AI 171 हादसे के घाव फिर हरे, 6 परिवारों को मिले शवों के ‘बचे-खुचे अवशेष', दोबारा होगा अंतिम संस्कार
जून के महीने में अहमदाबाद में हुए एयर इंडिया प्लेन क्रैश में कई परिवारों ने अपने लोगों को खोया. जहां डीएनए मैच कर पहले कुछ लोगों के अवशेष उनके प्रियजनों को सौंप दिए थे. जहां अब दोबारा 6 परिवार को बचे-खुचे’ टुकड़े दिए गए हैं.

12 जून के दिन जब अहमदाबाद से लंदन की ओर यर इंडिया की फ्लाइट AI 171 के साथ सैकड़ों सपनों ने उड़ान भरी थी. किसी को अपने बच्चे से मिलने जाना था. कोई काम के सिलसिले में विदेश जा रहा था, और किसी के लिए ये सफर एक नई शुरुआत की उम्मीद था, लेकिन कोई नहीं जानता था कि ये उड़ान उनकी आख़िरी होगी.
महज कुछ ही मिनटों में आसमान में गूंजती उम्मीदें धुएं और चीखों में तब्दील हो गईं. अहमदाबाद की धरती पर वह विमान नहीं, 260 जिंदगियां गिरकर बिखर गई. अब छह लोगों के परिवारों को दोबारा उन सभी यादों से गुजरना पड़ेगा, जिनसे वह उबरने की कोशिश कर रहे थे. दरअसल कुछ लोगों के अवशेष दिए गए हैं.
6 परिवारों को सौपें अवशेष
AI 171 विमान दुर्घटना को कई हफ्ते बीत चुके हैं, लेकिन पीड़ितों के परिवारों का दुख अभी भी वैसा ही है. गुरुवार को छह परिवारों को एक और झटका तब लगा जब उन्हें सिविल अस्पताल से अपने लोगों के ‘दूसरे अवशेष’ सौंपे गए. ये अवशेष मेघानीनगर के मलबे से हाल ही में मिले थे.
परिवार को मिले सिर्फ हड्डी और शरीर के अधूर हिस्से
गुजरात के आनंद नाडियाड और अहमदाबाद जैसे इलाकों से आए परिवारों को पहले ही उनके प्रियजनों के पार्थिव अवशेष सौंप दिए गए थे, लेकिन जब उन्हें दूसरा सेट मिला, तो उनका दिल दहल उठा. इस बार जो अवशेष मिले, वे बेहद छोटे-छोटे और बिखरे हुए थे. कहीं केवल हड्डियां, तो कहीं शरीर के अधूरे हिस्से. अपनों की याद में डूबे इन परिवारों के लिए यह एक ऐसा दर्द था, जिसे शब्दों में बयां करना मुश्किल है. उनके जख्म और गहरे हो गए.
दोबारा अंतिम संस्कार की अनुमति
दुर्घटना के बाद अधिकारियों ने सभी मृतकों के परिजन, डॉक्टर, स्थानीय लोग और क्रू मेंबर के सदस्यों के परिवारों को एक सहमति पत्र दिया था, जिसमें उनसे पूछा गया था कि अगर भविष्य में घटनास्थल की सफाई या मेडिकल जांच के दौरान और अवशेष मिलें, तो क्या उनका अंतिम संस्कार किया जा सके. सूत्रों के अनुसार, जिन 10 पीड़ितों के अवशेष बाकी थे, उनमें से 9 परिवारों ने अस्पताल को उनका अंतिम संस्कार करने की मंजूरी दे दी है. केवल एक परिवार की मंजूरी का इंतजार है.