Satan-2: अकेले पूरे यूक्रेन को खत्म कर सकती है रूस की यह मिसाइल, धरती के किसी भी कोने में कर सकती है वार
दुनिया जब भी परमाणु हथियारों की बात करती है, एक नाम सिहरन पैदा करता है Satan-2. आधिकारिक नाम है RS-28 Sarmat, लेकिन पश्चिमी देश इसे डर के साथ "Satan-2" कहते हैं. यह रूस की अब तक की सबसे खतरनाक और अत्याधुनिक अंतरमहाद्वीपीय बैलिस्टिक मिसाइल (ICBM) है. जानिए क्यों यह मिसाइल पूरी दुनिया की नींद उड़ा रही है.;
रूस और यूक्रेन के बीच छिड़ा युद्ध अब उस मोड़ पर पहुंच गया है, जहां से वापसी बेहद मुश्किल और विनाशकारी हो सकती है. यूक्रेन की ओर से रूस की सीमाओं के 4000 किमी अंदर तक किए गए ड्रोन हमलों ने क्रेमलिन को बौखला दिया है. इस हमले में रूस के 5 प्रमुख एयरबेसों को निशाना बनाया गया, जिसके बाद अब राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने जबरदस्त बदले की कार्रवाई के संकेत दिए हैं.
रूस और यूक्रेन के बीच जारी जंग को लेकर दुनिया एक बार फिर परमाणु हथियारों की ताकत और खतरे को लेकर बेचैन हो उठी है. ऐसे में रूस की सबसे खतरनाक और विनाशकारी हथियार प्रणाली RS-28 Sarmat, जिसे दुनिया में Satan-2 के नाम से जाना जाता है, चर्चा में है. ये मिसाइल इतनी शक्तिशाली है कि एक ही हमले में किसी पूरे देश को धरती से मिटा सकती है.
रूस ने हाल ही में इसके परीक्षण की पुष्टि की है और इसे "नाटो के लिए चेतावनी" बताया है. करीब 200 टन वजनी और 18,000 किलोमीटर तक मार करने वाली ये मिसाइल 10 से 15 परमाणु वारहेड ले जाने में सक्षम है. इसका मकसद सिर्फ सैन्य ठिकानों को नष्ट करना नहीं, बल्कि दुश्मन के अस्तित्व को खत्म करना है.
क्या है Satan-2?
Satan-2, रूस द्वारा विकसित एक सुपर-हथियार है, जो सोवियत काल की SS-18 मिसाइल की जगह ले रहा है. इसे 2022 में पहली बार परीक्षण किया गया और इसके बाद से यह दुनिया भर में चिंता का कारण बन चुका है.
- नाम: RS-28 Sarmat (NATO कोड नेम: Satan-2)
- देश: रूस
- टाइप: इंटरकॉन्टिनेंटल बैलिस्टिक मिसाइल (ICBM)
- रेंज: 18,000 किलोमीटर तक
- वज़न: लगभग 208 टन
- स्पीड: 24,500 km/h (20+ Mach)
- ईंधन: Liquid-fueled
- पेलोड क्षमता: 10-15 परमाणु वारहेड्स या 24 हाइपरसोनिक ग्लाइड व्हीकल्स
क्या कर सकती है Satan-2?
रूस के दावे के अनुसार, यह मिसाइल एक ही हमले में पूरे फ्रांस या टेक्सास जैसे अमेरिकी राज्य को पूरी तरह तबाह कर सकती है. इसमें Multiple Independently Targetable Reentry Vehicles (MIRVs) लगे होते हैं, जो एक ही मिसाइल से अलग-अलग शहरों पर परमाणु हमला कर सकते हैं. यह एंटी-मिसाइल डिफेंस सिस्टम को चकमा देने में सक्षम है. दुश्मन की निगरानी प्रणाली इसे पकड़ नहीं सकती.
क्यों है यह इतना खतरनाक?
यह मिसाइल अंटार्कटिका के रास्ते भी उड़ सकती है, जिससे अमेरिका जैसे देशों का पारंपरिक रक्षा कवच बेमानी हो जाता है. इसकी हाइपरसोनिक गति और मौत की बारिश जैसे पेलोड इसे "डूम्सडे वेपन" बनाते हैं. इसे साइलो या मोबाइल लॉन्च सिस्टम से भी छोड़ा जा सकता है, जिससे दुश्मन की तैयारी असंभव हो जाती है.
क्यों बढ़ा खतरा? यूक्रेनी ड्रोन हमलों से मचा हड़कंप
यूक्रेन ने हाल ही में रूस के भीतर गहराई तक घुसकर 5 प्रमुख एयरबेसों पर सटीक ड्रोन हमले किए. ये हमले रूस की सैन्य प्रतिष्ठा और रणनीतिक ठिकानों पर बड़ा झटका हैं. ये एयरबेस रूस के सैन्य जवाबी हमलों की रीढ़ माने जाते हैं. इन हमलों के बाद अब रूस पर जवाबी कार्रवाई का दबाव है. विशेषज्ञ मानते हैं कि रूस "सैटन-2" जैसी विध्वंसक मिसाइलों के इस्तेमाल की ओर बढ़ सकता है, जिससे पूरे यूरोप और शायद दुनिया में संकट की लहर दौड़ सकती है.
वैश्विक खतरा या रणनीतिक संतुलन?
रूस का कहना है कि यह मिसाइल उसका रणनीतिक बचाव है, न कि आक्रामक हथियार. लेकिन पश्चिमी देश इसे तबाही का संकेत मानते हैं. खासकर यूक्रेन युद्ध और नाटो से बढ़ते तनाव के बीच, Satan-2 की तैनाती ने तीसरे विश्व युद्ध की आशंका बढ़ा दी है.
क्या यह मिसाइल कभी इस्तेमाल हो सकती है?
सैद्धांतिक रूप से नहीं. लेकिन अगर कभी परमाणु युद्ध हुआ, तो यह मिसाइल मानव सभ्यता का अंत कर सकती है. इसे डिटेरेंस (रोकथाम) के तौर पर देखा जाता है यानी "अगर तुमने हमला किया, तो हम दुनिया को साथ लेकर जाएंगे."
Satan-2 कोई काल्पनिक हथियार नहीं, बल्कि एक हकीकत है. यह आधुनिक तकनीक और परमाणु शक्ति का सबसे खतरनाक मेल है. यह मिसाइल न सिर्फ युद्ध नीति की दिशा बदल रही है, बल्कि पूरी दुनिया की सुरक्षा रणनीति को नए सिरे से लिख रही है.