न कोई क्रिमिनल केस फिर भी एक्शन, अमेरिका में तीन दशक से रह रही पंजाब की 73 साल की महिला को बाहर निकालने की तैयारी
Harjit Kaur: पंजाब की रहने वाली 73 साल की हरजीत कौर पिछले तीन दशक से अमेरिका में रह रही हैं. अब उन्हें आव्रजन प्रक्रिया के तहत हिरासत में ले लिया गया. शुक्रवार को परिवार और समुदाय ने उनकी रिहाई की मांग करते हुए प्रोटेस्ट किया. उनका नाम किसी भी आपराधिक मामलों में नहीं है, उसके बाद भी उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया.;
Harjit Kaur In California: अमेरिका के कैलिफोर्निया में पंजाब की एक बुजुर्ग महिला के बचाव में भारी विरोध प्रदर्शन देखने को मिल रहा है. शुक्रवार (12 सितंबर) को एल सोब्रान्टे में शाम के वक्त सौ से ज्यादा समुदाय इकट्ठा हो गए. दरअसल 73 साल की हरजीत कौर को इस सप्ताह आव्रजन प्रक्रिया के तहत हिरासत में ले लिया था.
जानकारी के अनुसार, लोगों ने हरजीत कौर की रिहाई की मांग करते हुए विरोध-प्रदर्शन किया. वह पिछले 3 दशक से अमेरिका में रह रही हैं और अब उन्हें बाहर निकालने की कोशिश की जा रही है.
क्या है मामला?
73 वर्ष की एक पंजाबी दादी यानी हर्जित कौर अमेरिका के बे एरिया में रहती हैं. इस हफ्ते अमेरिकी अप्रवास एवं सीमा सुरक्षा विभाग (ICE) ने तब हिरासत में लिया जब वह एक नियमित जांच के लिए सान फ्रांसिस्को गई थीं.
इस कारर्वाई पर उनके परिवार का कहना है कि उनकी कोई आपराधिक पृष्ठभूमि नहीं है और वह 13 साल से हर 6 महीने में ICE को रिपोर्ट करती आ रही थीं. इस गिरफ्तारी से स्थानीय समुदाय में काफी आक्रोश फैल गया है. उनका नाम किसी भी आपराधिक मामलों में नहीं है, उसके बाद भी उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया.
परिजन का बयान
हर्जित कौर के परिवार ने कहा कि उन्हें जरूरी दवाएं मिल रही होंगी या नहीं, खाने-पीने की स्थिति ठीक है या नहीं. हमें कुछ नहीं पता चल रहा है. समुदाय ने उनके रिहाई की मांग करते हुए एक प्रदर्शन किया. साथ ही कुछ स्थानीय नेता और प्रतिनिधि जैसे कांग्रेस मेंबर जॉन गरामेंडी उनकी रिहाई के लिए प्रयास कर रहे हैं.
दादी की बहू मंजीत कौर ने फॉक्स8 न्यूज को इंटरव्यू दिया. उन्होंने कहा कि हम इस घटना से बहुत दुखी हैं. उनका बेटा बोल नहीं पा रहा है. पोती सुखदीप कौर ने दादी को याद करते हुए कहा, कैसे वह जब तक उन्हें फोन नहीं आया. तब तक वह घंटों इंतजार करती रहीं.
कब गईं अमेरिका?
हर्जित कौर वर्ष 1992 में भारत से अमेरिका गई थीं. उनका कोई डॉक्यूमेंटेशन नहीं किया गया था. अमेरिका में रहने का कोई प्रूफ कागज नहीं है. वह अपने दो बेटों की मां के रूप में वहां आकर बस गईं. असाइलम (sharan-अर्जी) उनकी 2012 में अस्वीकार कर दी गई थी.
इसके बाद से उन्होंने ICE के सामने हर छह महीने में रिपोर्ट दी है और यह सिलसिला 13 साल से लगातार चल रहा है. इसके बाद भी उन्हें हिरासत में ले लिया गया. हालांकि ICE ने उन्हें कहा कि वह वर्क परमिट के साथ अमेरिका में निगरानी में रह सकती है जब तक कि वे उनके यात्रा दस्तावेज (ट्रेवल डॉक्यूमेंट) प्राप्त नहीं कर लेते.