मानव जाति को फायदा दे सकती है. एकेडमी की प्रेस रिलीज में कहा गया कि वैज्ञानिक अब एंटीबायोटिक प्रतिरोध को बेहतर समझ सकते हैं और एंजाइम की इमेज बना सकते हैं साथ ही अब हम प्रोटीन संरचनाओं की सटीक भविष्यवाणी कर सकते हैं और अपने प्रोटीन को डिजाइन कर सकते हैं जो मानव जाति को बड़ा लाभ प्रदान कर सकता है.

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