Farhan Akhtar की मां हनी ईरानी के साथ लाखों की धोखाधड़ी, ड्राइवर और पेट्रोल पंप कर्मचारी गिरफ्तार
दीया ने जब ड्राइवर नरेश सिंह (35 वर्षीय) से पूछताछ की, तो उसने शुरुआत में टालमटोल जवाब दिए. उसने कहा कि उसके पास सिर्फ एक फ्यूल कार्ड है. लेकिन जब गहन जांच की गई तो पता चला कि नरेश तीन अलग-अलग फ्यूल कार्ड्स का इस्तेमाल कर रहा था.

मुंबई में एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है, जिसमें बॉलीवुड के मशहूर एक्टर फरहान अख्तर की मां और फेमस राइटर हनी ईरानी के साथ फाइनेंसियल फ्रॉड हुआ है. इस मामले में मुंबई पुलिस ने हनी ईरानी के ड्राइवर और एक पेट्रोल पंप कर्मचारी के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है. पुलिस के अनुसार, यह पूरा खेल फ्यूल कार्ड के ज़रिए किया गया. ड्राइवर ने इन कार्डों का गलत इस्तेमाल करके लाखों रुपये की नकदी निकाल ली.
यह मामला तब सामने आया जब हनी ईरानी की मैनेजर, 36 साल की दीया भाटिया, ने व्हीकल्स के फ्यूल रिकॉर्ड की जांच की. उन्हें यह देखकर हैरानी हुई कि रिकॉर्ड में बिलकुल अव्यवहारिक आंकड़े दर्ज थे. उदाहरण के लिए, 'एक कार जिसकी टैंक क्षमता मात्र 35 लीटर थी, उसमें रिकॉर्ड के मुताबिक 621 लीटर डीजल भरा गया था. यह देखकर दीया को शक हुआ और उन्होंने पूरे ईंधन रिकॉर्ड की जांच शुरू कर दी.
पूछताछ में सामने आया सच
दीया ने जब ड्राइवर नरेश सिंह (35 वर्षीय) से पूछताछ की, तो उसने शुरुआत में टालमटोल जवाब दिए. उसने कहा कि उसके पास सिर्फ एक फ्यूल कार्ड है. लेकिन जब गहन जांच की गई तो पता चला कि नरेश तीन अलग-अलग फ्यूल कार्ड्स का इस्तेमाल कर रहा था ये सभी फरहान अख्तर और हनी ईरानी से जुड़े थे. जांच में यह भी सामने आया कि वह उन गाड़ियों के लिए भी पेट्रोल खरीद रहा था जो कई साल पहले बेची जा चुकी थी.
धोखाधड़ी का तरीका
एफआईआर के मुताबिक, नरेश सिंह ने बताया कि उसने ये तीनों कार्ड 2022 में हनी ईरानी के पूर्व ड्राइवर संतोष कुमार से हासिल किए थे. वह बांद्रा झील के पास एसवी रोड स्थित एक पेट्रोल पंप पर अक्सर जाता था. वह पेट्रोल पंप कर्मचारी अरुण सिंह (52 वर्ष) की मदद से यह धोखाधड़ी करता था. नरेश वहां बिना पेट्रोल भरवाए ही कार्ड स्वाइप करता था, और अरुण उसे हर लेनदेन पर 1000 से 1500 रुपये नकद दे देता था. इस तरह, दोनों ने मिलकर हनी ईरानी के फ्यूल कार्डों से करीब 12 लाख रुपये की ठगी की.
कबूलनामे से खुला राज
दीया भाटिया के साथ एक तय बैठक के दौरान, नरेश ने आखिरकार अपनी गलती मान ली. उसने खुलकर बताया कि उसने कैसे पेट्रोल पंप कर्मचारी के साथ मिलकर यह धोखाधड़ी की साजिश रची थी और कैसे लंबे समय से यह काम चल रहा था. हनी ईरानी की शिकायत पर बांद्रा पुलिस ने मामला दर्ज किया है. ड्राइवर नरेश सिंह और पेट्रोल पंप कर्मचारी अरुण सिंह के खिलाफ भारतीय दंड संहिता (IPC) की निम्न धाराओं के तहत एफआईआर दर्ज की गई है. धारा 318 – आपराधिक विश्वासघात (Criminal Breach of Trust), धारा 418 – धोखाधड़ी (Cheating) और धारा 3(5) – सामान्य प्रावधान (Common Intention). पुलिस अब यह जांच कर रही है कि क्या इस घोटाले में और लोग भी शामिल थे, और साथ ही गबन की गई राशि को वापस पाने के लिए कार्रवाई की जा रही है.