दुबई में बैठा है उस्मान हादी का हत्यारा! फैसल करीम मसूद ने वीडियो जारी कर कहा- मैं कातिल नहीं, जमात ने कराई हत्या | Video

उस्मान हादी हत्याकांड में नया मोड़ आया है. मुख्य आरोपी बताए जा रहे फैसल करीम मसूद ने दुबई से वीडियो जारी कर हत्या से इनकार किया और जमात पर आरोप लगाया. पुलिस के भारत भागने के दावे, BSF की सफाई और दुबई वीजा से जुड़े खुलासों ने जांच और सरकार की भूमिका पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं.;

( Image Source:  X/SahidulKhokonbd )
Edited By :  नवनीत कुमार
Updated On :

बांग्लादेश की सियासत और सुरक्षा तंत्र के बीच चर्चित उस्मान हादी हत्याकांड ने एक बार फिर नया मोड़ ले लिया है. इस मामले के मुख्य आरोपियों में शामिल बताए जा रहे फैसल करीम मसूद ने खुद सामने आकर हत्या में किसी भी तरह की भूमिका से इनकार किया है. सोशल मीडिया पर वायरल एक वीडियो संदेश में उन्होंने दावा किया कि वह इस समय दुबई में हैं और उनके परिवार को जानबूझकर निशाना बनाया जा रहा है.

फैसल का बयान ऐसे समय पर आया है, जब पुलिस, सीमा सुरक्षा एजेंसियां और राजनीतिक दल अलग-अलग दावे कर रहे हैं. सवाल यह है कि सच क्या है. फरार आरोपी की सफाई, या जांच एजेंसियों की कहानी? इस पूरे मामले ने न सिर्फ जांच प्रक्रिया बल्कि सरकार की विश्वसनीयता पर भी कई सवाल खड़े कर दिए हैं.

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मैं कातिल नहीं हूं: फैसल करीम मसूद

वीडियो संदेश में फैसल करीम मसूद ने साफ कहा कि उन्होंने उस्मान हादी की हत्या नहीं की. उनका दावा है कि यह हत्या जमात-शिबिर से जुड़े लोगों ने की है. फैसल के मुताबिक, वह एक 'विच हंट' यानी राजनीतिक और प्रशासनिक प्रताड़ना से बचने के लिए दुबई चले गए.

हादी से रिश्ते पर दी सफाई

फैसल ने स्वीकार किया कि उनके और हादी के बीच संपर्क था, लेकिन सिर्फ कारोबारी कारणों से. उनका कहना है कि वह एक आईटी कंपनी चलाते हैं और इसी सिलसिले में मुलाकातें हुईं. उन्होंने यह भी माना कि उन्होंने राजनीतिक चंदा दिया, लेकिन बदले में सरकारी कॉन्ट्रैक्ट का वादा था, किसी आपराधिक साजिश का नहीं.

भारत में नहीं मिली पनाह

इससे पहले बांग्लादेश पुलिस ने दावा किया था कि फैसल और एक अन्य आरोपी आलमगीर शेख 12 दिसंबर के हमले के बाद भारत भाग गए. पुलिस के अनुसार, दोनों ने हलुआघाट सीमा पार की और भारत में कुछ लोगों की मदद से मेघालय पहुंचे. यह दावा सामने आते ही मामला अंतरराष्ट्रीय रंग लेने लगा. हालांकि भारत की सीमा सुरक्षा एजेंसी ने पुलिस के दावे को सिरे से खारिज कर दिया. अधिकारियों का कहना है कि सीमा पार करने का कोई प्रमाण नहीं मिला है. न तो किसी तरह की घुसपैठ दर्ज हुई और न ही कोई संदिग्ध गतिविधि पकड़ी गई.

दुबई कनेक्शन: क्या वीजा बना बचने का रास्ता?

जांच से जुड़े दस्तावेजों के मुताबिक फैसल के पास पांच साल का मल्टी-एंट्री यूएई वीजा है, जो दिसंबर 2022 में जारी हुआ था. बताया जा रहा है कि यह वीजा उन्होंने खुद के खर्च पर लिया. अब सवाल यह उठ रहा है कि क्या यह पहले से तैयार की गई योजना थी, या महज एक संयोग?

युवा नेता की मौत और परिवार का दर्द

32 वर्षीय उस्मान हादी को ढाका में चुनाव प्रचार के दौरान सिर में गोली मारी गई थी. बेहतर इलाज के लिए उन्हें सिंगापुर ले जाया गया, लेकिन 18 दिसंबर को उनकी मौत हो गई. हादी न सिर्फ एक युवा नेता थे, बल्कि हालिया जन आंदोलनों में एक अहम चेहरा भी थे. उनके परिवार के लिए यह सिर्फ एक राजनीतिक हत्या नहीं, बल्कि अपूरणीय निजी नुकसान है.

अब सरकार क्या जवाब देगी?

पहले इस हत्याकांड के लिए अवामी लीग और भारत पर आरोप लगाए गए. अब फैसल करीम मसूद का नया बयान और दुबई में मौजूदगी सामने आने के बाद सवाल उठता है कि यूनुस सरकार अब क्या रुख अपनाएगी? क्या जांच किसी ठोस नतीजे तक पहुंचेगी, या यह मामला भी आरोप-प्रत्यारोप में उलझ कर रह जाएगा?

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