गौ तस्करी करने वालों को बीच चौराहे पर गोली मार दी जाएगी; इस मंत्री ने कर दिया एलान
गौ-तस्करी में लिप्त पाए जाने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी और जरूरत पड़ने पर उन्हें खुलेआम सड़कों या चौराहों पर गोली भी मारी जा सकती है.' मंत्री वैद्य ने स्पष्ट किया कि जिले में गौ-तस्करी जैसी गैरकानूनी गतिविधियों को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा.

कर्नाटक के उत्तर कन्नड़ जिले में हाल ही में बढ़ती गाय चोरी की घटनाओं के बीच प्रभारी मंत्री मंकल वैद्य ने एक कड़ा बयान दिया है. उन्होंने कहा कि गौ-तस्करी में लिप्त पाए जाने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी और जरूरत पड़ने पर उन्हें खुलेआम सड़कों या चौराहों पर गोली भी मारी जा सकती है.' मंत्री वैद्य ने स्पष्ट किया कि जिले में गौ-तस्करी जैसी गैरकानूनी गतिविधियों को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा. उन्होंने प्रशासन को यह सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं कि गायों और गौ-पालकों के हितों की रक्षा के लिए सभी आवश्यक कदम उठाए जाएं.'
मकल वैद्य का यह बयान हाल ही में होन्नावर के पास एक गर्भवती गाय के वध की घटना के बाद आया है, जिसने पूरे जिले में आक्रोश फैला दिया. इस घटना को लेकर गौ-रक्षकों और स्थानीय लोगों ने भारी विरोध प्रदर्शन किया, जिसके बाद मंत्री ने कठोर कार्रवाई का आश्वासन दिया. उन्होंने कहा, "हम इस तरह की घटनाओं को जिले में नहीं चलने देंगे और प्रशासन हर संभव प्रयास करेगा कि ऐसी अवैध गतिविधियां पूरी तरह बंद हों.'
ऐसा क्यों बोले कर्नाटक के मंत्री?
वैद्य ने कहा कि गाय चोरी की घटनाएं कई सालो से हो रही हैं. मैंने SP से कहा कि यह रुकना चाहिए और किसी भी कीमत पर ऐसा नहीं होना चाहिए. यह गलत है. हम गाय की पूजा करते हैं इस पशु को प्यार देते हैं और इसका दूध पीकर बड़े हुए है. इसके आगे मंत्री ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि पुलिस से निर्देश हैं कि इसे अपराध में शामिल किया जाए और इस पर ठोस कार्रवाई होनी चािए.
इसके साथ ह उन्होंने कहा, ‘‘कुछ मामलों में गिरफ्तारी हुई है. अगर ऐसी घटनाएं जारी रहीं, तो... शायद मुझे ऐसा नहीं कहना चाहिए, लेकिन मैं सुनिश्चित करूंगा कि आरोपियों को सड़क पर या चौक पर गोली मार दी जाए. मंत्री ने कहा, काम करिए, कमाइए और खाइए. हमारे जिले में रोजगार के बहुत विकल्प हैं, लेकिन हम किसी भी कीमत पर गौ तस्करी में शामिल लोगों का समर्थन नहीं करेंगे.’’ मंत्री ने कहा कि ऐसी घटनाएं पहले भी हो चुकी हैं, जब भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) सत्ता में थी. मंत्री ने इस मुद्दे को लेकर सरकार को घेरने के लिए विपक्षी दल पर निशाना साधा और सत्ता में रहने के दौरान इस मुद्दे पर चुप्पी साधे रहने का आरोप लगाया.