गजब! पुष्कर मेले में 15 करोड़ का घोड़ा और 23 लाख का भैंसा, चौंक गए न? जानिए और क्या है इस मेले में
राजस्थान का मशहूर पुष्कर मेला सिर्फ ऊंट और श्रद्धा का संगम नहीं, बल्कि यह संस्कृति, संगीत, फैशन और परंपरा का अनोखा संगम मौका भी होता है. यहां मेला त्रतो अब अरबों रुपये के जानवरों का बाजार बन गया है. इस बार 15 करोड़ का घोड़ा और 23 लाख का भैंसा सबका ध्यान खींच रहा है.;
राजस्थान के अजमेर जिले में हर साल लगने वाला पुष्कर मेला इस बार फिर सुर्खियों में हैत्र कार्तिक पूर्णिमा के अवसर पर आयोजित यह मेला न सिर्फ धार्मिक महत्व रखता है बल्कि एशिया के सबसे बड़े पशु मेलों में से एक भी है. इस साल मेले में 15 करोड़ रुपये का घोड़ा और 23 लाख रुपये का भैंसा सबसे बड़ी आकर्षण बन गए हैं. देश-विदेश से आए पशुपालक, पर्यटक और श्रद्धालु इस नजारे को देखने उमड़ पड़े हैं. परंपरा, आस्था, व्यापार और मनोरंजन का यह मेला राजस्थान की संस्कृति की झलक पेश करता है.
शाहबाज की कीमत 15 करोड़
न्यूज एजेंसी एएनआई ने घोड़ा (शहबाज) के मालिक गैरी गिल के हवाले से बताया है कि - "शहबाज 15 करोड़ रुपये का है. बेशक, यह युवा घोड़ा इस साल मेले के प्रमुख जानवरों में से एक है. ढाई साल का शहबाज घोड़ा कई शो जीत चुका है और एक प्रतिष्ठित वंश से ताल्लुक रखता है. उसकी कवरिंग फीस 2 लाख रुपये है और उसकी मांगी गई कीमत 15 करोड़ रुपये है. 9 करोड़ रुपये तक के प्रस्ताव मिले हैं."
इस घोड़े के प्रजनन का खर्च ही 2 लाख रुपये है. इस बेशकीमती मारवाड़ी नस्ल की एक झलक पाने के लिए लाइन में लगकर अपने नंबर आने का इंतजार करते हैं.
बादल की कीमत 11 करोड़ रुपये
पुष्कर मेले का एक और सुपरस्टार बादल है, जो एक अनुभवी घोड़ा है और पहले ही 285 घोड़ों का पिता बन चुका है. यह मेले में उसका तीसरा आगमन है. उसके मालिक को 11 करोड़ रुपये तक के प्रस्ताव मिले हैं, लेकिन उसने उसे बेचने से इनकार कर दिया है.
अनमोल की 23 करोड़ रुपये
वहीं, राजस्थान का एक भैंसा, अनमोल, ने सबको चौंका दिया है. उसकी कीमत 23 करोड़ रुपये है. मालिक का दावा है कि भैंसे का पालन-पोषण राजसी ढंग से किया जाता है. भैंसा के मालिक ने कहा, "उसे हर दिन विशेष भोजन दिया जाता है, जिसमें दूध, देसी घी और सूखे मेवे शामिल हैं."
राणा 25 लाख रुपये का
उज्जैन का 25 लाख रुपये का भैंसा राणा, पुष्कर मेले में एक नया आकर्षण बन गया है. इस भैंसे का वजन लगभग 600 किलोग्राम है. यह 8 फीट लंबा और 5.5 फीट ऊंचा है. लगभग साढ़े तीन साल के इस भैंसे को प्रतिदिन 1,500 रुपये तक के भोजन की आवश्यकता होती है. भोजन में बेसन, अंडे, बेसन, तेल, दूध, घी और लीवर टॉनिक शामिल हैं."
पुष्कर पशु मेले का इतिहास
पुष्कर मेला राजस्थान की पशुपालन परंपराओं का उत्सव है. सर्वश्रेष्ठ दुग्ध उत्पादक, सर्वश्रेष्ठ अश्व नस्ल और सर्वश्रेष्ठ सजे-धजे ऊँट जैसी प्रतियोगिताएं मुख्य आकर्षण हैं. A2 दूध उत्पादन के लिए जानी जाने वाली गिर गायों की अपनी विशेष श्रेणी है. जबकि पारंपरिक नागौर बैल प्रतियोगिता में भी भारी भीड़ उमड़ रही है. 23 अक्टूबर से शुरू होकर 7 नवंबर तक चलने वाले इस मेले में इस साल भारी संख्या में लोगों ने हिस्सा लिया और अब तक 3,021 पशुओं का पंजीकरण हो चुका है.