तंत्र, डर और दर्द! दिल दहला देगी मंजू की दास्तां, कैसे हार्डवेयर कारोबारी ने गुड़िया बनाकर किया घिनौना तांत्रिक खेल

मंजू को लगा था कि उसे एक स्थिर, सुरक्षित और खुशहाल जीवन मिलेगा. दो बच्चों के साथ उसका परिवार पूरा हो चुका था, एक बेटा और एक बेटी. लेकिन समय के साथ चीजें बदलने लगी. मंजू ने महसूस किया कि रोहित अब पहले जैसा नहीं रहा.;

Edited By :  रूपाली राय
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दिल्ली की चमकदार गलियों और ऊंची बिल्डिंगों के पीछे कभी-कभी ऐसे अंधेरे सच छिपे होते हैं, जो इंसानियत को झकझोर कर रख देते हैं. ऐसी ही एक सच्ची लेकिन भयावह कहानी है मंजू की. एक पत्नी, एक मां और एक पीड़िता की, जिसकी ज़िंदगी एक शांत गृहस्थी से निकलकर डर, तंत्र और हिंसा की भूलभुलैया में फंस गई. जब उसकी जिंदगी में एक सामान्य शुरुआत, असामान्य मोड़ आया.

साल 2002 में मंजू की शादी दिल्ली के भजनपुरा निवासी रोहित आर्य से हुई थी. रोहित एक सफल हार्डवेयर कारोबारी था. उसकी ग्लास और एल्यूमीनियम की दुकान से हर महीने 12 से 14 लाख रुपए तक की कमाई होती थी. मंजू को लगा था कि उसे एक स्थिर, सुरक्षित और खुशहाल जीवन मिलेगा. दो बच्चों के साथ उसका परिवार पूरा हो चुका था, एक बेटा और एक बेटी. लेकिन समय के साथ चीजें बदलने लगी. मंजू ने महसूस किया कि रोहित अब पहले जैसा नहीं रहा. वह अजीब व्यवहार करने लगा. धीरे-धीरे उसने तांत्रिकों के संपर्क में आना शुरू कर दिया, और उसी के साथ शुरू हुआ मंजू के लिए आतंक का सिलसिला. 

तंत्र क्रिया के नाम पर यातना

मंजू का आरोप है कि रोहित तंत्र क्रिया के नाम पर उस पर शारीरिक और मानसिक अत्याचार करने लगा. वह उसे निर्वस्त्र करके डंडों से पीटता था, कभी-कभी आधी रात को अजीब अनुष्ठानों के लिए मजबूर करता था. मंजू ने कई बार इसका विरोध किया, लेकिन रोहित की हिंसा और डरावने व्यवहार ने उसे चुप करा दिया. जब हालात असहनीय हो गए, तो मंजू ने 2018 में हिम्मत जुटाकर दिल्ली पुलिस में शिकायत की और अपने दोनों बच्चों को लेकर मायके आगरा लौट गई. वह सोच रही थी कि कम से कम अब उसकी और बच्चों की जिंदगी कुछ सामान्य हो सकेगी. 

बच्चों को जबरन वापस ले गया

लेकिन मंजू की जिंदगी में एक नया तूफान आने को खड़ा था क्योंकि आगरा आने के बावजूद भी रोहित ने उसका पीछा नहीं छोड़ा. कुछ समय बाद, वह मंजू की गैरमौजूदगी में आगरा उनके घर आया और परिवार वालों को समझाकर दोनों बच्चों को वापस दिल्ली ले गया. मंजू को यह मंजूर नहीं था, पर हालात उसके काबू से बाहर थे. दिल्ली में रोहित की सनक और गहराती चली गई.

गुड़िया और खून की दीपावली

दीवाली के ठीक पहले, रोहित एक सिंदूर लगी गुड़िया लेकर घर आया. मंजू की बेटी के अनुसार, वह कह रहा था कि यह किसी विशेष तांत्रिक क्रिया के लिए जरूरी है. दीपावली की रात वह उस गुड़िया को खोजने लगा, लेकिन जब वह नहीं मिली, तो उसने गुस्से में अपनी बेटी को पीटना शुरू कर दिया और अंत में उसकी कलाई की नस काट दी. घायल बेटी ने मां को फोन किया. मंजू अपने भाई, भाभी और बहन के साथ दिल्ली पहुंची, लेकिन रोहित ने वहां भी उन सभी के साथ मारपीट की. पुलिस को बुलाया गया, लेकिन कोई सख्त कार्रवाई नहीं हुई.

पढ़ाई रुकवाना और जान से मारने की धमकी

इतना ही नहीं, रोहित ने बेटी के एकेडमी डाक्यूमेंट्स जब्त कर लिए और उसकी पढ़ाई छुड़वा दी. किसी तरह मंजू ने फिर से अपने बच्चों को रोहित से छुड़ाया और आगरा लौट आई. लेकिन अब रोहित उन्हें तीनों को जान से मारने की धमकियां दे रहा है. वजीरपुरा निवासी मंजू ने रोहित के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया है। आगरा के हरीपर्वत थाना प्रभारी प्रदीप कुमार ने पुष्टि की है कि इस मामले की जांच शुरू कर दी गई है और सभी आरोपों की छानबीन की जा रही है. 

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