हम यहां लफंगई करने नहीं आए... BPSC प्रोटेस्ट से प्रशांत किशोर के 5 VIDEO
BPSC Protest: पटना के जिला मजिस्ट्रेट (DM) ने कहा कि प्रशांत किशोर पर आधिकारिक आदेश की अवहेलना करते हुए छात्रों शामिल होने के कारण मामला दर्ज किया गया है.;
BPSC Protest: चुनाव रणनीतिकार से राजनेता बने प्रशांत किशोर के खिलाफ रविवार को पुलिस ने मामला दर्ज किया. ये मामला उनपर छात्रों को भड़काने और बिना इजाजत प्रोटेस्ट में उतरने को लेकर दर्ज की गई है. बिहार लोक सेवा आयोग (BPSC) की परीक्षा रद्द करने की मांग कर रहे छात्र लगातार प्रदर्शन कर रहे हैं.
1. 'कौन से कानून में लिखा है कि पुलिस छात्रों को मारे?'
प्रशांत किशोर ने कहा, 'कौन से कानून में लिखा है कि पुलिस छात्रों को मारे? जिन बच्चों पर लाठीचार्ज हुआ है, उनके लिए न्याय की मांग करेंगे और उनका हिसाब लिया जाएगा. छात्रों के खिलाफ दर्ज मुकदमों को वापस लेना होगा. उन्होंने कहा कि हम यहां लफंगई करने नहीं आए हैं. हम चाहते हैं कि छात्रों का रास्ता निकले.
2. 'अभी कंबल हमसे मांगे हो और नेतागिरी...'
प्रशांत किशोर जब अभ्यर्थियों से मिलने गए तो उन्होंने PK से कहा कि सर आप हमलोगों को उस रास्ता में छोड़कर चले गए. इस पर प्रशांत किशोर ने कहा कि ये नया-नया नेता आए हैं. अभी कंबल हमसे मांगे हो और नेतागिरी कर रहे हो. इसके जवाब में छात्रों ने कहा कि आपसे कंबल किसने मांगा. हमलोगों ने चंदा करके लिया है. आप कंबल देकर धौंस दिखा रहे हैं.
3. 'मुख्य सचिव करेंगे मांग पर चर्चा'
प्रशांत किशोर ने कहा, 'सरकारी अधिकारियों ने हमें आश्वस्त किया है कि सरकार अभ्यर्थियों की मांगों पर चर्चा करने के लिए सहमत हो गई है और पांच सदस्यीय छात्र समिति अभ्यर्थियों की मांगों पर निर्णय लेने के लिए मुख्य सचिव से मुलाकात करेगी.'
4. 'कोई भी राजनीतिक नेता...'
प्रशांत किशोर ने कहा, 'यह तय हुआ था कि Cया कोई अन्य बाहरी पार्टी छात्रों की ओर से बात नहीं करेगी. छात्र परिषद जो तय कर रही है, उसे चुनेंगे और वही लोग आगे बोलेंगे. जब हम वहां बैठे थे, तो प्रशासन ने यह कहकर शुरुआत की कि एक प्रतिनिधिमंडल BPSC सचिव से मिल सकता है और हमसे विरोध समाप्त करने को कहा. हम इस पर सहमत नहीं हुए क्योंकि सरकार ने शुरू में BPSC सचिव से मिलने की पेशकश की थी, लेकिन विद्यार्थी परिषद ने उस प्रस्ताव को अस्वीकार कर दिया था.'
5. 'मैं यहां किसी राजनीतिक पार्टी के सदस्य के तौर पर नहीं आया हूं'
प्रोटेस्ट में पहले 26 दिसंबर को पहुंचे प्रशांत किशोर ने कहा, 'मैं यहां किसी राजनीतिक पार्टी के सदस्य के तौर पर नहीं आया हूं. मैं यहां छात्रों का समर्थन करने आया हूं, बिहार के युवाओं के खिलाफ सरकार की क्रूर कार्रवाई का विरोध करने आया हूं. सरकार को मेरा अल्टीमेटम है कि अगर तीन दिनों के अंदर इस मामले का समाधान नहीं हुआ तो अगली बार जब छात्र बाहर निकलेंगे तो मैं छात्रों के साथ सबसे आगे रहूंगा.'